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Hindi News विदेश एशिया एस जयशंकर ने आठ देशों के विदेश मंत्रियों के साथ बनाया "आष्टांग योग", पाकिस्तान और चीन हैरान

एस जयशंकर ने आठ देशों के विदेश मंत्रियों के साथ बनाया "आष्टांग योग", पाकिस्तान और चीन हैरान

यूरोपीय हिंद-प्रशांत क्षेत्र और यूक्रेन युद्ध सहित कई मुद्दों पर चर्चा के लिए विदेश मंत्री एस जयशंकर स्वीडन पहुंचे हुए हैं। वहां एक साथ उन्होंने 8 देशों के विदेश मंत्रियों के साथ मिलकर भारत के मजबूत संबंधों का ऐसा "आष्टांग योग" बनाया कि दुश्मन चीन और पाकिस्तान भी हैरान रह गए।

एस जयशंकर भारत के विदेशंत्री- India TV Hindi Image Source : PTI एस जयशंकर भारत के विदेशंत्री

यूरोपीय हिंद-प्रशांत क्षेत्र और यूक्रेन युद्ध सहित कई मुद्दों पर चर्चा के लिए विदेश मंत्री एस जयशंकर स्वीडन पहुंचे हुए हैं। वहां एक साथ उन्होंने 8 देशों के विदेश मंत्रियों के साथ मिलकर भारत के मजबूत संबंधों का ऐसा  "आष्टांग योग" बनाया कि दुश्मन चीन और पाकिस्तान भी हैरान रह गए। विदेश मंत्री ने इस दौरान फ्रांस, ऑस्ट्रिया, बेल्जियम, बुल्गारिया, साइप्रस, लातविया, लिथुआनिया और रोमानिया के अपने समकक्षों के साथ हिंद-प्रशांत क्षेत्र से लेकर और यूक्रेन युद्ध सहित कई मामलों पर विस्तार से चर्चा की है। जयशंकर ईयू हिंद-प्रशांत मंत्रिस्तरीय मंच (ईआईपीएमएफ) में भाग लेने के लिए स्वीडन की तीन दिवसीय यात्रा पर शनिवार को स्टॉकहोम पहुंचे थे। जयशंकर ने ट्वीट किया, ‘‘फ्रांस की विदेश मंत्री कैथरीन कोलोना से मिलकर खुशी हुई। बैस्टिल दिवस पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की यात्रा को सफल बनाने को लेकर उनकी तरह उत्साहित हूं। हिंद-प्रशांत और जी-20 पर विचारों का आदान-प्रदान किया।

प्रधानमंत्री मोदी 14 जुलाई को फ्रांस के बैस्टिल दिवस समारोह में विशिष्ट अतिथि के रूप में शामिल होंगे। फ्रांस के राष्ट्रपति एमैनुएल मैक्रों ने मोदी को पेरिस में होने वाली परेड में शामिल होने का निमंत्रण भेजा था। विदेश मंत्रालय के अनुसार, भारतीय सशस्त्र बलों की एक टुकड़ी भी अपने फ्रांसीसी समकक्षों के साथ परेड में भाग लेगी। जयशंकर ने ऑस्ट्रिया के विदेश मंत्री अलेक्जेंडर शालेनबर्ग से भी मुलाकात की और गतिशीलता एवं प्रवासन संबंधी समझौतों पर हस्ताक्षर किए। जयशंकर ने ट्वीट किया, ‘‘अपने मित्र और ऑस्ट्रिया के विदेश मंत्री शालेनबर्ग के साथ गर्मजोशी से और सार्थक चर्चा हुई। गतिशीलता और प्रवासन संबंधी समझौतों पर हस्ताक्षर किए। वैश्विक मुद्दों, विशेष रूप से यूक्रेन और हिंद-प्रशांत पर चर्चा की।

इन मंत्रियों से भी हुई द्विपक्षीय सहयोग पर चर्चा

बेल्जियम की विदेश मंत्री हादजा लाहबीब के साथ पहली बैठक में जयशंकर ने द्विपक्षीय संबंधों और बहुपक्षीय सहयोग को आगे बढ़ाने पर सहमति जताई। उन्होंने बुल्गारिया के विदेश मंत्री इवान कोंडोव के साथ भी विचारों का आदान-प्रदान किया और मजबूत होते द्विपक्षीय एवं बहुपक्षीय संबंधों पर चर्चा की। जयशंकर ने साइप्रस के विदेश मंत्री कॉन्स्टेंटिनोस कोम्बोस के साथ गतिशीलता और पर्यटन पर चर्चा की। उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘साइप्रस के विदेश मंत्री कॉन्स्टेंटिनोस कोम्बोस से मिलकर अच्छा लगा। हमने संपर्क बढ़ाने की संभावना पर गौर किया। गतिशीलता और पर्यटन के बारे में बात की। हमारे बहुपक्षीय सहयोग पर भी चर्चा की।’’ जयशंकर ने लातविया के विदेश मंत्री एडगर्स रिंकेविक्स से भी मुलाकात की और यूक्रेन विवाद के बीच द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने के तरीकों पर चर्चा की। उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘ईयू-हिंद प्रशांत मंत्रिस्तरीय मंच के इतर लातविया के विदेश मंत्री के साथ अच्छी बैठक हुई। हमारे द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने और यूक्रेन संघर्ष के नतीजों पर बात की। अपने आपसी बहुपक्षीय सहयोग पर भी चर्चा की।

हिंद-प्रशांत क्षेत्र की सुरक्षा रहा अहम मुद्दा

विदेश मंत्रियों की इस बैठक में हिंद-प्रशांत क्षेत्र में चीन की बढ़ती दादागीरी को रोकना ही प्रमुख मुद्दा रहा।  जयशंकर ने लिथुआनिया के विदेश मंत्री गेब्रिलस लैंड्सबर्गिस से मुलाकात के बाद ट्वीट किया, ‘‘लिथुआनिया के विदेश मंत्री लैंड्सबर्गिस के साथ द्विपक्षीय सहयोग और हिंद-प्रशांत पर एक अच्छी बातचीत हुई। जयशंकर ने यूक्रेन में फंसे सभी भारतीय नागरिकों को स्वदेश लाने के लिए चलाए गए अभियान ‘ऑपरेशन गंगा’ में सहयोग देने के लिए अपने रोमानियाई समकक्ष बोगदान ऑरेस्कु को धन्यवाद दिया। उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘ईयू हिंद-प्रशांत मंत्रिस्तरीय मंच के इतर रोमानिया के विदेश मंत्री से बातचीत की। ‘ऑपरेशन गंगा’ में सहयोग के लिए उन्हें धन्यवाद दिया। रक्षा और ऊर्जा सहयोग पर चर्चा की। क्षेत्र के बारे में उनके दृष्टिकोण को जानकर लाभ हुआ।’’ जयशंकर बांग्लादेश से स्वीडन पहुंचे हैं, जहां उन्होंने शुक्रवार को छठे हिंद महासागर सम्मेलन को संबोधित किया था।

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