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Hindi News पैसा बिज़नेस नई ऊंचाई पर पहुंचे पेट्रोल-डीजल के दाम, लगातार 17वें दिन हुई दाम में वृद्धि

नई ऊंचाई पर पहुंचे पेट्रोल-डीजल के दाम, लगातार 17वें दिन हुई दाम में वृद्धि

अप्रैल 2002 में पेट्रोल, डीजल के दाम नियंत्रणमुक्त किए जाने के बाद किसी एक पखवाड़े में यह सबसे बड़ी वृद्धि है।

Petrol and diesel prices reaches new high, increase by Rs 0.20 and Rs 0.55 respectively today- India TV Paisa Image Source : GOOGLE Petrol and diesel prices reaches new high, increase by Rs 0.20 and Rs 0.55 respectively today

नई दिल्‍ली। तेल कंपनियों ने मंगलवार को लगातार 17वें दिन पेट्रोल, डीजल के दाम बढ़ा दिए। पेट्रोल के दाम में मंगलवार को 20 पैसे और डीजल के दाम में 55 पैसे प्रति लीटर की वृद्धि की गई। इससे पहले सोमवार को पेट्रोल का दाम 33पैसे और डीजल का दाम 58 पैसे प्रति लीटर बढ़ा था। इस वृद्धि के बाद ईंधन के खुदरा दाम रिकॉर्ड नई ऊंचाई पर पहुंच गए हैं। ताजा वृद्धि के बाद दिल्ली में पेट्रोल का दाम 79.56 रुपए से बढ़कर 79.76 रुपए और डीजल का दाम 78.55 रुपए से बढ़कर 79.40 रुपए प्रति लीटर पर पहुंच गया। तेल कंपनियां देशभर में एक साथ दाम बढ़ाती है लेकिन राज्यों में इन पर अलग दर से लगने वाले बिक्री कर अथवा मूल्य वर्धित कर (वैट) की वजह से खुदरा दाम अलग-अलग होते हैं। पिछले 17 दिनों से दोनों ईंधनों के खुदरा दाम में लगातार वृद्धि की जा रही है। इस दौरान पेट्रोल के दाम कुल मिलाकर 8.50 रुपए और डीजल के दाम में 10.04 रुपए प्रति लीटर की वृद्धि हो चुकी है।

अप्रैल 2002 में पेट्रोल, डीजल के दाम नियंत्रणमुक्त किए जाने के बाद किसी एक पखवाड़े में यह सबसे बड़ी वृद्धि है। तेल कंपनियों ने अप्रैल 2002 में पेट्रोल, डीजल के दाम में हर पखवाड़े बदलाव करने की शुरुआत की थी। ये दाम अंतरराष्ट्रीय बाजार में होने वाले उतार चढ़ाव के अनुरूप किए जाते हैं। उसके बाद से किसी एक पखवाड़े में इनके दाम में यह सबसे बड़ी वृद्धि हुई है। कंपनियों ने मई 2017 से पेट्रोल, डीजल के दाम में दैनिक बदलाव की शुरुआत की। उपलब्ध आंकड़ों के मुताबिक इससे पहले किसी एक पखवाड़े में सबसे ज्यादा चार से पांच रुपए प्रति लीटर तक की वृद्धि हुई है। लेकिन इस बार बीते पखवाड़े में पेट्रोल के दाम 8.50 रुपए और डीजल के दाम में 10.04 रुपए प्रति लीटर तक वृद्धि हो चुकी है।

कोरोना वायरस और उसके चलते लागू किए गए लॉकडाउन के दौरान 82 दिनों तक तेल कंपनियों ने पेट्रोल, डीजल के दाम में कोई बदलाव नहीं किया। उसके बाद 7 जून से दाम में उनकी अंतरराष्ट्रीय लागत के अनुरूप बदलाव किया जाने लगा। इसके बाद पिछले लगातार 17 दिन से दाम बढ़ने का सिलसिला जारी है। इस वृद्धि से डीजल के दाम जहां नई ऊंचाई पर पहुंच गए हैं वहीं पेट्रोल के दाम भी दो साल की ऊंचाई पर पहुंच चुके हैं। मौजूदा वृद्धि से पहले 16 अक्टूबर 2018 को डीजल का दाम दिल्ली में 75.69 रुपए प्रति लीटर की ऊंचाई को छू चुका है वहीं पेट्रोल के दाम इससे पहले 4 अक्टूबर 2018 को 84 रुपए प्रति लीटर तक पहुंच चुके हैं।

पेट्रोल के मौजूदा दाम में करीब दो तिहाई हिस्सा विभिन्न करों का शामिल है। पेट्रोल के दाम में 32.98 रुपए केन्द्रीय उत्पाद शुल्क और 17.71 रुपए प्रति लीटर स्थानीय कर अथवा वैट शामिल है। इसी प्रकार डीजल के दाम में 63 प्रतिशत से अधिक करों का हिस्सा है। इसमें 31.83 रुपए प्रति लीटर केन्द्रीय उत्पाद शुल्क और 17.60 रुपए प्रति लीटर वैट का हिस्सा है। सरकार ने जब अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के दाम गिर रहे थे तब 14 मार्च को पेट्रोल, डीजल दोनों पर उत्पाद शुल्क में तीन रुपए प्रति लीटर की वृद्धि की थी। इसके बाद पांच मई को फिर से पेट्रोल पर रिकॉर्ड 10 रुपए और डीजल पर 13 रुपए उत्पाद शुल्क बढ़ाया गया। इससे सरकार को सालाना आधार पर दो लाख करोड़ रुपए का अतिरिक्त राजस्व प्राप्त होगा।

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