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Hindi News भारत राष्ट्रीय निर्भया केस: SC ने पवन गुप्ता की दया याचिका की खारिज, उम्र की दलील नहीं आई काम

निर्भया केस: SC ने पवन गुप्ता की दया याचिका की खारिज, उम्र की दलील नहीं आई काम

नए डेथ वॉरंट के तहत अब चारों दोषियों, मुकेश, विनय शर्मा, अक्षय ठाकुर और पवन गुप्ता को 1 फरवरी को सुबह 6 बजे फांसी पर लटकाया जाएगा।

Nirbhaya Case, Nirbhaya Case Pawan Gupta, Pawan Gupta, Pawan Gupta Supreme Court- India TV Hindi निर्भया केस के दोषी पवन गुप्ता की एसएलपी पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई, हाई कोर्ट ने खारिज कर दी थी अर्जी​ । PTI File

नई दिल्ली: निर्भया गैंगरेप मामले में दोषी करार दिए गए पवन कुमार गुप्ता की स्पेशल लीव पिटीशन (SLP) को सुप्रीम कोर्ट सोमवार को खारिज कर दिया है। पवन ने कोर्ट में अर्जी दी थी कि वारदात के वक्त वह नाबालिग था। सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में केंद्र सरकार की तरफ से सॉलिसिटर जनरल ने कहा था कि इस मामले पर विचार हो चुका है और इसे जुलाई 2018 में खारिज कर दिया गया था। पवन के वकील एपी सिंह ने कहा था कि पवन के स्कूल सर्टिफिकेट के मुताबिक उसकी जन्मतिथि 8 अक्टूबर 1996 है, इसका मतलब 16 दिसंबर 2012 को घटना के वक्त वह नाबालिग था।

कोर्ट ने कहा था, 'आपने नाबालिग होने के दावे को रिव्यू पीटीशन के दौरान भी रखा था। कोर्ट इस दलील को खारिज कर चुका है फिर बार बार इस दलील के साथ आने का क्या औचित्य है।' एपी सिंह ने कहा था, 'मैंने इस आधार पर कोर्ट का रुख किया है कि पुलिस ने जानबूझकर कर इस मामले में पवन के नाबालिग होने के रिकॉर्ड को छुपाया।' एपी सिंह ने सुप्रीम कोर्ट के एक पुराने फैसले का हवाला दिया जिसके मुताबिक नाबलिग होने के दावे को किसी भी स्टेज पर उठाया जा सकता है, सुप्रीम कोर्ट से अपील, रिव्यू खारिज होने के बाद भी। जस्टिस भानुमति ने कहा, 'फिर तो ये अंतहीन सिलसिला शुरू हो जाएगा। लेकिन सवाल है कि कितनी बार । आप निचली अदालत से SC तक ये दलील पहले ही दे चुके है। फिर अब उठाने का क्या मतलब है।'

एपी सिंह ने ट्रायल कोर्ट द्वारा नाबालिग होने के दावे खारिज होने के फैसले पर सवाल उठाए। कोर्ट ने कहा, ‘हम यहां फैसले को रिव्यू करने के लिए नहीं बैठे है। वह वक्त जा चुका है।’ निर्भया मामले के दोषी पवन ने शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में दिल्ली हाई कोर्ट के 19 दिसंबर को दिए गए उस आदेश को चुनौती दी थी, जिसमें अदालत ने फर्जी दस्तावेज जमा करने और अदालत में हाजिर नहीं होने के लिए उसके वकील को लताड़ा था। गौरतलब है कि मामले के दोषियों को फांसी की सजा सुनाए जाने के बाद पवन ने दिल्ली हाई कोर्ट में अर्जी दायर कर दावा किया था कि दिसंबर 2012 में घटना के वक्त उसकी उम्र 18 साल से कम थी। हालांकि हाई कोर्ट ने पवन की इस याचिका को खारिज कर दिया था और उसके वकील एपी सिंह पर 25 हजार का जुर्माना भी लगाया था।

बता दें कि  दिल्ली के पटियाला हाउस कोर्ट ने निर्भया गैंगरेप और हत्याकांड के चारों दोषियों को 1 फरवरी को सुबह 6 बजे फांसी पर लटकाने के लिए शुक्रवार को ही नया डेथ वॉरंट जारी किया। नए डेथ वॉरंट के तहत अब चारों दोषियों, मुकेश, विनय शर्मा, अक्षय ठाकुर और पवन गुप्ता को 1 फरवरी को सुबह 6 बजे फांसी पर लटकाया जाएगा। इन चारों को पहले 22 जनवरी को सुबह 7 बजे फांसी दी जानी थी। निर्भया की मां ने फांसी की सजा टलने पर जताई थी और लड़ने एवं इंतजार करने की बात कही थी।

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