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Hindi News पैसा बिज़नेस ढाई साल में पहली बार सरकार ने घटाए प्राकृतिक गैस के दाम, 1 अक्‍टूबर से 3.23 डॉलर प्रति एमबीटीयू होगा भाव

ढाई साल में पहली बार सरकार ने घटाए प्राकृतिक गैस के दाम, 1 अक्‍टूबर से 3.23 डॉलर प्रति एमबीटीयू होगा भाव

पीपीएसी की अधिसूचना में कहा गया है कि सरकार ने मुश्किल क्षेत्रों से उत्पादिन गैस के दाम को सरकार ने 9.32 डॉलर से घटाकर 8.43 डॉलर प्रति एमबीटीयू कर दिया है।

Govt cuts gas price by over 12 pc- India TV Paisa Image Source : GOVT CUTS GAS PRICE BY OV Govt cuts gas price by over 12 pc

नई दिल्‍ली। सरकार ने सोमवार को घरेलू प्राकृतिक गैस के दाम में पिछले ढाई साल के दौरान पहली बार कटौती का ऐलान किया है। तेल मंत्रालय की पेट्रोलियम प्‍लानिंग एंड एनालिसिस सेल (पीपीएसी) के मुताबिक ओएनजीसी और ऑयल इंडिया लिमिटेड द्वारा उत्‍पादित प्राकृतिक गैस की कीमत घटाकर 3.23 डॉल प्रति मिलियन ब्रिटिश थर्मल यूनिट कर दी गई है। प्राकृतिक गैस का नया दाम 1 अक्‍टूबर, 2019 से अगले छह महीने के लिए प्रभावी होगा। वर्तमान में इसका भाव 3.69 डॉलर प्रति एमबीटीयू है। 1 अप्रैल, 2017 के बाद सरकार ने पहली बार घरेलू प्राकृतिक गैस के दाम को घटाया है। हालांकि मुश्किल क्षेत्र से पैदा होने वाली गैस, जैसे रिलायंस इंडस्‍ट्रीज के अर्द्धविकसित केजी-डी6 ब्‍लॉक के लिए दाम में कोई परिवर्तन नहीं होगा।

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पीपीएसी की अधिसूचना में कहा गया है कि सरकार ने मुश्किल क्षेत्रों से उत्‍पादिन गैस के दाम को सरकार ने 9.32 डॉलर से घटाकर 8.43 डॉलर प्रति एमबीटीयू कर दिया है। प्राकृतिक गैस के दाम को प्रत्‍येक छह माह में संशोधित किया जाता है। हर साल 1 अप्रैल और एक अक्‍टूबर को यह बदलाव होता है। प्राकृतिक गैस का उपयोग उर्वरक बनाने और बिजली पैदा करने में किया जाता है। इसके अलावा इसे ऑटोमोबाइल्‍स में ईंधन के रूप में सीएनजी और घरों में रसोई गैस के रूप उपयोग के लिए बदला जाता है।

प्राकृतिक गैस के दाम में कमी आने से इसका असर उर्वकर, बिजली और सीएनजी की कीमतों पर होगा। इससे तेल एवं प्राकृतिक गैस निगम (ओएनजीसी) और रिलायंस इंडस्‍ट्रीज के राजस्‍व पर भी प्रभाव पड़ेगा।

2014 में सत्‍ता में आने के बाद मोदी सरकार ने पूर्ववर्ती कांग्रेस नेतृत्‍व वाली यूपीए सरकार द्वारा स्‍वीकृति गैस मूल्‍य फॉर्मूला को निरस्‍त कर दिया था। कांग्रेस सरकार ने सभी घरेलू प्राकृतिक गैस के लिए मूल्‍य निर्यातकों द्वारा भारत में प्राप्‍त आयातित प्राकृतिक गैस के शुद्ध मूल्‍य और वैश्विक गैस उत्‍पादों द्वारा निर्धारित मूल्‍य के आधार पर तय करने के फॉर्मूले को मंजूरी दी थी।

मोदी सरकार ने इस फॉर्मूले को अमेरिका, ब्रिटेन, कनाडा और रूस जैसे गैस निर्यातक देशों के औसत दर के आधार पर तय करने का फॉर्मूला मंजूर किया है।  प्राकृतिक गैस के दाम में कमी आने से जहां एक ओर ओएनजीसी और रिलायंस इंडस्‍ट्रीज की आय पर प्रतिकूल असर पड़ेगा वहीं दूसरी ओर सीएनजी और पीएनजी के दाम में कमी आएगी। इसके अलावा उर्वरक और बिजली उत्‍पाद की लागत में भी कमी आएगी।

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