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Hindi News भारत राष्ट्रीय तैमूर नगर मर्डर केस: 4 दिन बाद गिरफ्तार हुए हत्यारे, CBI जांच की मांग

तैमूर नगर मर्डर केस: 4 दिन बाद गिरफ्तार हुए हत्यारे, CBI जांच की मांग

दिल्ली पुलिस ने आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद लूट और हत्या का मुकद्दमा दर्ज किया है। पुलिस के मुताबिक आरोपियों ने नशा किया हुआ था और भागते हुए उन्होंने रुपेश को निशाना बनाया।

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नई दिल्ली: दिल्ली के तैमूर नगर इलाके में रूपेश हत्याकांड मामले में आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। रूपेश का कसूर ये था कि उसने इलाके में ड्रग्स तस्करों का विरोध किया था। पुलिस में इनकी शिकायत कर दी थी और यही बात उसकी मौत की वजह बन गई। साऊथ दिल्ली पुलिस इस केस में पहले आकाश और सूरज नाम के दो बदमाशों को गिरफ्तार किया। इनके पास से महरौली से लूटी गई बाइक, गोल्ड चैन और देसी कट्टा बरामद हुआ।

पूछताछ के दौरान दोनों आरोपियो में अपने तीसरे साथी अजय राठी का नाम बताया जिसके बाद उसे भी गिराफ्तार कर लिया गया है। पुलिस के मुताबिक आकाश और अजय राठी ने अपना जुर्म कबूल कर लिया है। दिल्ली पुलिस के लिए सिरदर्द बन चुके तीनों आरोपियों ने जिस रात रूपेश की हत्या की थी उससे पहले उन्होंने पुलिस की नाक के नीचे एक होंडा सिटी कार चुराई थी। फिर उन्होंने रूपेश का मर्डर किया और फिर दो लोगों से चेन स्नैचिंग की वारदात को अंजाम देकर जमकर कोहराम भी मचाया।

रूपेश की हत्या से पहले ये तीनों आरोपी दिल्ली के जंगपुरा में थे जहां इन्होंने एक होंडा सिटी कार की चोरी की। चुराई हुई कार से तीनों ड्रग्स तस्कर तैमूर नगर पहुंचे जहां इन्होंने रात करीब पौने नौ बजे रूपेश की गोली मारकर हत्या कर दी। तैमूर नगर से तीनों दिल्ली के मौर्या एन्क्लेव पहुंचे और सरेआम एक के बाद दो लोगों की चेन लूट ली। महज कुछ घंटों में तीन अपराध करने के बाद ये बदमाश इंद्रलोक मेट्रो स्टेशन पहुंचे और कार को छोड़कर बड़े आराम से पैदल ही फरार हो गए।

दिल्ली पुलिस ने आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद लूट और हत्या का मुकद्दमा दर्ज किया है। पुलिस के मुताबिक आरोपियों ने नशा किया हुआ था और भागते हुए उन्होंने रुपेश को निशाना बनाया लेकिन मृतक रुपेश के परिजनों का कहना है कि ये एक सोची समझी साज़िश है। रुपेश के परिजन इस पूरे मामले में दिल्ली पुलिस की तहकीकात पर ही सवाल उठा रहे हैं।

अब सच कि गहराई क्या है ये तो जांच के बाद ही पता चलेगा लेकिन पूरी वारदात ये बताने के लिए काफी है कि दिल्ली में बदमाश किस कदर बेखौफ हैं। तीनों बदमाश इस हत्या को अंजाम देने से पहले और इसके बाद ताबड़तोड़ क्राइम कर रहे थे। ना तो किसी पीसीआर ने इन्हें देखा और ना ही रोका। दिल्ली पुलिस को इनकी जरा भी भनक तक नहीं लगी।

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