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Hindi News मध्य-प्रदेश मध्य प्रदेश: 'कमलनाथ की ट्यूबलाइट बहुत देर से जलती है', CM शिवराज सिंह चौहान ने ऐसा क्यों कहा?

मध्य प्रदेश: 'कमलनाथ की ट्यूबलाइट बहुत देर से जलती है', CM शिवराज सिंह चौहान ने ऐसा क्यों कहा?

एमपी में बीते दिनों हुई बारिश और ओलावृष्टि के चलते किसानों की बर्बादी पर पूर्व सीएम कमलनाथ ने शिवराज सिंह चौहान को पत्र लिखा था। इसी बात पर सीएम शिवराज सिंह चौहान ने कमलनाथ पर जवाबी हमला किया।

Shivraj Singh Chouhan- India TV Hindi Image Source : INDIA TV शिवराज सिंह चौहान

भोपाल: मध्य प्रदेश के सीएम शिवराज सिंह चौहान ने पूर्व सीएम कमलनाथ पर एक बार फिर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि कमलनाथ की ट्यूबलाइट बहुत देर से जलती है। शिवराज ने कहा कि कांग्रेस का नीति वाक्य होना चाहिए झूठ के साथ कमलनाथ। कमलनाथ सत्ता में आने के लिए एक ही चीज का उपयोग करते हैं और वो है झूठ। बता दें कि मध्य प्रदेश में चुनावी बयार का एहसास भले ही 8 महीने बाद होने वाला है लेकिन भाजपा और कांग्रेस दोनों चुनावी फसल तैयार करने में जुट गए हैं।

एमपी में बीते दिनों हुई बारिश और ओलावृष्टि के चलते किसानों की बर्बादी पर जहां पूर्व सीएम कमलनाथ ने शिवराज सिंह चौहान को इस प्राकृतिक आपदा से पीड़ित किसानों को फसल का सर्वे, राहत राशि, बिजली बिल और फसल ऋण को माफ करने के लिए पत्र लिखा था तो आज मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कमलनाथ पर जवाबी हमला किया।

शिवराज सिंह चौहान ने पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ को जवाब देते हुए कहा कि कमलनाथ की ट्यूबलाइट बहुत देर से जलती है। शिवराज ने कहा, 'ओलावृष्टि से पीड़ित किसानों के लिए मैंने पहले से ही सर्वे का काम शुरू कर दिया था। जहां ओलावृष्टि हुई वह सर्वे का काम लगभग पूरा हो चुका है।

शिवराज ने कहा कि कमलनाथ चिट्ठी जरा देर से लिखते हैं। कमलनाथ के पास एक ही चारा है, जिसका वो उपयोग करते हैं सत्ता में आने के लिए और वो झूठ है। कांग्रेस का नीति वाक्य होना चाहिए झूठ के साथ कमलनाथ। कमलनाथ ने पिछले चुनाव में भी आत्मविश्वास के साथ झूठ बोला था और फिर मुकर गए। यह कांग्रेस की फितरत रही है।

दरअसल पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने शिवराज सिंह चौहान को पत्र लिखा कि, 'बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि के चलते मालवा निमाड़ बुंदेलखंड महाकौशल और नर्मदा पुरम के अनेक जिलों में प्राकृतिक आपदा हुई है। किसान भाइयों को भारी नुकसान हुआ है लेकिन सरकार की ओर से अब तक कोई राहत प्रदान नहीं की गई है।

कमलनाथ ने ये भी लिखा कि प्रदेशभर के किसानों में रोष है, वहीं फसल ऋण वसूली के लिए कुर्की की कार्रवाई की जा रही है। आपसे अनुरोध है कि किसान भाइयों की छुटी हुई पशुओं की राहत राशि का वितरण और बकाया बिजली बिल और फसल ऋण की वसूली की कार्यवाही को स्थगित किया जाए।

वहीं सीएम शिवराज सिंह चौहान कल बारिश और ओलावृष्टि से पीड़ित फसलों को देखने के लिए सागर और विदिशा के किसानों के खेत पहुंचे थे, जहां उन्होंने प्राकृतिक आपदा से पीड़ित किसानों के लिए राहत की घोषणा की थी।

किसानों के लिए सरकार का ऐलान: 

  • 50 फीसदी से ज्यादा की फसलों में नुकसान है, वहां किसानों को ₹25000 प्रति हेक्टेयर की दर से राहत की राशि
  • पशु हानि के चलते पहले मिलते थे 30 हजार अब 37 हजार देंगे
  • मरी हुई भेड़ बकरी के लिए ₹4000 
  • बछड़ा बछिया के लिए ₹20000 
  • मुर्गा मुर्गी के लिए ₹100 प्रति मुर्गा 
  • मकान की क्षति हुई तो उसकी भरपाई
  • जिन किसानों की फसलों को व्यापक नुकसान हुआ, उनकी कर्ज वसूली स्थगित
  • कर्ज वसूली स्थगित करके कर्ज़े का ब्याज भी सरकार देगी
  • अगली फसल के लिए 0 फीसदी ब्याज पर फिर मिलेगा कर्ज़ा
  • ओलावृष्टि प्रभावित क्षेत्रों में फिर से गेहूं उपार्जन हेतु पंजीयन की तारीख बढ़ाई
  • मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के अंतर्गत ₹56000 की सहायता भी दी जाएगी। जिनकी बेटियों की शादी थी व फसल नष्ट हो गई। 

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