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Hindi News पैसा बिज़नेस GST Compensation: जुलाई करीब आते ही राज्यों को सताया 'बैसाखी' छिनने का डर, महाराष्ट्र ने कहा- हर साल होगा 30000 करोड़ का घाटा

GST Compensation: जुलाई करीब आते ही राज्यों को सताया 'बैसाखी' छिनने का डर, महाराष्ट्र ने कहा- हर साल होगा 30000 करोड़ का घाटा

जीएसटी लागू करते समय तत्कालीन वित्तमंत्री अरुण जेटली ने माल एवं सेवा कर (जीएसटी) अधिनियम के तहत अगले 5 साल तक राज्यों को जीएसटी से होने वाले नुकसान का मुआवजा देने की गारंटी दी थी।

<p>GST Compensation </p>- India TV Paisa Image Source : FILE GST Compensation 

Highlights

  • जुलाई 2017 से लागू हुए जीएसटी को 5 साल होने को हैं
  • सरकार ने 5 साल तक जीएसटी मुआवजा देने की गारंटी दी थी
  • 2022 के साथ अब यह गारंटी अवधि भी समाप्त होने जा रही है

GST Compensation: जुलाई 2017 से लागू हुए जीएसटी को 5 साल होने को हैं। आपके लिए भले ही यह मात्र 5 साल हों, लेकिन राज्यों के लिए जुलाई 2022 किसी बुरे सपने से कम नहीं होने जा रहा है। 

जीएसटी लागू करते समय तत्कालीन वित्तमंत्री अरुण जेटली ने माल एवं सेवा कर (जीएसटी) अधिनियम के तहत अगले 5 साल तक राज्यों को जीएसटी से होने वाले नुकसान का मुआवजा देने की गारंटी दी थी। 2022 के साथ अब यह गारंटी अवधि भी समाप्त होने जा रही है। ऐसे में राज्यों के बीच खलबली मची हुई है। 

महाराष्ट्र को होगा तगड़ा नुकसान

महाराष्ट्र सरकार का कहना है कि अगर केंद्र सरकार ने जीएसटी मुआवजे का इस साल जुलाई से आगे विस्तार नहीं किया तो उसको सालाना 30,000 करोड़ रुपये का नुकसान होगा। ऐसा ही डर कई राज्यों को भी है। ऐसे में कई राज्यों ने मुआवजा व्यवस्था को जून, 2022 से आगे बढ़ाने की केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से मांग की है। इसके बावजूद राज्यों को अब तक कोई आश्वासन नहीं मिला है। 

महाराष्ट्र देता है 15 प्रतिशत का योगदान

महाराष्ट्र कुल केंद्रीय जीएसटी में लगभग 15 प्रतिशत योगदान देता है। अधिकारी ने कहा, ‘‘केंद्र ने 2020-21 में राज्य से 46,664 करोड़ रुपये एकत्र किए, लेकिन हमें इससे सिर्फ 521 करोड़ रुपये मिले। केंद्र जुलाई तक भुगतान करता है और भुगतान में देरी से प्रशासनिक जटिलताएं पैदा होती हैं।’’ 

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