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हमने कोरोना को लेकर सरकार को बार-बार चेताया, अगर हमारी बात सुनी होती तो लाखों लोग नहीं मरते: राहुल गांधी

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कोरोना वायरस को लेकर सरकार की नीतियों की जमकर आलोचना की और कहा कि हमने कोरोना को लेकर सरकार को बार-बार चेताया, अगर सरकार ने फरवरी में हमारी बात सुन ली होती तो लाखों लोग नही मरते।

हमने कोरोना को लेकर सरकार को बार-बार चेताया, अगर हमारी बात सुनी होती तो लाखों लोग नहीं मरते: राहुल ग- India TV Hindi Image Source : PTI हमने कोरोना को लेकर सरकार को बार-बार चेताया, अगर हमारी बात सुनी होती तो लाखों लोग नहीं मरते: राहुल गांधी

नई दिल्ली: कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कोरोना वायरस को लेकर सरकार की नीतियों की जमकर आलोचना की और कहा कि हमने कोरोना को लेकर सरकार को बार-बार चेताया, अगर सरकार ने फरवरी में हमारी बात सुन ली होती तो लाखों लोग नही मरते। उन्होंने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में ये बातें कही। उन्होंने कहा-'यह राजनीतिक मामला नहीं बल्कि हिंदुस्तान के भविष्य का मामला है, लोगों की जान बचाने का मामला है, सरकार को समझना चाहिए कि विपक्ष उनका दुश्मन नहीं है। विपक्ष उनको इशारा कर रहा है और रास्ता दिखा रहा है। अगर फरवरी में बात सुन ली होती तो लाखों लोग नहीं मरते।'

राहुल गांधी ने कहा कि मैने और बहुत सारे लोगों ने सरकार को कोरोना की चेतावनी एक बार नहीं बिना रुके एक के बाद एक दी, और सरकार ने हमारा मजाक उड़ाया, जैसे आपने वीडियों में देखा कि प्रधानमंत्री ने विजय घोषित कर दी कि हमने कोरोना को हरा दिया। समस्या ये है कि सरकार को और प्रधानमंत्री को कोरोना समझ ही नहीं आया है और आजतक समझ नहीं आया है। कोरोना सिर्फ एक बीमारी नहीं है, कोरोना एक रूप बदलती बीमारी है, जितना समय आप इसे देंगे, जितनी जगह आप इसे देंगे, उतना खतरनाक यह बनता जाएगा। 

राहुल ने कहा- मैने पिछले साल फरवरी में कहा, जगह बंद कीजिए, कोरोना को समय मत दीजिए, दरवाजा बंद कीजिए, कोरोना की जगह बंद करने का क्या तरीका है, कोरोना आक्रमण कैसे करता है, सबसे पहले जिन लोगों के पास भोजन नहीं है, जो कमजोर हैं, उनपर यह आक्रमण करता है, और वो लोग हैं हिंदुस्तान के गरीब। दूसरी तरफ जिनको को-मार्बिडीज हैं, जिनको डायबिटीज है और अन्य रोग है उनपर आक्रमण करता है। यह धीरे धीरे बदलता जाता है। जितनी आप इसे जगह देंगे यह बदलेगा

उन्होंने कहा कि कोरोना इसे रोकने के 3-4 तरीके हैं उनमें एक स्थाई समाधान है, वह है वैक्सीन,  लॉकडाउन हथियार है, लेकिन इससे लोगों को कष्ट होता है, लॉकडाउन अस्थाई समाधान है, सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क अस्थाई सोल्यूशन है। वैक्सीन स्थायी समाधान है। अगर आपने वैक्सीन जल्दी नहीं की तो वायरस आपकी वैक्सीन की पकड़ से भाग जाएगा, वो म्यूटेट करता जाएगा। 

राहुल ने कहा- वैक्सीन रणनीति के बारे में मैने सीधे प्रधानमंत्री को बोला कि अगर हिंदुस्तान ने वैक्सीन की रणनीति सही नहीं की तो एक बार नहीं अनेक बार लोग मरेंगे, एक या दो वेव नहीं आएंगी बल्कि आती जाएंगी। क्योंकि वायरस बदल रहा है। कुछ समय पहले मैने देखा कि विदेश मंत्री भाषण दे रहे हैं कि हिंदुस्तान ने अपना नाम बना लिया, अलग अलग देशों को हमने वैक्सीन दी, आपने वैक्सीन एक्सपोर्ट की, आज स्थिति क्या है, हिंदुस्तान के सिर्फ 3 प्रतिशत लोगों को आपने वैक्सीन दी मतलब 97 प्रतिशत लोगों को कोरोना पकड़ सकता है। आपने दरवाजा खुला छोड़ रखा है और अभी भी आप दरवाजा बंद नहीं कर रहे। 

राहुल गांधी ने कहा- अमेरिका ने अपनी आधी आबादी वैक्सिनेट कर ली, ब्राजील ने 8-9 प्रतिशत जनसंख्या को वैक्सीन लगा दी, वो वैक्सीन कैपिटल नहीं हैं हम वैक्सीन कैपिटल हैं और हम वैक्सीन बनाते हैं। यह जो दूसरी लहर है, यह प्रधानमंत्री की जिम्मेदारी है, प्रधानमंत्री ने जो नौटंकी की, प्रधानमंत्री ने जो अपनी जिम्मेदारी पूरी नहीं की इसका कारण दूसरी लहर है। अगर वैक्सिनेशन इसी रेट पर चलता रहा तो मई 2024 में हिंदुस्तान की पूरी जनता का वैक्सिनेशन होगा। इसी तरह अगर वैक्सिनेशन चलता रहा तो तीसरी लहर आएगी, चौथी आएगी और पांचवीं आएगी क्योंकि वायरस म्यूटेट करता रहेगा। 

उन्होंने कहा- वायरस को समझिए और जिस तरह से आप काम कर रहे हैं उसको बदलिए क्योंकि आपके काम करने के तरीके से लाखों लोग मरे हैं, जो झूठ बोला जा रहा है, हमारी डेथ रेट झूठ है, सरकार इस झूठ को फैला रही है, यह झूठ फैलाने का समय नहीं है, अगर हमें कोरोना से लड़ना है तो सच्चाई समझनी पड़ेगी और सरकार को सच्चाई बतानी पड़ेगी। 

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