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Hindi News लाइफस्टाइल जीवन मंत्र अर्जुन की मौत एक बार नहीं बल्कि 2 बार हुए थी, जानिए कैसे और कब हुए पुन: जीवित

अर्जुन की मौत एक बार नहीं बल्कि 2 बार हुए थी, जानिए कैसे और कब हुए पुन: जीवित

आप सभी लोग उनकी मृत्यु के बारें में जानते है कि वह स्वर्ग की यात्रा करते समय मृत्यु हुई थी। लेकिन आप ये बात नहीं जानते होगे शायद कि पहले भी उनकी मृत्यु हो चुकी थी और वह दोबारा जीवित हुए। जानिए इससे जुड़ी कथा के बारें में।

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ऐसे हुए अर्जुन दूबारा जीवित
अर्जुन की मृत्यु पक बभ्रुवाहन और चित्रगंदा दोनों ने आमरण अनशन रख लिया। जब इस बारें में नागकन्या उलूपी को पता चला, तो उनको संजीवन मणि के बारें में याद आया। तो वह बभ्रुवाहन के पास गई और बोली की यह मणि अर्जुन की छाती में रख दो। बभ्रुवाहन ने वैसा ही किया और रखते ही अर्जुन जीवित हो गए।

उलूपी ने बताई क्यों हुई थी अर्जुन की मृत्यु
जब अर्जुन ने पूछा कि किस कारण ऐसा हुआ तो उलूपी ने बताया कि छल पूर्वक भीष्म का वध करने के कारण वसु आपको शाप देना चाहते थे। जब यह बात मुझे पता चली तो मैंने यह बात अपने पिता को बताई। उन्होंने वसुओं के पास जाकर ऐसा न करने की प्रार्थना की।

तब वसुओं ने प्रसन्न होकर कहा कि मणिपुर का राजा बभ्रुवाहन अर्जुन का पुत्र है यदि वह बाणों से अपने पिता का वध कर देगा तो अर्जुन को अपने पाप से छुटकारा मिल जाएगा। आपको वसुओं के शाप से बचाने के लिए ही मैंने यह मोहिनी माया दिखलाई थी। इस प्रकार पूरी बात जान कर अर्जुन, बभ्रुवाहन और चित्रांगदा भी प्रसन्न हो गए।  इसके बाद अर्जुन ने बभ्रुवाहन को अश्वमेध यज्ञ में आने का निमंत्रण दिया और पुन: अपनी यात्रा पर चल दिए।

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