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Hindi News पैसा बिज़नेस योगी सरकार ने गन्ना किसानों के खाते में डीबीटी से किया 418 करोड रुपये का भुगतान

योगी सरकार ने गन्ना किसानों के खाते में डीबीटी से किया 418 करोड रुपये का भुगतान

3 साल में गन्ना किसानों को रिकॉर्ड 1 लाख करोड़ रुपये का भुगतान

<p>record payment to cane farmers</p>- India TV Paisa Image Source : FILE PHOTO record payment to cane farmers

नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को गन्ना किसानों के बैंक खातों में प्रत्यक्ष लाभ अंतरण (डीबीटी) प्रणाली के माध्यम से 418 करोड़ रुपए का भुगतान जारी किया। पिछले तीन साल के दौरान योगी सरकार के कार्यकाल में गन्ना किसानों को कुल मिलाकर 1,00,325 करोड़ रुपये का भुगतान किया गया जो कि एक रिकार्ड है। राज्य सरकार के प्रवक्ता ने यह जानकारी देते हुये कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि सरकार हर कदम पर पूरी शिद्दत से किसानों के साथ है। सरकार किसानों की आय दोगुना करने को लेकर लगातार कार्य कर रही है। गन्ना किसानों के पाई-पाई का भुगतान राज्य सरकार की प्रतिबद्धता है। चीनी उद्योग एवं गन्ना विकास विभाग की ओर से आयोजित कार्यक्रम में वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिए किसानों से संवाद स्थापित करते हुए योगी ने कहा कि सुशासन का असली मानक लोगों की संतुष्टि है। चीनी उद्योग के लिए यह स्वर्णिम समय है। इस दौरान न सिर्फ रिकॉर्ड भुगतान हुआ बल्कि गन्ने और चीनी का रिकॉर्ड उत्पादन भी हुआ।

उन्होने कहा ‘‘कोरोना के कारण लॉकडाउन खेतीबाड़ी के लिए चुनौती था। गन्ने और गेहूं की फसल खेत में थी। हमें संक्रमण रोकते हुए किसानों का हित भी देखना था। हमने तय किया कि लॉकडाउन के सारे मानकों का अनुपालन करते हुए हम गेहूं और गन्ने की खरीद करेंगे। जब तक किसानों के खेत में एक भी गन्ना रहेगा चीनी मिलों को भी चलाएंगे। शासन और किसानों के बेहतरीन तालमेल के कारण ऐसा हुआ भी।’’ उन्होंने कहा कि आज का किसान टेक्नोलॉजी के साथ जुड़ा है। टेक्नोलॉजी के माध्यम से बिना पर्ची के केवल मोबाइल फोन पर एसएमएस दिखा कर गन्ने की तुलाई संभव है। भुगतान के लिए अब इधर उधर भटकना नहीं पड़ता है।

योगी आदित्यनाथ ने कहा कि लॉकडाउन के दौरान प्रदेश के अंदर गन्ना विभाग ने सभी 119 चीनी मिलों का सफलतापूर्वक संचालन किया। ‘‘हम लोगों ने संकल्प लिया था कि जब तक किसानों के खेत में एक भी गन्ना रहेगा, तब तक चीनी मिल चलेगी और इस संकल्प को भी हमने पूरा कर लिया है। लॉकडाउन में सभी खांडसारी इकाईयां भी चलीं। प्रदेश भर के प्रगतिशील किसानों से लगातार संवाद का अनुभव हमारे लिए सुखद रहा।’’ उन्होंने कहा कि किसानों ने गन्ना उत्पादन और चीनी उत्पादन में अपने परिश्रम से उत्तर प्रदेश को फिर से नंबर एक स्थान पर पहुंचा दिया है।

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