ब्रिटेन की क्राउन प्रॉसिक्यूशन सर्विस की टीम ने तिहाड़ जेल का निरीक्षण किया ताकि भगोड़े आर्थिक अपराधियों जैसे विजय माल्या और नीरव मोदी के प्रत्यर्पण को आसान बनाया जा सके। भारत ने CPS की टीम को भरोसा दिलाया कि जेल में मानवीय व्यवहार होगा।
नीरव मोदी छह साल से लंदन की जेल में बंद है। उसने हाई कोर्ट में जमानत याचिका लगाई थी। इस याचिका के खिलाफ तर्क देने के लिए भारत से सीबीआई के अधिकारी गए थे, जिनके कारण उसकी जमानत याचिका रद्द कर दी गई।
कोर्ट ने आवेदन को स्वीकार करते हुए 2565.90 करोड़ रुपये की संपत्तियों के मनीटाइजेशन की अनुमति दे दी थी। इस आदेश के बाद से संपत्तियों को उनके हकदारों को सौंपने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई।
मेहुल चोकसी और नीरव मोदी का ये फ्रॉड करीब 7 साल पहले 2018 में सामने आया था। जिसके बाद दोनों आरोपी भारत छोड़कर भाग गए थे। भारत से भागने के बाद मेहुल एंटीगुआ और बारबाडोस में भी रहा है।
भगोड़े नीरव मोदी के खिलाफ ये कार्रवाई पीएनबी बैंक घोटाले के मामले में हुई है। अब तक ईडी नीरव मोदी और उससे जुड़ी 2596 करोड़ रुपये की चल अचल संपत्ति को अटैच कर चुकी है।
सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है जिसमें बताया जा रहा है कि भारत के भगोड़े नीरव मोदी ने लंदन की एक अदालत में कहा है कि भारतीय जनता पार्टी के नेताओं ने भारत से भागने में उनकी मदद की।
भारत में नीरव के खिलाफ तीन आपराधिक मामले चल रहे हैं जिनमें पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) में धोखाधड़ी का सीबीआई मामला, उस धोखाधड़ी की आय की कथित धनशोधन से संबंधित प्रवर्तन निदेशालय का मामला और तीसरा सबूतों और गवाहों से कथित छेड़छाड़ को लेकर आपराधिक कार्यवाही शामिल है।
पंजाब नेशनल बैंक लोन घोटाले के आरोपी नीरव मोदी के लंदन स्थित आलीशान फ्लैट को बेचने की अनुमति दी गई है। ये फैसला ब्रिटेन के लंदन उच्च न्यायालय ने दिया है।
फिल्म निर्माता अशोक पंडित ने हाल में ही एक X यूजर के खिलाफ मामला दर्ज कराया है। निर्माता का आरोप है कि X यूजर उनके स्वास्थ के बारे में फर्जी खबरें फैला रहा था, जिसकी वजह से उनके परिवार और करीबी लोगों को परेशान होना पड़ा।
भारत में करीब 2 अरब अमेरिकी डॉलर का बड़ा घोटाला करने वाले भगोड़े नीरव मोदी की जेल अचानक बदल दी गई है। जेल से एक कैदी के भागने के बाद ऐसा किया गया है। नीरव मोदी समेत अन्य कैदियों के भी जेल से भागने की आशंका के मद्देनजर सुरक्षाकर्मियों ने उसे दूसरे जेल स्थानांतरित किया है।
टुगेंडहट ने कहा, ‘‘हम देख रहे हैं कि आज भारत न केवल भारतीय एआई, बल्कि ब्रितानी एआई का भी केंद्र है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘कई कंपनियों के डेटा स्रोत यहां, मुख्य रूप से बेंगलुरु में हैं और वे कंपनियां डेटा के विश्लेषण एवं अपने कारोबारों की उत्पादकता को बढ़ाने के लिए भारतीय एआई विशेषज्ञों की तकनीकी क्षमताओं का उपयोग कर रही
नीरव मोदी के दिन इतने बुरे चल रहे है, कि उसके फायरस्टार डायमंड इंटरनेशनल प्राइवेट लिमिटेड (FIDPL) के एक बैंक खाते में कथित तौर पर सिर्फ 236 रुपये ही बचे हैं।
नीरव मोदी, इंग्लैंड में अपनी कानूनी लड़ाई हार चुका है। यदि कोई और राहत नहीं मिलती है तो नीरव मोदी को अगले 28 दिन के अंदर भारत लाया जाएगा।
भारत लंबे वक्त से 51 वर्षीय नीरव मोदी का प्रत्यर्पण चाहता है लेकिन ब्रिटेन में शरण लिए बैठा नीरव मोदी उस एक्शन से बचने के लिए लगातार अलग-अलग तर्क दे रहा था। उसने अपने बचे कानूनी विकल्प का इस्तेमाल करते हुए सुप्रीम कोर्ट में गुहार लगाई थी और वहां से भी उसे निराशा हाथ लगी।
Nirav Modi Extradition: लंदन में उच्च न्यायालय यह फैसला करेगा कि उसे अपील करने की अनुमति दी जाए या नहीं। इस प्रक्रिया में कुछ हफ्ते लग सकते हैं और इसके इस साल पूरा होने की संभावना नहीं है।
Nirav Modi Extradition: फैसले में यह भी कहा गया कि प्रत्यर्पण के बाद हीरा कारोबारी को मुंबई की जिस आर्थर रोड जेल की बैरक 12 में रखा जाना है, उसमें सुरक्षा के ‘‘पर्याप्त उपाय’’ किए गए हैं।
Nirav Modi Extradition: नीरव मोदी ने पीएनबी के साथ करीब 2 अरब डॉलर का घोटाला किया है। उसे लंबे वक्त से भारत प्रत्यर्पित करने की कोशिशें हो रही थीं। आज ब्रिटेन की अदालत ने इस पर मुहर लगा दी है।
नीरव मोदी इस समय लंदन की जेल में बंद है। भारत लंबे वक्त से नीरव मोदी का प्रत्यर्पण चाहता है लेकिन ब्रिटेन में शरण लिए बैठा नीरव मोदी उस एक्शन से बचने के लिए लगातार अलग-अलग तर्क दे रहा है।
Nirav Modi: सुप्रीम कोर्ट ने CBI और ED से कहा है कि वे एक सप्ताह के भीतर बैठक करें और भगोड़े हीरा कारोबारी नीरव मोदी के रिश्तेदार मयंक मेहता द्वारा किए गए खुलासे तथा पैसों के लेन-देन से जुड़ी सामग्री साझा करें। नीरव मोदी पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) धोखाधड़ी मामले में आरोपी है।
Nirav Modi Extradition: हीरा कारोबारी नीरव मोदी पर मेहुल चौकसी के साथ मिलकर पंजाब नेश्नल बैंक (PNB) से 14500 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी करने का आरोप है। 2019 में मुंबई की अदालत ने उसे भगोड़ा घोषित किया। नीरव मोदी भगोड़ा घोषित होने वाला देश का दूसरा आर्थिक अपराधी है।
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