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Hindi News भारत राष्ट्रीय नए संसद भवन पर शिवसेना की तीखी प्रतिक्रिया, सामना में कहा- क्या इसकी जरूरत थी?

नए संसद भवन पर शिवसेना की तीखी प्रतिक्रिया, सामना में कहा- क्या इसकी जरूरत थी?

नए संसद भवन के उद्घाटन के अवसर पर शिवसेना (उद्धव गुट) के मुखपत्र सामना में एक संपादकीय प्रकाशित किया गया है। इस संपादकीय में नए संसद भवन को लेकर पीएम मोदी समेत भाजपा पर तंज किया गया है।

Shiv Sena saamana sharp reaction on the inauguration of the new Parliament House- India TV Hindi Image Source : PTI नए संसद पर शिवसेना की तीखी प्रतिक्रिया

Saamana On New Parliament Inauguration: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नए संसद भवन का उद्घाटन कर दिया है। साथ ही राजदंड सेंगोल को भी स्थापित किया जा चुका है। इस बीच नए संसद भवन के उद्घाटन को लेकर उद्धव गुट ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। शिवसेना (उद्धव गुट) के मुखपत्र सामना के संपादकीय लेख प्रकाशित किया गया है। इस लेख में कहा गया है कि नए संसद भवन का आज उद्घाटन किया जा रहा है। यह मान्यता और परंपरा के लिहाज से सही नहीं है। ऐसा कब्जा हासिल करना लोकतंत्र के लिए सही नहीं है। इस संपादकीय में पीएम नरेंद्र मोदी और भाजपा पर कटाक्ष किया गया है। 

सामना में क्या लिखा...

सामना लिखा गया कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को किनारे कर संसद भवन का आज उद्घाटन किया जा रहा है। यह परपराओं और मान्यता के अनुरूप सही नहीं है। भाजपा को छोड़कर लगभग सभी दलों ने इसपर युद्ध छेड़ा है। इस लेख में सवाल करते हुए कहा गया है कि दिल्ली में नया संसद भवन खड़ा हो गया है। उसकी क्या सही में आवश्यकता थी? सामना में नए संसद भवन को गैर जरूरी बताते हुए कहा गया कि विचारों पर बंधन और सत्ता के केंद्रीकरण के जरिए ही तानाशाही पलती है। परंपरा के मुताबिक नए संसद भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को करना चाहिए था। 

निशाना साधते हुए संपादकीय में लिखा गया कि राष्ट्रपति को साधारण निमंत्रण भी नहीं दिया गया। यह लोकतंत्र के लिए हानिकारक है। इसलिए कांग्रेस सहित देश के 20 से अधिक दलों ने संसद उद्घाटन समारोह का बहिष्कार किया है। पीएम मोदी पर तंज कसते हुए लिखा गया- सब कुछ 'मैं' मतलब मोदी। यह अहंकार ही है। राष्ट्रपति के हाथों संसद का उद्घाटन न करना और समारोह में उन्हें न बुलाना देश के सर्वोच्च संवैधानिक पद का अपमान है।

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