कृषि मंत्रालय से जारी एक बयान में यह कहा गया कि इस साल किसानों ने अधिक दर पर निजी व्यापारियों को गेंहू की बिक्री कर लगभग 5,994 करोड़ रुपए का मुनाफा कमाया है।
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के मीडिया को संबोधित करने के बाद विदेशी बाजार में कच्चे तेल और सोने की कीमतों में भारी गिरावत आई है।
कमजोर वैश्विक रुख के साथ मुनाफावसूली के लिए प्रतिभागियों के सौदे घटाने से बुधवार को वायदा कारोबार में सोना 114 रुपये गिरकर 37,890 रुपये प्रति दस ग्राम पर आ गया, जबकि वायदा कारोबार में चांदी 307 रुपये गिरकर 43,634 रुपये प्रति किलोग्राम पर आ गई।
ऑनलाइन बिजनेस में फिलहाल एमेजन का एक छत्र राज्य है लेकिन इससे लगभग 10 लाख वैश्विक यूजर वाले इंस्टाग्राम के इस क्षेत्र में आने से खतरा हो सकता है।
मजबूत वैश्विक संकेतों के बीच सटोरियों के सौदे बढ़ाने से वायदा बाजार में सोना 157 रुपए चढ़कर 32,255 रुपए प्रति दस ग्राम पर पहुंच गया।
बढ़ते वैश्विक व्यापारिक तनाव की वजह से अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के दाम में पिछले महीने भारी गिरावट आई है।
वैश्विक स्तर पर स्थिर रुख के चलते सटोरियों के सौदे बढ़ाए जाने से शुक्रवार को वायदा कारोबार में सोना 143 रुपए बढ़कर 31,952 रुपए प्रति दस ग्राम हो गया।
वैश्विक बाजारों के कमजोर संकेत और स्थानीय आभूषण विक्रेताओं की ओर से मांग में कमी के चलते दिल्ली सर्राफा बाजार में सोना बुधवार को 250 रुपए टूटकर 30,800 रुपए प्रति दस ग्राम पर बंद हुआ। यह सोने का पांच महीने का सबसे निचला स्तर है।
दूसरे बाजारों की तुलना में भारतीय शेयर बाजारों का प्रदर्शन बेहतर रहेगा, लेकिन कुल मिलाकर रिटर्न सीमित रहेगा क्योंकि वैश्विक शेयर बाजारों का परिदृश्य इस दौरान कुछ नरम रहेगा। मॉर्गन स्टेनली रिसर्च की एक रिपोर्ट में यह अनुमान लगाया गया है।
वैश्विक बाजारों के सकारात्मक संकेत और स्थानीय आभूषण निर्माताओं की लिवाली से कल की गिरावट के बाद आज सोने में तेजी दर्ज की गई।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय जल्द ही भारतीय कृषि उत्पादों की वैश्विक बाजार में पहुंच बनाने के लिए एक नीतिगत ढांचा बनाएगा।
शेयर बाजारों में अगले सप्ताह उतार-चढ़ाव का दौर जारी रहने की उम्मीद है। बाजार की चाल कंपनियों के तिमाही नतीजों के आंकडों और आर्थिक आंकड़ों पर निर्भर करेगी।
इस हफ्ते शेयर बाजार की दिशा घरेलू और वैश्विक बाजारों के रुझान, FPI और DII के रुख, डॉलर के खिलाफ रुपए की चाल और कच्चे तेल की कीमतें मिलकर तय करेंगे।
अमेरिका में ब्याज दरें बढ़ने की आशंका से शुक्रवार को यूएस समेत ग्लोबल मार्केट में आई गिरावट का असर एशियाई बाजारों पर भी देखने को मिल रहा है।
सरकार ने कहा कि वह एथनॉल की कीमत को बाजार केंद्रित कीमत प्रणाली से जोड़ेगी जहां इसके कीमत अंतरराष्ट्रीय रूख के हिसाब से तय होंगी।
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