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Budget: वित्त मंत्रालय बजट तैयार करने की प्रक्रिया 10 अक्टूबर से करेगा शुरू, इस बार इन मुद्दों पर रहेगा फोकस

Budget: वित्त मंत्रालय बजट तैयार करने की प्रक्रिया 10 अक्टूबर से करेगा शुरू, इस बार इन मुद्दों पर रहेगा फोकस Budget: Finance Ministry will start the process of preparing the budget from October 10, this time the focus will be on these issues

Budget - India TV Paisa Image Source : FILE Budget

Highlights

  • रोजगार सृजन और आठ प्रतिशत से अधिक की वृद्धि पर गौर करने की जरूरत होगी
  • मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल और सीतारमण का यह पांचवां बजट होगा
  • बजट सत्र के पहले चरण में एक फरवरी को पेश किया जा सकता है

Budget: वित्त मंत्रालय वित्त वर्ष 2023-24 के लिये सालाना बजट तैयार करने का काम 10 अक्टूबर से शुरू करेगा। यह प्रक्रिया घरेलू अर्थव्यवस्था को रफ्तार देने और विकसित देशों में मंदी की आशंका के बीच शुरू हो रही है। अगले वित्त वर्ष के बजट में उच्च मुद्रास्फीति, मांग को गति देने, रोजगार सृजन तथा आठ प्रतिशत से अधिक की वृद्धि को बनाये रखने के महत्वपूर्ण मुद्दों पर गौर करने की जरूरत होगी। इससे पहले, दिन में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि महंगाई के रिकॉर्ड उच्चस्तर से नीचे आने के साथ यह मुद्दा अब बहुत महत्वपूर्ण नहीं रह गया है और अब सरकार के लिये प्राथमिकता रोजगार सृजन और आर्थिक वृद्धि को गति देना है।

सीतारमण का यह पांचवां बजट होगा

मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल और सीतारमण का यह पांचवां बजट होगा। साथ ही 2024 के अप्रैल-मई में होने वाले आम चुनाव से पहले अंतिम पूर्ण बजट होगा। आर्थिक मामलों के विभाग के बजट इकाई के बजट परिपत्र (2023-24) के अनुसार, ‘‘सचिव (व्यय) की अध्यक्षता में बजट पूर्व बैठकें 10 अक्टूबर, 2022 से शुरू होगी।’’ वित्त वर्ष 2023-24 के बजट अनुमानों को बजट पूर्व बैठकों के पूरा होने के बाद अस्थायी तौर पर अंतिम रूप दिया जाएगा। संशोधित अनुमान (आरई) को लेकर बैठकें नवंबर, 2022 के मध्य तक जारी रहेगी। वित्त वर्ष 2023-24 का बजट संसद के बजट सत्र के पहले चरण में एक फरवरी को पेश किया जा सकता है। बजट सत्र आमतौर पर जनवरी के अंतिम सप्ताह से शुरू होता है।

बजट लक्ष्य से कर संग्रह अधिक रहेगा

आयात शुल्क में बदलाव और ईंधन निर्यात पर अप्रत्याशित लाभ कर से न केवल ईंधन पर उत्पाद शुल्क कटौती की भरपाई हो पाएगी, बल्कि इससे चालू वित्त वर्ष में कुल कर संग्रह भी बजट लक्ष्य से अधिक यानी 20.70 लाख करोड़ रुपये पर पहुंच जाएगा। एक रिपोर्ट में यह अनुमान लगाया गया है। इंडिया रेटिंग्स की सोमवार को जारी रिपोर्ट में कहा गया है कि बजट में कुल कर संग्रह 19.35 लाख करोड़ रुपये रहने का अनुमान लगाया गया है। लेकिन कुछ आयात पर सीमा शुल्क में बदलाव और ऊंची मुद्रास्फीति आधारित मौजूदा बाजार मूल्य पर सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि से कर संग्रह अधिक रहेगा। रिपोर्ट में कहा गया है कि सरकार का कर राजस्व बजट लक्ष्य से 1.35 लाख करोड़ रुपये अधिक रह सकता है।

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