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Hindi News मनोरंजन ओटीटी सिर्फ 8 दिन में बनी फिल्म, 49 लाख था बजट, छप्परफाड़ते हुए कमाए 20000 करोड़, रूह कंपाने वाली कहानी ने हिला दी थी पूरी दुनिया

सिर्फ 8 दिन में बनी फिल्म, 49 लाख था बजट, छप्परफाड़ते हुए कमाए 20000 करोड़, रूह कंपाने वाली कहानी ने हिला दी थी पूरी दुनिया

फिल्मों का अगर आपमें किड़ा है तो ये खबर आपके लिए है। एक ऐसी फिल्म जिसे शूट करने में 8 दिन लगे और ये छोटे से बजट में बन गई, लेकिन जब ये बॉक्स ऑफिस पर आई तो इसकी कमाई छप्परफाड़ थी। इस फिल्म ने पूरी दुनिया को हिला दिया था।

The Blair Witch Project- India TV Hindi Image Source : PRIME VIDEO द ब्लेयर विच प्रोजेक्ट।

ओटीटी के दौर में कई लोगों को फिल्में देखना का ऐसा चसका लगा है कि वो अलग-अलग जोनर की फिल्म को अलग-अलग ओटीटी प्लेटफॉर्म पर खोजकर देखते हैं। ऐसे ही सिनेमा प्रेमियों के लिए हम एक नई कहानी लेकर आए हैं, जो पहले ही लोगों का दिल जीत चुकी है। ये एक ऐसी कहानी है, जिसने दुनियाभर के सिनेप्रेमियों का दिल तो जीता ही साथ ही दर्शकों को थिएटर में आने पर भी मजबूर कर दिया। इसकी दमदार कहानी के दमपर दर्शक सिनेमाघरों में खिंचे चले आए और यही वजह रही कि सिर्फ 49 लाख में बनी ये फिल्म 20000 करोड़ रुपये कमा ली। हम बात कर रहे हैं, साल 1999 में रिलीज हुई 'द ब्लेयर विच प्रोजेक्ट' की, जो हॉलीवुड की सबसे डरावनी और प्रभावशाली थ्रिलर फिल्मों में से एक मानी जाती है। 

कैसी है फिल्म की कहानी

डैनियल मायरिक और एडुआर्डो सांचेज द्वारा निर्देशित इस फिल्म ने 'फाउंड फुटेज' स्टाइल को लोकप्रिय बनाते हुए डर और यथार्थ के बीच की रेखा को लगभग मिटा दिया। फिल्म की कहानी तीन युवा फिल्म छात्रों की है- हीथर डोनह्यू, माइकल विलियम्स और जोशुआ लियोनार्ड, जो मैरीलैंड के जंगलों में एक स्थानीय लेजेंड ब्लेयर विच पर डॉक्यूमेंट्री बनाने निकलते हैं। वे कभी वापस नहीं लौटते। एक साल बाद उनका कैमरा और फुटेज मिलती है, जिससे उनका रहस्यमय और भयावह तरीके से लापता होना उजागर होता है।

इस फिल्म ने बदली डर की परिभाषा

जहां पारंपरिक हॉरर फिल्में चीख-पुकार और अचानक डराने वाले दृश्यों पर निर्भर करती हैं, वहीं 'द ब्लेयर विच प्रोजेक्ट' ने अनदेखे के डर को केंद्र में रखा। अस्थिर कैमरा मूवमेंट, रॉ फुटेज और बिना किसी बैकग्राउंड म्यूजिक के यह फिल्म एक सच्ची डॉक्यूमेंट्री जैसी प्रतीत होती है, जिससे दर्शक असहज हो उठते हैं। यही कारण है कि आज भी इसे अब तक की सबसे डरावनी फिल्मों में गिना जाता है। यह फिल्म दर्शकों को अपने डर की कल्पना करने पर मजबूर करती है, उस डर से जो दिखाई नहीं देता, लेकिन हर ओर महसूस होता है।

छोटे बजट में मोटी कमाई

आपको जानकर हैरानी होगी कि यह फिल्म मात्र 60000 डॉलर लगभग 49 लाख रुपये के बेहद कम बजट में बनाई गई थी। लेकिन बॉक्स ऑफिस पर इसने लगभग 250 मिलियन डॉलर करीब 20 अरब रुपये की जबरदस्त कमाई की। इस तरह यह सिनेमा के इतिहास की सबसे अधिक मुनाफा कमाने वाली फिल्मों में शुमार हो गई। एक इंडी प्रोजेक्ट के रूप में शुरू होकर यह फिल्म हॉरर जॉनर को हमेशा के लिए बदल गई, यह दिखाते हुए कि कम बजट में भी बड़ा असर पैदा किया जा सकता है।

ओटीटी पर कहां देखें?

अगर आपने यह फिल्म अब तक नहीं देखी है तो आप इसे अमेजन प्राइम वीडियो पर देख सकते हैं, जहां ये स्ट्रीम हो रही है। यह फिल्म आपके दिल की धड़कनें बढ़ा सकती है। कमजोर दिल वालों के लिए यह अनुभव थोड़ा भारी हो सकता है। अपने सीमित संसाधनों, यथार्थवादी स्टाइल और मनोवैज्ञानिक डर के साथ द ब्लेयर विच प्रोजेक्ट ने हॉरर सिनेमा में एक नया अध्याय शुरू किया। यह सिर्फ एक फिल्म नहीं, बल्कि एक सांस्कृतिक घटना बन गई, एक ऐसा अनुभव जो देखने के बाद भी लंबे समय तक मन में बना रहता है।