भारतीय शेयर बाजार में शानदार तेजी का दौड़ जारी है। इसके चलते कई शेयरों में बड़ी तेजी दर्ज की गई है। इस तेजी में कई अन्य स्टॉक काफी पीछे छूट गए हैं। अगर आप इस तेजी का फायदा उठाना चाहते हैं तो अपनी रणनीति में बदलाव करना होगा। मार्केट एक्सपर्ट का कहना है कि बाजार में जब अच्छी तेजी होती है तो स्मार्ट बीटा फंड इस बाजार की गति को भुनाने का अवसर पैदा करती है। एनएसई डेटा से पता चलता है कि वित्त वर्ष 2024 में रिटर्न के मामले में ब्रॉड बेस्ड निफ्टी 50 ने रणनीति आधारित सूचकांकों से कम प्रदर्शन किया। जबकि निफ्टी 50 ने 31% का रिटर्न दिया है। कुछ स्ट्रैटजी बेस्ड इंडेक्स फंड जैसे निफ्टी 500 वैल्यू 50 ने 65% का रिटर्न दिया। निफ्टी अल्फा 50 ने 61% रिटर्न दिया और निफ्टी 100 अल्फा 30 ने 67% रिटर्न दिया। दिलचस्प बात यह है कि निफ्टी लो वोलैटिलिटी 50, निफ्टी 100 लो वोलैटिलिटी 30 और निफ्टी क्वालिटी लो वोलैटिलिटी 30 ने ब्रॉड-बेस्ड इंडेक्स की तुलना में कम उतार-चढ़ाव के साथ निफ्टी 50 की तुलना में अधिक रिटर्न दिया। स्मार्ट बीटा फंड गति, अस्थिरता, क्वालिटी और मूल्य रणनीतियों का उपयोग करके स्टॉक का चयन करते हैं।
निवेशकों के लिए पैसा लगाने का मौका
निप्पॉन इंडिया म्यूचुअल फंड का निप्पॉन इंडिया निफ्टी 500 मोमेंटम 50 इंडेक्स फंड एनएफओ 11 सितंबर को खुला है और 25 सितंबर, 2024 को बंद होगा। इस फंड की रणनीति कम कीमत पर खरीदें, ऊंची कीमत पर बेचें' पर काम करती है। निफ्टी 500 मोमेंटम 50 इंडेक्स निवेशकों को ज्यादा भाव पर खरीदें और ज्यादा भाव पर बेचें की रणनीति का उपयोग करके मध्यम से लंबी अवधि में वेल्थ क्रिएशन का अवसर प्रदान करती है। निप्पॉन इंडिया निफ्टी 500 मोमेंटम 50 इंडेक्स फंड निफ्टी 500 मोमेंटम 50 टीआरआई को ट्रैक करता है, जिसमें वोलैटिलिटी के लिए समायोजित छह और 12 महीने के मूल्य रिटर्न के आधार पर उच्चतम गति स्कोर वाले शीर्ष 50 स्टॉक शामिल हैं। सूचकांक में 13 क्षेत्रों के स्टॉक शामिल हैं। प्रत्येक वर्ष जून और दिसंबर में इनका पुनर्गठन किया जाता है।
मोमेंटम फैक्टर में निवेश क्यों फायदेमंद?
ब्लू लेक कैपिटल मैनेजमेंट के विशाल आहूजा कहते हैं कि यह पैसिव निवेश की विशेषताओं को जोड़ता है। इसमें नियम आधारित होना और मोमेंटम फैक्टर जैसे तकनीकी कारकों का उपयोग करके एक्टिव निवेश के साथ चयन किया जाता है। मोमेंटम इंडेक्स फंड को नियंत्रित करने वाला मूल सिद्धांत यह है कि स्टॉक हाल के दिनों में अपेक्षाकृत मजबूत प्रदर्शन करते हैं और इसके उलट भी करते हैं। यह निवेशकों के हितों की रक्षा करने में काफी मदद करते हैं। सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा यह है कि इंडेक्स में कम तरलता वाले स्टॉक शामिल नहीं हैं। ऐसी कंपनियां जहां प्रमोटरों के गिरवी स्टॉक 20% से अधिक हैं, और गैर एफएंडओ स्टॉक 20% से अधिक ट्रेडिंग डे में सर्किट लगाते हैं, वे भी इससे बाहर होते हैं। इससे निवेशकों को सुरक्षा मिलती है और बेहतर रिटर्न की भी गुंजाइश रहती है।