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Hindi News भारत राष्ट्रीय 1966 में बिना किसी विदेशी अतिथि के मनाया गया था गणतंत्र दिवस, क्या इस बार भी ऐसा होगा?

1966 में बिना किसी विदेशी अतिथि के मनाया गया था गणतंत्र दिवस, क्या इस बार भी ऐसा होगा?

ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने अपने देश में कोरोना वायरस की गंभीर स्थिति के मद्देनजर जनवरी में प्रस्तावित भारत का दौरा रद्द कर दिया है। यह चौथा ऐसा मौका होगा जब भारतीय गणतंत्र दिवस समारोह में कोई भी मुख्य अतिथि नहीं होगा...

Republic Day- India TV Hindi Image Source : PTI (FILE PHOTO) 1966 में बिना किसी विदेशी अतिथि के मनाया गया था गणतंत्र दिवस, क्या इस बार भी ऐसा होगा?

नई दिल्ली: ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने अपने देश में कोरोना वायरस की गंभीर स्थिति के मद्देनजर जनवरी में प्रस्तावित भारत का दौरा रद्द कर दिया है। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन को 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस परेड के लिए मुख्य अतिथि के तौर पर आमंत्रित किया गया था। अधिकारियों ने बताया कि जॉनसन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बात कर महामारी की स्थिति के कारण अपना दौरा रद्द करने के लिए खेद प्रकट किया। बता दें कि यह चौथा ऐसा मौका होगा जब भारतीय गणतंत्र दिवस समारोह में कोई भी मुख्य अतिथि नहीं होगा। इससे पहले 1952, 1953 और 1966 में ऐसा हो चुका है। वहीं, कई बार ऐसे मौके भी आए जब देश के गणतंत्र दिवस समारोह में दो-दो अतिथि भी शामिल हुए. साल 1956, 1968 और 1974 में दो-दो मुख्य अतिथि शामिल हुए।

वहीं, 1966 के बाद यह पहली बार होगा जब गणतंत्र दिवस बिना किसी विदेशी अतिथि के मनाया जाएगा। साल 2018 में 10 एशियाई देशों के प्रमुख गेस्ट के रूप में भारतीय गणतंत्र दिवस समारोह में शामिल हुए थे। यह पहला मौका था जब इतने देशों के मुखिया 26 जनवरी के परेड में शामिल हुए थे।

गौरतलब है कि ब्रिटेन में कोरोना वायरस के नए स्वरूप (स्ट्रेन) का संक्रमण फैल रहा है। यह पहले से अधिक संक्रामक बताया जा रहा है। जॉनसन ने मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बात कर महामारी की स्थिति के कारण अपना दौरा रद्द करने के लिए खेद प्रकट किया।

डाउनिंग स्ट्रीट के प्रवक्ता ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री (जॉनसन) ने योजना के अनुसार इस महीने के आखिर में होने वाली अपनी भारत यात्रा पर नहीं जा सकने के लिए खेद प्रकट करने को लेकर आज सुबह प्रधानमंत्री मोदी से बात की।’’ प्रवक्ता ने कहा, ‘‘बीती रात घोषित राष्ट्रीय लॉकडाउन के आलोक में और कोरोना वायरस के नए प्रकार के फैलने की गति के मद्देनजर प्रधानमंत्री ने कहा है कि उनके लिए यह जरूरी है कि वह ब्रिटेन में मौजूद रहें, ताकि वह वायरस के खिलाफ घरेलू प्रतिक्रिया पर ध्यान दे सकें।’’

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