A
Hindi News पैसा बिज़नेस Loan Moratorium: उपभोक्‍ताओं को मिली राहत, सरकार ने कहा 2 करोड़ तक के ऋण पर नहीं देना होगा इंटरेस्‍ट

Loan Moratorium: उपभोक्‍ताओं को मिली राहत, सरकार ने कहा 2 करोड़ तक के ऋण पर नहीं देना होगा इंटरेस्‍ट

सरकार ने कहा कि है कि चक्रवृद्धि ब्याज की यह राहत 2 करोड़ रुपए से अधिक के कर्ज पर उपलब्ध नहीं होगी।

loan moratorium centre to waive interest on loans upto Rs 2 crore- India TV Paisa Image Source : FILE PHOTO loan moratorium centre to waive interest on loans upto Rs 2 crore

नई दिल्‍ली। कोरोना वायरस महामारी के बीच केंद्र सरकार ने लोन लेने वालों को बड़ी राहत दी है। केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि वह मोराटोरियम अवधि (मार्च से अगस्त तक) के दौरान ब्याज पर ब्याज को माफ करने के लिए तैयार हो गई है। लोगों को ये राहत दो करोड़ रुपए तक के लोन पर मिलेगी। यह ब्याज माफी एमएसएमई, शिक्षा, हाउसिंग, कंज्यूमर ड्यूरेबल, ऑटो, क्रेडिट कार्ड बकाया, पेशेवर और उपभोक्‍ता द्वारा लिए गए कर्ज के लिए लागू होगी। पिछली सुनवाई में सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को कहा था कि वो विभिन्न क्षेत्रों के लिए कुछ ठोस योजना लेकर अदालत आए। कोर्ट ने मामले को बार-बार टालने पर नाराजगी जाहिर की थी।

सरकार ने कहा कि है कि चक्रवृद्धि ब्‍याज की यह राहत 2 करोड़ रुपए से अधिक के कर्ज पर उपलब्‍ध नहीं होगी। केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट में एक हलफनामा दाखिल कर कहा है कि एमएसएमई कर्ज, शैक्षिक, आवास, उपभोक्ता, ऑटो, क्रेडिट कार्ड बकाया, पेशेवर और उपभोग लोन पर लागू चक्रवृद्धि ब्याज यानी कंपाउंडिंग इंट्रेस्ट को माफ किया जाएगा। सरकारी हलफनामे के मुताबिक 6 महीने के लोन मोराटोरियम समय में दो करोड़ रुपये तक के लोन के ब्याज पर ब्याज की छूट देगी। केंद्र ने कहा है कि कोरोना वायरस महामारी की स्थिति में ब्याज की छूट का भार सरकार वहन करे यही केवल समाधान है। साथ ही केंद्र ने कहा है कि उपयुक्त अनुदान के लिए संसद से अनुमति मांगी जाएगी।

Image Source : twitterloan moratorium centre to waive interest on loans upto Rs 2 crore

लॉकडाउन के चलते 6 महीने का लोन मोराटोरियम उपलब्‍ध कराया गया है। सरकार के मुताबिक इस अवधि को 2 साल तक बढ़ाया जा सकता है। इस पर एक्सपर्ट कमेटी भी अपनी रिपोर्ट दे चुकी है। 10 सितंबर को तुषार मेहता ने कोर्ट में कहा था कि ब्याज पर छूट नहीं दे सकते हैं, लेकिन भुगतान का दबाव कम कर देंगे। मेहता ने कहा था कि बैंकिंग क्षेत्र अर्थव्यवस्था की रीढ़ है और अर्थव्यवस्था को कमजोर करने वाला कोई फैसला नहीं लिया जा सकता।

ये भी पढ़ें: 

क्या चीन ने तिब्बत में मार गिराया सुखोई-30 एमकेआई फाइटर जेट, जानिए सच्चाई

भारत-चीन विवाद: 12 अक्तूबर को फिर होगी कोर कमांडर-स्तरीय वार्ता, LAC पर पीछे हट सकता है चीन

Latest Business News