मजेदार है कारों के नाम रखने का किस्सा, जानिए कैसे मिली फरारी और रॉल्स रॉयस को अलग पहचान
Image Source : Fileकोई बच्चा हो या फिर कार, हर किसी की पहचान उसके नाम से होती है
Image Source : fileदुनिया की मशहूर कारों की तकनीक जितनी जटिल है, उनके नाम रखने का किस्सा बहुत ही मजेदार है
Image Source : fileज्यादातर लोकप्रिय कारों का नामकरण कंपनी के मालिक या इंजीनियर के नाम पर ही पड़ा है
Image Source : fileआइए जानते हैं कि कंपनियों को उनके नाम कैसे मिले?
Image Source : fileफेरारी : फेरारी सुनकर लाल रंग की स्पीड कार सामने आ जाती है। मशहूर एफ1 रेसर एनजो फरारी ने 1939 में इसकी स्थापना की थी। इन्हीं के नाम पर कंपनी का नाम पड़ा।
Image Source : Fileबीएमडब्ल्यू : बीएमडब्ल्यू को शुरुआत से यह नाम नहीं मिला था। हवाई जहाज बनाने वाली इस कंपनी का नाम बवेरियन एयरप्लेन वर्क्स यानि BAW कहते थे। बाद में यह कंपनी जब कार बनाने लगी तो इसे बवेरियन मोटर वर्क्स यानि BMW नाम दिया गया।
Image Source : fileरॉल्स रॉयेस: दुनिया की सबसे रॉयल गाड़ी के बारे में पूछें तो आप भी रॉल्स रॉयस का नाम लेंगे। इस कंपनी का नाम इसके दो संस्थापकों हेनरी रॉयस और चार्ल्स रोल्स पर पड़ा है
Image Source : fileफोर्ड : अमेरिकी कंपनी फोर्ड का नाम इस कंपनी के संस्थापक हैनरी फोर्ड के नाम पर पड़ा है।
Image Source : fileडैटसन : डैटसन का यह नाम शुरुआत से नहीं था। पहले इसे डैट कहा जाता था जो कि इसके तीन संस्थापक केंजिरो डेन, रोकोरू आओयामा और मेइतारो टाकेची के नाम पर था। जब इसे निसान ने खरीदा तो इसे डैट के साथ निसान का नाम जोड़ा गया। तो हो गई ये डैट से डैटसन
Image Source : fileएस्टन मार्टिन : एस्टन मार्टिन की स्थापना 1914 में हुई थी। इसका नाम इसके संस्थापक लियोनेल मार्टिन और एस्टन हिल पर रखा गया।
Image Source : fileशेवरले : शेवरले का नाम भी इस कंपनी के सह संस्थापक लुई शेवरले के नाम पर पड़ा
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