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Hindi News लाइफस्टाइल हेल्थ World Vitiligo Day 2019: इन संकेतों को न करें इग्नोर हो सकता है सफेद दाग, जानें विलिटिगो के लक्षण, कारण और बचाव

World Vitiligo Day 2019: इन संकेतों को न करें इग्नोर हो सकता है सफेद दाग, जानें विलिटिगो के लक्षण, कारण और बचाव

World Vitiligo Day 2019: विटिलिगो यानी सफेद दाग एक दीर्घकालिक समस्या है जिसमें त्वचा के बढ़ते पैच अपना रंग खो देते हैं। जानें इस रोग के बारे में सबकुछ।

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World Vitiligo Day 2019: विटिलिगो यानी सफेद दाग एक दीर्घकालिक समस्या है जिसमें त्वचा के बढ़ते पैच अपना रंग खो देते हैं। यह किसी भी उम्र, लिंग या जातीय समूह के लोगों को प्रभावित कर सकता है। हर साल 25 जून को विटिलिगो डे मनाया जाता है। जिससे कि उसके प्रति लोगों के बीच जागरुकता बढ़े। इस बार की थीम की बात करें तो वो है 'The Quality Of Life Of a Vitiligo Patient' विटिलिगो मरीजों के जीवन की क्वालिटी। आइए जानते है आखिर क्या है विटिलिगो। इसके साथ ही जानें इसके लक्षण और बचाव के बारें में।

क्या है विटिलिगो?
विटिलिगो एक प्रकार का त्वचा विकार है, जिसे सामान्यत: ल्यूकोडर्मा के नाम से जाना जाता है। जिसे सफेद दाग भी बोला जाता है। यह एक ऑटो इम्यून डिज़ीज़ है, जिसमें व्यक्ति की रोग प्रतिरोधक क्षमता उसकी त्वचा को नुकसान पहुंचाने लगती है। यह शरीर के इम्यून सिस्टम की कार्य प्रणाली में होने वाली गड़बड़ी का परिणाम है। ऐसी स्थिति में त्वचा की रंगत निर्धारित करने वाले मेलेनोसाइट्स  नामक सेल्स धीरे-धीरे नष्ट होने लगते हैं, नतीजतन त्वचा पर सफेद धब्बे नज़र आने लगते हैं। आमतौर पर यह समस्या होंठों और हाथ-पैरों पर दिखाई देती है। इसके अलावा शरीर के कई अलग-अलग हिस्सों पर भी ऐसे दाग नज़र आ सकते हैं।

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विलिलिगो के प्रमुख लक्षण
इस रोग के होने पर स्किन में सफेदी नजर आने लगती है। यानि की आपके शरीर के रोएं बी सफेद होने लगते है।जो कि इस रोग की शुरुआत मानी जाती है। इसमें कोई दर्द या फिर खुजली नहीं होती हैं।

बस गर्मियों के मौसम में इन जगह पर जलन जरुर होती है। इसकी शुरुआत आपके हाथों के पीछे, आर्म्स, शरीर का खुला भाग, पैर, आईब्रो या फिर कोहनी में सफेद दाग पड़ने लगते है।

विलिटिगो से कैसे करें बचाव

  • कई बार उपचार के एक-डेढ़ साल के बाद त्वचा पर फिर से दाग नज़र आने लगते हैं तो ऐसे में दोबारा दवाओं के सेवन की ज़रूरत पड़ सकती है। अगर दो साल तक सफेद निशान वापस न दिखाई दे तो इस बात की संभावना है कि अब ऐसी कोई समस्या नहीं होगी।   
  • अगर आपकी त्वचा अधिक संवेदनशील है तो तेज़ गंध वाले साबुन, परफ्यूम, डियो, हेयर कलर और कीटनाशकों से दूर रहें।
  • इसके उपचार के लिए स्किन ग्राफ्टिंग की तकनीक अपनाई जाती है। इसमें किसी एक जगह की त्वचा को निकालकर दाग वाले हिस्से पर लगाया जाता है, जिससे दाग छिप जाते हैं।
  • कुछ लोग दाग को छिपाने के लिए उस पर टैटू भी बनवाते हैं। ऐसा कभी न करें। इससे उसके फैलने का डर बढ़ जाता है।

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