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बंगाल के सरकारी कर्मचारियों ने डीए बढ़ाने को लेकर किया प्रदर्शन, केंद्र के बराबर करने की मांग

आज कोलकाता में पश्चिम बंगाल के राज्य कर्मचारियों ने केंद्र सरकार के कर्मियों के बराबर डीए की मांग को लेकर प्रदर्शन किया है। आज से राज्य सचिवालय 'नबन्ना' के पास शुरू हुआ ये धरना प्रदर्शन तीन दिन तक जारी रहेगा।

employees protest - India TV Hindi Image Source : FILE PHOTO राज्य सचिवालय 'नबन्ना' के पास धरना प्रदर्शन

कोलकाता: आज पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में राज्य सरकार के कर्मचारियों के एक संगठन ने केंद्र सरकार के कर्मचारियों के बराबर महंगाई भत्ता जारी करने की मांग को लेकर प्रदर्शन किया। राज्य सरकार के कर्मियों ने शुक्रवार को राज्य सचिवालय 'नबन्ना' के पास तीन दिवसीय धरना-प्रदर्शन शुरू किया है। बता दें कि बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने गुरुवार को ही राज्य सरकार के कर्मचारियों को अगले साल जनवरी से चार प्रतिशत अतिरिक्त महंगाई भत्ता (डीए) देने की घोषणा की थी। 

केंद्र और बंगाल के कर्मचारियों के डीए में 36% का अंतर

लेकिन राज्य सरकार की इस घोषणा के बावजूद, कर्मचारी संगठन 'संग्रामी जौथा मंच' के सदस्य हाथों में तख्तियां और पोस्टर लिए मुख्यमंत्री कार्यालय के पास धरने पर बैठे और उन्होंने केंद्र सरकार के कर्मचारियों के बराबर डीए जारी करने की मांग को लेकर नारे लगाए। संग्रामी जौथा मंच के सदस्यों ने दावा किया कि मुख्यमंत्री द्वारा राज्य सरकार के कर्मचारियों को अतिरिक्त चार प्रतिशत डीए की घोषणा के बाद भी राज्य सरकार और केंद्र सरकार के कर्मचारियों के डीए के बीच 36 फीसदी अंतर रहेगा।

कोलकाता हाईकोर्ट से ली 3 दिन प्रदर्शन की अनुमति

बता दें कि कोलकाता हाईकोर्ट ने गुरुवार को कर्मचारी संगठन को शुक्रवार से तीन दिन के लिए हावड़ा शहर में राज्य सचिवालय के पास नबन्ना बस टर्मिनल पर प्रदर्शन करने की सशर्त अनुमति दी थी। न्यायमूर्ति राजशेखर मंथा ने याचिकाकर्ताओं को यह सुनिश्चित करने के लिए अपने वचन का पालन करने का निर्देश दिया कि इससे यातायात में कोई व्यवधान न हो या बड़े पैमाने पर जनता को कोई असुविधा न पहुंचे। अदालत ने यह भी कहा कि याचिकाकर्ता धरना प्रदर्शन में भाग लेने वाले व्यक्तियों की संख्या 300 तक सीमित रखने पर भी सहमत हुए हैं। अदालत ने निर्देश दिया कि हावड़ा के पुलिस आयुक्त शहर में सभी प्रदर्शनों के लिए पुलिस की वेबसाइट पर पहले से उपलब्ध प्रतिबंधों के अतिरिक्त प्रतिबंध लगाने के हकदार होंगे।

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