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New Year लेकर आ रहा ग्रहण के चार गजब नजारे, पूर्ण चंद्रग्रहण से होगी शुरुआत

Eclispe: तकरीबन दो सदी पुरानी वेधशाला के अधीक्षक ने बताया कि चार दिसंबर को लगने वाले पूर्ण सूर्यग्रहण के दौरान सूर्य और पृथ्वी के बीच चंद्रमा कुछ इस तरह आ जाएगा कि सौरमंडल का मुखिया सूर्य 103.6 प्रतिशत ढका नजर आएगा।

Solar Eclipse Lunar Eclipse in New Year 2021 New Year लेकर आ रहा ग्रहण के चार गजब नजारे, पूर्ण चंद्र- India TV Hindi Image Source : FILE Solar Eclipse Lunar Eclipse in New Year 2021: New Year लेकर आ रहा ग्रहण के चार गजब नजारे, पूर्ण चंद्रग्रहण से होगी शुरुआत

इंदौर. आने वाले साल 2021 (New Year 2021) में सूर्य, पृथ्वी और चंद्रमा की चाल दुनियाभर के खगोल प्रेमियों को एक पूर्ण चंद्रग्रहण (Lunar Eclipse) और एक पूर्ण सूर्यग्रहण (Solar Eclipse) समेत ग्रहण के चार रोमांचक दृश्य दिखाएगी। हालांकि, भारत में इनमें से केवल दो खगोलीय घटनाएं निहारी जा सकेंगी। उज्जैन की प्रतिष्ठित शासकीय जीवाजी वेधशाला के अधीक्षक डॉ.राजेंद्र प्रकाश गुप्त ने रविवार को ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि अगले साल की इन खगोलीय घटनाओं का सिलसिला 26 मई को लगने वाले पूर्ण चंद्रग्रहण से शुरू होगा।

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उन्होंने कहा, "नववर्ष का यह पहला ग्रहण सिक्किम को छोड़कर भारत के पूर्वोत्तर के राज्यों, पश्चिम बंगाल के कुछ हिस्सों और ओडिशा के तटीय क्षेत्रों में दिखाई देगा जहां चंद्रोदय देश के दूसरे इलाकों के मुकाबले जल्दी होता है। इस खगोलीय घटना के वक्त चंद्रमा पृथ्वी की छाया से 101.6 प्रतिशत ढक जाएगा।"

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पूर्ण चंद्रग्रहण (Lunar Eclipse) तब लगता है, जब सूर्य और चंद्रमा के बीच पृथ्वी आ जाती है और अपने उपग्रह चंद्रमा को अपनी छाया से ढक लेती है। चंद्रमा इस स्थिति में पृथ्वी की ओट में पूरी तरह छिप जाता है और उसपर सूर्य की रोशनी नहीं पड़ पाती है। इस खगोलीय घटना के वक्त पृथ्वीवासियों को चंद्रमा रक्तिम आभा लिए दिखाई देता है। लिहाजा इसे "ब्लड मून" (Blood Moon) भी कहा जाता है।

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गुप्त ने भारतीय संदर्भ में की गई कालगणना के हवाले से बताया कि 10 जून को लगने वाला वलयाकार सूर्यग्रहण देश में दिखाई नहीं देगा। इस खगोलीय घटना के वक्त सूर्य और पृथ्वी के बीच चंद्रमा आ जाएगा। इस कारण पृथ्वीवासियों को सूर्य "रिंग ऑफ फायर" (आग का चमकदार छल्ला) के रूप में 94.3 प्रतिशत ढका नजर आएगा।

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उन्होंने बताया कि 19 नवंबर को लगने वाले आंशिक चंद्रग्रहण को अरुणाचल प्रदेश और असम के कुछ भागों में बेहद कम समय के लिए निहारा जा सकेगा। इस खगोलीय घटना के चरम पर चंद्रमा का 97.9 प्रतिशत हिस्सा पृथ्वी की छाया से ढका दिखाई देगा। तकरीबन दो सदी पुरानी वेधशाला के अधीक्षक ने बताया कि चार दिसंबर को लगने वाले पूर्ण सूर्यग्रहण के दौरान सूर्य और पृथ्वी के बीच चंद्रमा कुछ इस तरह आ जाएगा कि सौरमंडल का मुखिया सूर्य 103.6 प्रतिशत ढका नजर आएगा। हालांकि, वर्ष 2021 के इस अंतिम ग्रहण को भारत में नहीं निहारा जा सकेगा। समाप्ति की ओर बढ़ रहे वर्ष 2020 में दो सूर्यग्रहण और चार चंद्रग्रहण समेत ग्रहण के छह रोमांचक दृश्य देखे गए। 

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