A
Hindi News भारत राष्ट्रीय Rajat Sharma’s Blog: क्या यूपी में बीजेपी समर्थक की लिंचिंग मुसलमानों को डराने की कोशिश है?

Rajat Sharma’s Blog: क्या यूपी में बीजेपी समर्थक की लिंचिंग मुसलमानों को डराने की कोशिश है?

जरा सोचिए, बाबर की मां, उसकी विधवा और 2 छोटे-छोटे बच्चों का इस वक्त क्या हाल हो रहा होगा?

Rajat Sharma Blog, Rajat Sharma Blog on BJP, Rajat Sharma Blog on Lynching- India TV Hindi Image Source : INDIA TV India TV Chairman and Editor-in-Chief Rajat Sharma.

उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले में एक दिल दहलाने वाली घटना में भारतीय जनता पार्टी के एक युवा मुस्लिम समर्थक बाबर अली को स्थानीय बीजेपी उम्मीदवार पंचानन पाठक की जीत की खुशी में मिठाई बांटने पर उसके ही समुदाय के लोगों ने पीट-पीट कर मार डाला। भीड़ की अगुवाई उन स्थानीय मुस्लिम नेताओं ने की थी जिन्होंने गांववालों से समजावादी पार्टी को वोट देने के लिए कहा था। बाबर अली ने उनकी बात नहीं मानी। बाबर ने अपने घर की छत पर बीजेपी का झंडा लगाया था, और जब पार्टी के प्रत्याशी ने जीत दर्ज की तो उसने इस खुशी में पटाखे चलाए और मिठाइयां बांटी थी।

बाबर अली को स्थानीय गुंडों ने धमकाया और जब वह शिकायत दर्ज कराने के लिए स्थानीय पुलिस स्टेशन गया तो पुलिस ने उसकी शिकायत नहीं सुनी। 20 मार्च को कई मुसलमान इकट्ठा होकर उसके घर में घुसे और उस पर हमला कर दिया। बाबर अली खुद को बचाने के लिए छत पर भागा, लेकिन भीड़ वहां भी पहुंच गई और उसे बुरी तरह पीटने के बाद छत से नीचे फेंक दिया। कथित हमलावर अजीमुल्ला, आरिफ, सलमा और ताहिद ने उसे बुरी तरह पीटा। बाबर अली को गंभीर हालत में जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां से उसे लखनऊ रेफर कर दिया गया। लखनऊ के अस्पताल में इलाज के दौरान 5 दिन बाद बाबर की मौत हो गई।

बाबर के परिजनों का आरोप है कि उसे राजनीतिक विरोधियों से पिछले 2-3 महीने से धमकियां मिल रही थीं। उस पर दबाव बनाया जा रहा था कि वह बीजेपी के प्रत्याशी का प्रचार न करें। बाबर अली के भाई चंदे आलम ने कहा, उसे मारने की योजना पिछले 4 महीने से बनाई जा रही थी। उन्होंने आरोप लगाया कि बाबर अली को बीजेपी से दूर रखने के लिए 10 लाख रुपये तक की पेशकश भी की गई थी।

जरा सोचिए, बाबर की मां, उसकी विधवा और 2 छोटे-छोटे बच्चों का इस वक्त क्या हाल हो रहा होगा? बाबर की हत्या के बाद उसके परिवार में कमाने वाला कोई नहीं है। बाबर की विधवा फातिमा ने आरोप लगाया कि कैसे समाजवादी पार्टी के स्थानीय नेता विनोद प्रधान ने अपने समर्थकों से कहा कि अगर वह सपा को वोट देने से इनकार कर देता है तो वे उसे मार डालें। फातिमा ने बताया कि कैसे हमलावरों ने उसे पत्थरों, ईंटों और लाठियों से मारा और फिर छत से फेंक दिया।

बाबर की बेवा की बात सुनकर दिल कांप उठता है। हैरानी की बात ये है कि बाबर की जान लेने वाले लोग अनजान नहीं थे, वे उसके अपने रिश्तेदार और पड़ोसी थे, जो उसे बचपन से जानते थे। जब बाबर अली ने सुरक्षा की गुहार लगाई तो कुशीनगर जिले के रामकोला थाने की पुलिस ने कोई ऐक्शन नहीं लिया।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस हत्याकांड का संज्ञान लिया और उच्च स्तरीय जांच का आदेश दिया है। रामकोला के थाना प्रभारी को लाइन हाजिर कर दिया गय है। गोरखपुर रेंज के डीआईजी जे. रविंदर गौड़ ने बाबर के परिवार से मुलाकात की और पीड़ितों को हर संभव मदद और सुरक्षा का आश्वासन दिया। अब तक 4 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। स्थानीय एसडीएम ने यह माना कि जब बाबर अली ने पुलिस से सुरक्षा की गुहार लगाई तो पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की।

सीओ संदीप वर्मा ने बताया कि मुख्यमंत्री ने बाबर के परिवार को 2 लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने का फैसला किया है। भारतीय जनता पार्टी विधायक पंचानन पाठक बाबर अली के घर गए और उसके जनाजे को कंधा दिया। पाठक ने कहा कि सरकार आरोपियों को ऐसा सबक सिखाएगी कि फिर कोई ऐसा करने की हिम्मत नहीं करेगा।

योगी के मंत्रिमंडल में नए मंत्री दानिश आजाद अंसारी ने कहा, ‘मैं उस परिवार को विश्वास दिलाना चाहता हूं कि उन्होंने अपना एक बेटा खो दिया है, लेकिन उनका दूसरा बेटा (योगी आदित्यनाथ) उन्हें न्याय दिलाने का काम करेगा।’

