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सऊदी अरब पर सख्त हुए तुर्की और अमेरिका, पूछा- दूतावास से पत्रकार कैसे लापता हुआ?

तुर्की और अमेरिका ने गुरवार को सऊदी अरब से पूछा है कि पिछले हफ्ते इस्तांबुल स्थित इसके वाणिज्य दूतावास के अंदर जाने के बाद एक पत्रकार गायब कैसे हो गया।

People protest at the Embassy of Saudi Arabia about the disappearance of Jamal Khashoggi - India TV Hindi People hold signs during a protest at the Embassy of Saudi Arabia about the disappearance of Saudi journalist Jamal Khashoggi | AP

इस्तांबुल: तुर्की और अमेरिका ने गुरवार को सऊदी अरब से पूछा है कि पिछले हफ्ते इस्तांबुल स्थित इसके वाणिज्य दूतावास के अंदर जाने के बाद एक पत्रकार गायब कैसे हो गया। इस मामले में सऊदी अरब से जवाब मांगने के मामले में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बेहत सख्त रुख अपनाया है। इसके साथ ही उन्होंने अमेरिकी कांग्रेस की उस मांग को यह कहते हुए खारिज कर दिया कि वह अपने करीबी सहयोगी (सऊदी अरब) को होने वाली हथियारों की बिक्री को खतरे में नहीं डालेंगे। कांग्रेस ने इस मामले के समाधान के लिए स्पष्ट रुख अपनाने को कहा था।

सऊदी के शहजादे मोहम्मद बिन सलमान की आलोचना करने वाले लेखों के लेखक तथा सऊदी नागरिक खशोगी को 2 अक्टूबर से नहीं देखा गया है। वह इस्तांबुल स्थित वाणिज्य दूतावास में अपने विवाह के लिए आधिकारिक दस्तावेज प्राप्त करने गए थे। इस बीच तुर्की के अधिकारियों ने दावा किया है कि खशोगी को मार डाला गया है। यह हत्या कथित रूप से 15 सदस्यीय एक ‘हत्या टीम’ द्वारा की गई है जो 2 विमानों में सवार होकर यहां पहुंची थी। हालांकि, सऊदी अरब ने जोर देकर कहा है कि खशोगी वाणिज्य दूतावास से सुरक्षित चले गए थे। 

खाशोगी के बारे में टिप्पणी करते हुए राष्ट्रपति रजब तैयब एर्दोआन ने सऊदी अरब को चुनौती दी और कहा कि वह अपनी बातों के समर्थन में CCTV फुटेज मुहैया कराए। उन्होंने पूछा, ‘क्या यह संभव है कि एक दूतावास में अथवा वाणिज्य दूतावास में कोई कैमरा सिस्टम न हो? अगर एक चिड़िया उड़ जाए, एक मक्खी या मच्छर दिखाई दे जाए, तो यह प्रणाली उसे पकड़ लेगी। उनके पास अत्याधुनिक प्रणाली है।’ वहीं, सऊदी के वाणिज्य दूतावास ने कहा कि CCTV कैमरे उस दिन काम नहीं कर रहे थे और उसने हत्या के दावों को खारिज करते हुए इसे ‘आधारहीन’ बताया था। 

वॉशिंगटन पोस्ट ने खबर दी है कि तुर्की सरकार ने अमेरिकी अधिकारियों को बताया है कि उनके पास ऑडियो और वीडियो रिकॉर्डिंग हैं, जिससे यह पता चलता है कि खाशोगी के शव को नष्ट किए जाने से पहले दूतावास में कैसे उनसे ‘पूछताछ की गई, यातना दी गई और फिर हत्या कर दी गई।’ हालांकि, इस बारे में अमेरिकी विदेश विभाग के अधिकारी तुरंत टिप्पणी के लिए उपलब्ध नहीं हो सके। अमेरिकी राष्ट्रपति ने ‘फॉक्स एंड फ्रेंड्स’ के साथ इंटरव्यू में कहा, ‘हम इसे होने नहीं दे सकते। हमारे पास जांचकर्ता हैं, हम तुर्की के साथ काम कर रहे हैं और स्पष्ट रूप से हम सऊदी अरब के साथ भी काम कर रहे हैं।’

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