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राजस्थान के नागौर से सांसद हनुमान बेनीवाल कोरोना वायरस से संक्रमित पाए गए

राजस्थान के नागौर से सांसद हनुमान बेनीवाल कोरोना वायरस से संक्रमित पाए गए है। उन्होनें ट्वीट कर बताया कि COVID19 के लक्षण महसूस होने के कारण नागौर में टेस्ट के बाद मेरी रिपोर्ट पॉज़िटिव आई है तथा मेरी पत्नी कनिका की रिपोर्ट नेगेटिव आई है।

Hanuman Beniwal found infected with coronavirus- India TV Hindi Image Source : INDIA TV Hanuman Beniwal found infected with coronavirus

जयपुर: राजस्थान के नागौर से बीजेपी की सहयोगी पार्टी राष्ट्रीय लोकत्रांतिक पार्टी (आरएलपी) के अध्यक्ष और सांसद हनुमान बेनीवाल कोरोना वायरस से संक्रमित पाए गए है। उन्होनें ट्वीट कर बताया कि COVID19 के लक्षण महसूस होने के कारण नागौर में टेस्ट के बाद मेरी रिपोर्ट पॉज़िटिव आई है तथा मेरी पत्नी कनिका की रिपोर्ट नेगेटिव आई है, मेरी अपील है कि पिछले 10 दिनों में जो भी मेरे संपर्क में आए हैं,वह अपना कोरोना टेस्ट करवा लें तथा मेरे निकट संपर्क वाले लोग क्वारन्टीन में चले जाए। उन्होनें ट्वीट कर आगे लिखा की ईश्वर की कृपा से तथा आप सभी की दुआ व चिकित्सको के निर्देशन में ईलाज लेकर जल्द स्वस्थ होकर आपके मध्य जन सेवा हेतु पुनः उपस्थित हो जाऊंगा।

कांग्रेस ने राजस्थान के राज्यपाल पर केन्द्र के इशारे पर काम करने का आरोप लगाया 

कांग्रेस ने राजस्थान के राज्यपाल पर राज्य विधानसभा का सत्र बुलाने संबंधी अशोक गहलोत सरकार की मांग पर ‘‘सतही और प्रेरित’’ सवाल उठाकर ‘‘लोकतंत्र को बाधित करने का सबसे खराब तरीका’’ अपनाने का रविवार को आरोप लगाया। कांग्रेस प्रवक्ता अभिषेक सिंघवी ने कहा कि उनकी पार्टी राज्य विधानसभा में बहुमत साबित करना चाहती है लेकिन राज्यपाल कथित तौर पर केन्द्र सरकार के इशारे पर सदन का सत्र बुलाने और विश्वास मत में ‘‘देरी’’ कर रहे हैं। 

उन्होंने विधानसभा सत्र बुलाये जाने के संबंध में उच्चतम न्यायालय के फैसलों और कई उदाहरणों का हवाला देते हुए कहा कि राज्यपाल अपनी मर्जी से काम नहीं कर सकते हैं और केवल मंत्रिमंडल की सलाह से ऐसा कर सकते हैं। सिंघवी ने कहा कि इस तरह के दुर्भावना से प्रेरित, सतही और असंगत सवाल इस बात को बिना किसी संदेह के स्थापित करते हैं कि ये केन्द्र सरकार के सर्वोच्च अधिकारियों से आ रहे है और राजभवन, जयपुर से बिना किसी परिवर्तन के अपने ‘मास्टर’ की आवाज को दोहराया जा रहा है। 

सिंघवी ने ऑनलाइन संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘हम सभी जानते हैं कि मास्टर कौन है। लेकिन, यह राज्यपाल की संवैधानिक स्थिति की गरिमा को कम करता है।’’ राज्यपाल कलराज मिश्र ने शुक्रवार को राज्य सरकार से छह बिंदुओं पर स्पष्टीकरण मांगा था। जब उनसे पूछा गया कि क्या पार्टी राजस्थान उच्च न्यायालय के फैसले को चुनौती देगी तो सिंघवी ने कहा कि लड़ाई अदालत कक्ष में नहीं बल्कि राज्य विधानसभा में है, जहां होने वाला शक्ति परीक्षण यह निर्धारित करेगा कि किसके पास संख्या बल है। 

प्रधानमंत्री पर निशाना साधते हुए सिंघवी ने पूछा, ‘‘देश के सर्वोच्च कार्यकारी पद पर आसीन वो लोग, जिन्होंने दूसरों के लिए ‘मौनी बाबा ’जैसे उपहासों का आविष्कार किया, क्या वह राज्यपाल जैसे संवैधानिक प्राधिकारियों को अपना राजधर्म निभाने की याद दिलाने में अपनी चुप्पी का आत्ममंथन नहीं कर रहे हैं। या उनकी मुखरता सिर्फ जुमलों के लिए है?