समाजवादी पार्टी के सांसद शफीकुर्रहमान बर्क ने ऐसी बात कही जिसे सुनकर सबसे ज्यादा हैरानी हुई। उन्होंने कहा, ‘मुसलमान नहीं चाहते कि उनमें से कोई भी बीजेपी का समर्थन करे, बाबर अली बीजेपी को सपोर्ट करके गलती कर रहे थे।’ बर्क ने घुमा-फिराकर बाबर अली की लिंचिंग को सही ठहराने की कोशिश की।

मैं यह जानकर स्तब्ध हूं कि समाजवादी पार्टी के एक वरिष्ठ सांसद लिंचिंग की ऐसी खौफनाक घटना को सही कैसे ठहरा सकते हैं। यह बीजेपी के प्रति नफरत की इंतेहा है। सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव को इस मामले पर अपनी चुप्पी तोड़नी चाहिए और स्पष्ट करना चाहिए कि क्या उनकी पार्टी इस बात का समर्थन करती है कि अगर कोई मुसलमान बीजेपी की जीत पर मिठाई बांटे तो उसकी हत्या कर दी जाए।

कोई भी कानून, धर्म या समाज इस तरह के आपराधिक कृत्य को माफ नहीं कर सकता। यह तो सर्वविदित है कि उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव में इस बार 90 फीसदी मुसलमानों ने समाजवादी पार्टी को वोट दिया। अगर किसी ने बीजेपी को वोट दे भी दिया तो उसकी जान लेकर क्या मुसलमानों को डराने की कोशिश हो रही है? क्या मुसलमानों को यह संदेश देने की कोशिश की जा रही है कि अगर बीजेपी का समर्थन किया तो क्या हश्र होगा? इस सवाल का जवाब उन लोगों को भी देना चाहिए और अपनी राय व्यक्त करनी चाहिए जो बीजेपी के राज में मानवाधिकारों के हनन का सवाल उठाते हैं और असहिष्णुता का आरोप लगाते हैं।

शफीकुर्रहमान बर्क जैसे कट्टरपंथी नेताओं को एक अन्य मुस्लिम नेता, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के माजिद मेमन की बात सुननी चाहिए। मेमन ने सोमवार को एक ट्वीट पोस्ट किया, जिससे सियासी हलकों में हलचल मच गई। मेमन ने ट्वीट किया: ‘यदि नरेंद्र मोदी जनादेश जीतते हैं, और उन्हें दुनिया के सबसे लोकप्रिय नेता के रूप में भी दिखाया जाता है, तो उनमें जरूर कुछ गुण होंगे या उन्होंने अच्छे काम किए होंगे, जिसे विपक्षी नेता अब तक जान नहीं पाए हैं।’ मेमन ने कहा कि विरोधी दलों के नेता सिर्फ मोदी को कोसते रहते हैं, लेकिन ये नहीं देखते कि प्रधानमंत्री का जनता के साथ जुड़ाव कितना मजबूत है।

बाद में, मेमन के सुर थोड़े ढीले पड़ गए और उन्होंने कहा, ‘हमें यह पता लगाना चाहिए कि संविधान का उल्लंघन करने, लोगों के बीच नफरत पैदा करने और समाज को बांटने के बावजूद वह कैसे जीत जाते हैं। विपक्ष को EVM के हैक होने वाली बात अब नहीं करनी चाहिए, क्योंकि इसमें गड़बड़ी की कोई बात सामने नहीं आई है।’

मेमन ने यह भी कहा कि विपक्ष को शोध और आत्मनिरीक्षण निरीक्षण करना चाहिए ताकि पता लगे कि ऐसी कौन सी चीजें हैं जो मोदी को न केवल भारत में बल्कि बाहर भी स्वीकार्य बना रही हैं। उन्होंने कहा, ‘2019 में विपक्ष की तमाम कोशिशों के बावजूद हम उनकी सरकार नहीं हटा सके। मैं इस बात की सराहना करता हूं कि वह एक अच्छे वक्ता हैं। वह रोजाना 20 घंटे काम करते हैं। नरेंद्र मोदी के ये असाधारण गुण हैं जिनकी आलोचना करने की बजाय सराहना करनी चाहिए।’

माजिद मेमन की यह बात सही है कि जब तक विरोधी दलों के नेता यह नहीं समझेंगे कि मोदी का जनता से जुड़ाव क्यों है, तब तक वे मोदी को हराने की कारगर रणनीति नहीं बना पाएंगे। उत्तर प्रदेश में सपा, बसपा और कांग्रेस इस बात को समझने में नाकाम रहे कि मोदी पर आम जन का विश्वास और योगी आदित्यनाथ की 5 साल की उपलब्धियां बीजेपी के काम आईं।

योगी की योजनाएं जैसे गरीबों को मुफ्त राशन, रियायती दरों पर मकान, माफिया और बाहुबलियों पर बुलडोजर का वज्रपात, लोगों के मन में सुरक्षा की भावना चुनावों में बीजेपी का हथियार बन गईं और पार्टी को लगातार दूसरी बार सत्ता में लेकर आईं। विपक्ष के नेता जितनी जल्दी इस बात को समझ लेंगे, वे भविष्य के लिए उतनी ही कारगर रणनीति बना पाएंगे। (रजत शर्मा)

देखें: ‘आज की बात, रजत शर्मा के साथ’ 28 मार्च, 2022 का पूरा एपिसोड

Latest India News