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Hindi News पैसा बिज़नेस शुरु हुआ नेशनल सिंगल विंडो सिस्टम, एक ही जगह कई काम निपटा सकेंगे कारोबारी और निवेशक

शुरु हुआ नेशनल सिंगल विंडो सिस्टम, एक ही जगह कई काम निपटा सकेंगे कारोबारी और निवेशक

इस पोर्टल में फिलहाल 18 केन्द्रीय विभाग और 9 राज्य शामिल हैं, वहीं 14 अन्य केन्द्रीय विभाग और 5 राज्यों को दिसंबर, 2021 तक इससे जोड़ दिया जायेगा

<p>नेशनल सिंगल विंडो...- India TV Paisa Image Source : PTI नेशनल सिंगल विंडो सिस्टम की शुरुआत

नई दिल्ली। उद्योगों के लिये देश में कारोबार करने को और सुगम बनाने के लिये आज से देश में नेशनल सिंगल विंडो सिस्टम की शुरुआत कर दी गयी है। सिस्टम की शुरुआत करते हुए उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि रजिस्ट्रेशन और मंजूरी के लिये सरकारी विभागों में लगने वाली दौड़ से अब कारोबारियों और निवेशकों को मुक्ति मिलेगी। इस पोर्टल में फिलहाल 18 केन्द्रीय विभाग और 9 राज्य शामिल हैं, वहीं 14 अन्य केन्द्रीय विभाग और 5 राज्यों को दिसंबर, 2021 तक इसमें जोड़ लिया जाएगा। 

केन्द्रीय मंत्री ने जानकारी देते हुए कहा कि ‘एंड टू एंड’ सुविधा के माध्यम से कोई भी एक क्लिक के जरिये जरूरी काम निपटा सकेगा। इससे पारदर्शिता और जवाबदेही बढ़ेगी क्योंकि सभी जानकारियां डैश बोर्ड पर उपलब्ध होंगी। सिस्टम के जरिये पंजीकरण, राज्य पंजीकरण, ई-कम्युनिकेशंस, नो योर अप्रूवल (केवाईए) जैसी सुविधायें दी जाएंगी। उन्होंने कहा कि कोविड के बाद तेजी से सुधार होने के कारण हम सबसे तेजी से बढ़ रही अर्थव्यवस्थाओं में से पुनः एक बनने की राह आ गए है। श्री गोयल ने कहा की एनएसडब्ल्यूएस हमारी मेक इन इंडिया, स्टार्टअप इंडिया और पीएलआई योजना जैसी अन्य योजनाओं को मजबूती प्रदान करेगी। मेक इन इंडिया, मेक फोर दा वर्ल्ड के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को दोहराते हुए सरकार ने अनेक पहल शुरू की है, जिनमें प्रमुख उत्पादन से जुड़ी प्रोत्साहन योजना पीएलआई और भारत औद्योगिक भूमि बैंक प्रणाली शामिल हैं। 27 बिलियन अमेरिकी डॉलर के कुल खर्च के साथ 13 क्षेत्रों के लिए पीएलआई योजनाओं की घोषणा की गई है। 

केन्द्रीय बजट भाषण 2020 में वित्त मंत्री ने महत्वाकांक्षी निवेश मंजूरी सेल (आईसीसी) की घोषणा की थी। इस सेल का ऐलान निवेशकों को ‘एंड टू एंड’ सुविधा सहायता प्रदान करने के लिये किया गया था। इसके बाद डीपीआईआईटी ने इन्वेस्ट इंडिया के साथ एक राष्ट्रीय एकल खिड़की प्रणाली (एनएसडब्ल्यूएस) के रूप में एक पोर्टल विकसित करने की प्रक्रिया शुरू की। नये सिस्टम से आवेदन कर्ता को एक ही बार अपने दस्तावेज जमा करने पड़ेंगे और बार बार अलग अलग विभाग में अलग अलग दस्तावेज जमा करने की जरूरत नहीं होगी।  

 

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