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Hindi News भारत राजनीति संजय निरुपम ने 23 कांग्रेसी के 'बगावती' पत्र को बताया षड़यंत्र, कहा सिर्फ राहुल ही बचा सकते हैं कांग्रेस

संजय निरुपम ने 23 कांग्रेसी के 'बगावती' पत्र को बताया षड़यंत्र, कहा सिर्फ राहुल ही बचा सकते हैं कांग्रेस

कांग्रेस नेतृत्व और गांधी परिवार पर सवाल उठाती 23 वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं की चिट्ठी मीडिया में लीक होने के बाद से बवाल मचा हुआ है।

<p>Sanjay Nirupam</p>- India TV Hindi Image Source : FILE Sanjay Nirupam

कांग्रेस नेतृत्व और गांधी परिवार पर सवाल उठाती 23 वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं की चिट्ठी मीडिया में लीक होने के बाद से बवाल मचा हुआ है। इस बीच महाराष्ट्र कांग्रेस के वरिष्ठ नेता संजय निरुपम ने इस चिट्ठी को षड़यंत्र करार दिया है। इसके साथ ही निरुपम ने मांग की है कि राहुल गांधी अध्यक्ष न बनने की अपनी जिद छोड़ दें और जल्द से जल्द जिम्मेदारी संभालें। उन्होंने कहा कि सिर्फ राहुल गांधी ही कांग्रेस की ढहती दीवारों को संभाल सकते हैं। 

संजय निरुपम ने ट्वीट कर लिखा कि यह पत्र राहुल गाँधी का नेतृत्व मोथरा करने के लिए एक नया षड़यंत्र है। जो षड़यंत्र बंद कमरों में रचा जाता था,वह एक पत्र में उभर कर आया है। इसका एक ही जवाब है, राहुल जी अध्यक्ष न बनने की जिद्द छोड़ें और राज्यों में कॉंग्रेस की ढहती दीवारों को बचाएँ। कांग्रेस को सिर्फ वही बचा सकते हैं।

CWC से पहले कांग्रेस में भूचाल, 23 वरिष्ठ नेताओं ने लिखा सोनिया को खत, आलाकमान पर उठाए गंभीर सवाल

23 नेताओं ने दिखाए बगावती तेवर 

पांच पूर्व मुख्यमंत्रियों समेत 23 कांग्रेसी नेताओं ने पार्टी प्रमुख सोनिया गांधी को पत्र लिखा है। इस खत में इन नेताओं ने सीधे सीधे गांधी परिवार को ही निशाने पर लिया है। आलाकमान पर गंभीर आरोप लगाते हुए पार्टी में बड़े बदलाव की मांग की है। इसे देखते हुए माना जा रहा है कि कल होने वाली सीडब्ल्यूसी की बैठक में पार्टी अध्यक्ष के रूप में नया चेहरा पेश कर सकती है। 

बता दें कि कांग्रेस के 23 वरिष्ठ नेताओं द्वारा लिखा एक पत्र कल सीडब्ल्यूसी की बैठक से पहले लिखा गया है। पत्र लिखने वाले नेताओं में गुलाम नबी आज़ाद, कपिल सिब्बल, भूपेन्द्र सिंह हुड्डा, वरपा मोइली, राज बब्बर, मिलिंद देवड़ा, संदीप दीक्षित, रेणुका चौधरी, मनीष तिवारी और कई अन्य वरिष्ठ नेता शामिल है। वरिष्ठ नेताओं ने यह खत कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को भेजा है।

आलाकमान पर उठाए गंभीर सवाल 

पत्र में इन नेताओं ने 2014 के लोकसभा चुनाव के बाद कांग्रेस के कामकाज पर कई गंभीर सवाल खड़े किए हैं। पत्र में इन नेताओं ने कांग्रेस के एक पूर्ण अध्यक्ष की वकालत की है और तर्क दिया है कि नेतृत्व पर अनिश्चितता ने कार्यकर्ताओं के मनोबल को तोड़ कर दिया है और कांग्रेस पार्टी को कमजोर कर दिया है।पत्र में यह भी कहा गया है कि लोक सभा चुनावों में हार के बाद भी कोई ईमानदार-आत्मनिरीक्षण नहीं हुआ है। पत्र में यह भी कहा गया है कि सीडब्ल्यूसी पार्टी से चर्चा नहीं कर रही है जैसा कि पहले पार्टी का मार्गदर्शन करने के लिए किया जाता था। साथ ही पत्र में सीपीपी की बैठकों पर सवाल उठाए हैं।

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