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डोनाल्ड ट्रंप से मिली निराशा के बाद अब बायडेन प्रशासन पर किम जोंग की नजरें

उन्होंने कहा है कि बायडेन के साथ उनके संबंध इस बात पर निर्भर करेंगे कि वाशिंगटन उन नीतियों से दूरी बनाता है या नहीं जो उनके मुताबिक अमेरिका की शत्रुतापूर्ण नीतियां हैं।

डोनाल्ड ट्रंप से मिली निराशा के बाद अब बायडेन प्रशासन पर किम जोंग की नजरें- India TV Hindi Image Source : AP डोनाल्ड ट्रंप से मिली निराशा के बाद अब बायडेन प्रशासन पर किम जोंग की नजरें

सियोल:  उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन के लिए पिछला वर्ष काफी खराब रहा। कोरोना वायरस महामारी के कारण जहां सीमाएं बंद हुई और अर्थव्यवस्था की हालत खराब हो गई, वहीं अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ असफल वार्ता के चलते देश से प्रतिबंध भी नहीं हटे। अब उन्हें राष्ट्रपति जो बायडेन के साथ नए सिरे से शुरुआत करनी होगी जो पहले ही किम को ‘ठग’ कहकर संबोधित कर चुके हैं और ट्रंप पर आरोप लगा चुके हैं कि वह किम के परमाणु हथियारों में कमी लाने के लिए प्रयास नहीं कर रहे। 

अपने हालिया राजनीतिक भाषणों में किम अपने परमाणु कार्यक्रम को मजबूत करने का संकल्प लेते दिखे हैं हालांकि उन्होंने कहा है कि बायडेन के साथ उनके संबंध इस बात पर निर्भर करेंगे कि वाशिंगटन उन नीतियों से दूरी बनाता है या नहीं जो उनके मुताबिक अमेरिका की शत्रुतापूर्ण नीतियां हैं। यह अभी अस्पष्ट है कि किम कितना संयम रख पाते हैं। उत्तर कोरिया मिसाइल प्रक्षेपण तथा अन्य तरह से अमेरिकी प्रशासन की थाह लेने की कोशिश करता रहा है और इनसे उसका उद्देश्य अमेरिका को वार्ता के मंच तक लाने का दबाव बनाना होता है। ऐसा लगता नहीं है कि बायडेन के लिए उत्तर कोरिया शीर्ष प्राथमिकता होगा। 

सियोल में इवाह विश्वविद्यालय में प्रोफेसर लीफ एरिक एस्ले ने कहा कि बाइडन प्रशासन की प्राथमिकता में सबसे पहले होगा अमेरिका में हालात बेहतर करना, अमेरिका के सहयोगियों को मजबूत करना और चीन तथा रूस के लिहाज से रणनीतियों को एक सीध में रखना। ईरान तथा उत्तर कोरिया उसके लिए इन सबके बाद आएंगे।’’ हालांकि उत्तर कोरिया उपेक्षा बर्दाश्त नहीं करेगा।

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