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Hindi News चुनाव 2024 तेलंगाना विधानसभा चुनाव 2018 Telangana assembly election: मुस्लिम कार्ड से तेलंगाना जीतेगी कांग्रेस या चलेगा कांग्रेस का जादू?

Telangana assembly election: मुस्लिम कार्ड से तेलंगाना जीतेगी कांग्रेस या चलेगा कांग्रेस का जादू?

ड्राफ्ट में मुस्लिम छात्रों के लिए खास रेजिडेंशियल स्कूल, मुसलमानों के लिए स्पेशल हॉस्पिटल, उर्दू टीचर्स की नियुक्ति पर खास ध्यान देने और मस्जिदों के लिए मुफ्त बिजली देने जैसे तमाम वादे किए गए थे।

मुस्लिम कार्ड से तेलंगाना जीतेगी कांग्रेस या चलेगा कांग्रेस का जादू?- India TV Hindi Image Source : INDIA TV मुस्लिम कार्ड से तेलंगाना जीतेगी कांग्रेस या चलेगा कांग्रेस का जादू?

नई दिल्ली: कांग्रेस ने तेलंगाना में चुनाव जीतने के लिए मुसलमानों को लुभाने की रणनीति बनाई थी। कांग्रेस मुसलमानों के लिए पार्क, अलग से एजुकेशनल इंस्टीट्यूट्स, मुस्लिम नौजवानों  के लिए सरकारी कॉन्ट्रैक्ट्स में खास तबज्जो, मुस्लिम छात्रों को बीस लाख रूपए तक की आर्थिक मदद देने जैसे वादे करने की योजना थी। इस तरह के वादों का मैनीफेस्टो ड्राफ्ट भी तैयार हो चुका था। पार्टी के नेताओं ने उसे एप्रूव भी कर दिया था। लेकिन बस एक गडबड़ हो गई। कांग्रेस के मेनीफेस्टो का ड्राफ्ट लीक हो गया। 

ड्राफ्ट में मुस्लिम छात्रों के लिए खास रेजिडेंशियल स्कूल, मुसलमानों के लिए स्पेशल हॉस्पिटल, उर्दू टीचर्स की नियुक्ति पर खास ध्यान देने और मस्जिदों के लिए मुफ्त बिजली देने जैसे तमाम वादे किए गए थे। कांग्रेस ऑफीशियली मेनीफेस्टो जारी करती इससे पहले ही सवाल उठने लगे। सांप्रदायिक राजनीति के इल्जाम लगे तो कांग्रेस ने आनन-फानन में मैनीफेस्टो में बदलाव किए।

इंडिया टीवी संवाददाता टी राघवन ने बताया कि कांग्रेस ने जो मेनीफेस्टो जारी किया हैं उसमें कई बातें हटा दी गई जबकि कुछ वादों में पहले जहां मुसलमान लिखा था...वहां माइनॉरिटीज शब्द लिख दिया गया। घोषणापत्र में मुस्लिम को सरकारी कॉन्ट्रेक्ट में खास तवज्जो देने का कोई जिक्र नहीं है लेकिन अल्पसंख्यक बहुल इलाकों में मुस्लिम छात्राओं के लिए रेजिडेंशियल स्कूल बनाने का वादा किया गया है। 

इसी तरह अल्पसंख्यक बहुत इलाकों में सरकारी अस्पतालों को दुरुस्त करने और नए अस्पताल बनाने की बात कही गयी है। जो मेनीफेस्टों जारी किया गया है उसमें मस्जिद के साथ साथ चर्च को भी मुफ्त बिजली देने की बात कही गयी है। गरीब मुस्लिम छात्रों को विदेश में पढ़ने के लिए 20 लाख रुपये तक की सहायता की बात कही गयी है।