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Hindi News एजुकेशन अब पैरेंट्स व साथी छात्रों के इनपुट के आधार पर बनेगी नई असेसमेंट स्कीम, NCERT ने लिया फैसला

अब पैरेंट्स व साथी छात्रों के इनपुट के आधार पर बनेगी नई असेसमेंट स्कीम, NCERT ने लिया फैसला

NCERT ने स्कूलों को आदेश दिया है कि सभी राज्य एचपीसी के अनुसार अपना मूल्यांकन पैटर्न तैयार करें। साथ ही उनसे स्कूलों को या तो एचपीसी अपनाने या इसे अनुकूलित करने के लिए कहा गया है।

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स्कूलों में मूल्यांकन की पारंपरिक पद्धति से हटकर जहां सभी का ध्यान साल के अंत की परीक्षाओं पर होता है, वहीं, एनसीईआरटी की मानक-सेटिंग संस्था PARAKH ने एक समग्र प्रगति कार्ड(Holistic Progress Card)यानी HPC तैयार किया है। द इंडियन एक्सप्रेस में छपी एक रिपोर्ट के अनुसार, एचपीसी माता-पिता, सहपाठियों और यहां तक कि सेल्फ-इवैल्यूशन के फीडबैक के आधार पर छात्रों के प्रदर्शन का मूल्यांकन करेगा।

इसके माध्यम से, PARAKH का लक्ष्य न केवल छात्रों के एकेडमिक परफॉर्मेंस बल्कि कक्षा एक्टीविटीज के दौरान उनकी कॉगनेटिव यानी संज्ञानात्मक, सोशियो-इमोशनल यानी सामाजिक-भावनात्मक क्षमताओं और क्रिएटिविटी को भी ट्रैक करना है। छात्रों के मूल्यांकन के मापदंडों में आत्म-जागरूकता, पारस्परिक संबंध, समस्या-समाधान, भावनात्मक भागफल और क्रिएटिव कौशल शामिल होंगे।

छात्रों तक कैसे पहुंचेगी एचपीसी?

PARAKH ने मूल्यांकन का एक डिस्क्रिपटिव रूप तैयार किया है जहां छात्र सक्रिय भागीदार होंगे। उनका मूल्यांकन अलग-अलग स्किल और दक्षताओं सहित सीखने के विभिन्न पहलुओं पर आधारित होगा। एचपीसी को मूलभूत फेज (कक्षा 1 और 2), शुरुआती फेज (कक्षा 3 से 5) और मिड फेज (कक्षा 6 से 8) के लिए डिज़ाइन किया गया है। वर्तमान में बॉडी यानी निकाय मिड फेज के लिए भी एक समान मूल्यांकन योजना बनाने की तैयारी कर रहा है। रिपोर्ट कार्ड माता-पिता, सहपाठियों और यहां तक कि सेल्फ-इवैल्यूशन के फीडबैक के आधार पर तैयार किया जाएगा।

इवैल्यूशन में छात्रों की अपना होमवर्क करने की क्षमता, कक्षा में पाठों का पालन करने और यहां तक ​​कि घर पर पढ़ाई संबंधित गतिविधियों के साथ स्क्रीन समय को संतुलित करने की छात्र की क्षमता जानने के लिए माता-पिता के इनपुट शामिल होंगे। सहपाठी इस बारे में बात करेंगे कि क्या छात्र सीखने और संलग्न होने के दौरान कार्य करने में सक्षम था।

पैटर्न तैयार करने का निर्देश

एनसीईआरटी ने सभी राज्यों को एचपीसी के अनुसार अपना मूल्यांकन पैटर्न तैयार करने का निर्देश दिया। उनसे स्कूलों को या तो एचपीसी अपनाने या इसे अनुकूलित करने के लिए कहा जाता है। यह कदम स्कूली शिक्षा के लिए नेशनल कर्कुलम फ्रेमवर्क फॉर स्कूल एजुकेशन (एनसीएफएसई) की सिफारिशों के अनुरूप है जो मूल्यांकन को अधिक 'शिक्षार्थी-केंद्रित' बनाने का प्रस्ताव करता है। नेशनल एजुकेशन पॉलिसी (एनईपी) 2020 के अनुसार, एचपीसी को छात्रों की ताकत और सुधार के क्षेत्रों पर काम करके आत्म-जागरूकता और आत्म-सम्मान बढ़ाने के साधन के रूप में पेश किया गया है।

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