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Hindi News भारत राष्ट्रीय भारत में रह रहे शरणार्थियों को सम्मानित जिंदगी देगा ‘सीएए’: साक्षी महाराज

भारत में रह रहे शरणार्थियों को सम्मानित जिंदगी देगा ‘सीएए’: साक्षी महाराज

नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) 2019 पर देशभर में चल रहे विरोध प्रदर्शन के बीच ‘निस्वार्थ कदम’ के प्रेसिडेंट प्रमोद राघव की ओर से मजनू का टीला पर रहे हजारों पाकिस्तानी शरणार्थियों के लिए नागरिकता पाने के लिए एक व्यापक कार्यशाला का आयोजन किया गया।

Sakshi Maharaj CAA- India TV Hindi CAA will give dignified life to refugees living in India: Sakshi Maharaj

नई दिल्ली। नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) 2019 पर देशभर में चल रहे विरोध प्रदर्शन के बीच ‘निस्वार्थ कदम’ के प्रेसिडेंट प्रमोद राघव की ओर से मजनू का टीला पर रहे हजारों पाकिस्तानी शरणार्थियों के लिए नागरिकता पाने के लिए एक व्यापक कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में भारतीय जनता पार्टी की ओर से सांसद साक्षी महाराज, दिल्ली महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष बरखा शुक्ला सिंह, सुप्रीम कोर्ट के वकील और कई वरिष्ठ सामाजिक कार्यकर्ताओं ने भाग लिया। इसमें शरणार्थियों को भारतीय नागरिकता लेने की प्रक्रिया को विस्तृत तरीके से बाताया गया। सुप्रीम कोर्ट के वकील ने शरणार्थियों को कानूनी प्रक्रिया के तहत नागरिकता लेने की जानकारी दी।

शरणार्थियों को संबोधित करते हुए साक्षी महराज ने कहा कि यह कानून किसी को देश से बाहर निकलाने के लिए नहीं बल्कि नागरिकता देने के लिए लया गया है। ‘सीएए’ पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से धार्मिक उत्पीड़न के चलते भारत में रह रहे शरणार्थियों को सम्मान से जीने का हक देगा। बिना वैध दस्तावेज के भारत में रह रहे इन गरीब और लाचार लोगों को एक अच्छी जिंदगी देने में मदद करेगा। कांग्रेस और तमाम विरोधी पार्टियों की ओर से जो गतल अफवाहें फैलाई जा रही है वह सिर्फ और सिर्फ राजनीति की रोटी सेकने के लिए है। इससे न देश का भला होगा न इन गरीब शरणार्थियों को। हमारी सरकार कह चुकी है कि हम इस मुद्दे पर एक इंच पीछे नहीं हटेंगे। हमारा आज भी वह स्टैंड हैं।

इस अवसर पर सुप्रीम कोर्ट के वकील और समाजिक कर्याकर्ताओं ने अपने-अपने विचार रखें। राजधानी के मजनू का टीला पर रहने वाले पाकिस्तानी हिंदू शरणार्थियों ने कहा कि हम इस बात से खुश है कि मोदी सरकार ने हमें फिर से जिने का हक दिया है। हमें उम्मीद है कि देश के हर नागरिक हमारा दर्द जल्द समझ जाएंगे और जल्द ही हमें भारत की नागरिकता मिल जाएगी।

 मजनू का टीला में रहने वाली गीता ने बताया कि सात साल पहले वह पाकिस्तान से प्रताड़ित होकर अपने देश भारत आए थे। यहां दिल्ली के मजनू का टीला में उन्होंने अपना नया आशियाना बनाया था। आशियाना तो मिल गया, लेकिन पहचान नहीं मिली। अभी भी उनको बच्चों को कहीं एडमिशन नहीं मिल रहा है। भारत का नागरिकता मिलने से यह संकट दूर होगा। हम हिंदू, मुस्लिम, सिख व ईसाई भाइयों और बहनों से अनुरोध करते हैं कि वह इस कानून का विरोध करना बंद करें। वह किसी के बहकाबे में न आएं। हम नई जिंदगी मिली है उसे वह छीनने की कोशिश नहीं करें।

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