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Hindi News भारत राष्ट्रीय ''डैडी उसे चैन से मत जीने देना''- सुसाइड से पहले एक बेटी का आखिरी खत

''डैडी उसे चैन से मत जीने देना''- सुसाइड से पहले एक बेटी का आखिरी खत

ये एक बेटी के आखिरी ख़त की चंद लाइनें हैं। जिसे उसने अपने पिता के नाम लिखा था। आखिरी ख़त इसलिए, क्योंकि इस खत को लिखने वाली 16 साल की कनिष्ठा अब इस दुनिया में नहीं है। उसने गले में फंदा डालकर खुदकुशी कर ली और जाते-जाते उसने अपने पिता के नाम ये खत..

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अलीगढ़: ‘डैडी मेरी कोई गलती नहीं है, पर कोई मेरी बात पर विश्वास नहीं करेगा इसलिए मैं ये सब कर रही हूं। मैं आखिरी बार तुमसे कुछ मांग रही हूं। प्लीज इसे पूरा कर देना। राजा को चैन से मत जीने देना। ये एक बेटी के आखिरी ख़त की चंद लाइनें हैं। जिसे उसने अपने पिता के नाम लिखा था। आखिरी ख़त इसलिए, क्योंकि इस खत को लिखने वाली 16 साल की कनिष्ठा अब इस दुनिया में नहीं है। उसने गले में फंदा डालकर खुदकुशी कर ली और जाते-जाते उसने अपने पिता के नाम ये खत छोड़ा है। यह छात्रा मेडिकल की पढ़ाई कर रही थी। पुलिस इस लेटर के सहारे एक शख्स राजा की तलाश कर रही हैं, लेकिन वह अभी फरार है।

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ये चिट्ठी अलीगढ़ के क्वार्सी थाना क्षेत्र के स्वर्ण जयंती नगर में रहने वाली कनिष्ठा की है। 11वीं में पढ़ने वाली कनिष्ठा अपनी तलाकशुदा मां के साथ यहां रहती थी। शनिवार और रविवार की दरम्यानी रात में जब मां को कनिष्ठा अपने कमरे में नहीं दिखी, तो उन्होंने उसकी तलाश शुरू की। जब उन्होंने छत पर जाकर देखा तो वहां कनिष्ठा का बेजान शरीर फंदे से झूल रहा था।

खुदकुशी की ख़बर पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने छानबीन शुरू की, तो उसे कनिष्ठा की किताब-कॉपियों में ये नोट हाथ लगा। डॉक्टर बनने के लिए मेडिकल की तैयारी कर रही कनिष्ठा की इस तरह मौत के बाद मां का रो-रो कर बुरा हाल है। उसका छोटा भाई पिता के संग नरोरा रहता है। तकनीशियन पिता अपनी तलाकशुदा पत्नी को मेंटेनेंस भत्ता देते थे।

कनिष्ठा ने अपने पिता के नाम लिखी इस आखिरी चिट्ठी में राजा नाम के एक शख्स का जिक्र करते हुए उससे बदला लेने की बात लिखी है। ऐसे में सवाल है कि आखिर कौन है ये राजा। कनिष्ठा से उसका क्या रिश्ता था। आखिर ऐसा क्या राज था राजा का, जिसे कनिष्ठा अपने सीने में दफ़्न कर दुनिया से चली गई।

सवाल ये भी है कि कनिष्ठा ने ये खत अपने पिता को क्यों लिखा। जबकि कनिष्ठा की मां से तलाक के बाद वे अलग रहते हैं और क्या कनिष्ठा के पिता राजा को जानते हैं। पुलिस इन सब सवालों के जवाब तलाशने जब राजा के घर पहुंची। तो पता चला कि वो फरार है।

आखिर क्यों लगाया मौत को गले, अभी भी है रहस्य
पुलिस की जांच में पता चला है कि राजा नाम का ये शख्स अक्सर उस कॉलोनी में आता था। जहां कनिष्ठा रहती थी। ऐसे में पुलिस को शक है कि राजा किसी तरह से कनिष्ठा को परेशान करता होगा। जिससे तंग आकर उसने खुदकुशी कर ली। हालांकि पूरी सच्चाई राजा की गिरफ्तारी के बाद ही सामने आ सकेगी, लेकिन कनिष्ठा के उठाए एक घातक कदम ने उसके परिवार को तोड़कर रख दिया है। एक मां जो इतनी तकलीफ सहकर उसे डॉक्टर बनाने का सपना देख रही थी। उसका सहारा छिन गया है।

पिता के नाम बेटी का आखिरी खत
डैडी मेरी कोई ग़लती नहीं है, पर कोई मेरी बात पर विश्वास नहीं करेगा, इसलिए मैं ये सब कर रही हूं। आखिरी बार तुमसे कुछ मांग रही हूं। प्लीज पूरा कर देना। राजा को चैन से मत जीने देना, उसने मुझे बहुत तड़पाया है। जब तक वो चैन से जिएगा, मैं तड़पती रहूंगी। अपनी बेटी के लिए इतना तो कर ही सकते हो पापा। जा रही हूं हमेशा के लिए तुम्हे छोड़कर। बस मेरी आखिरी इच्छा पूरी कर देना। अगर तुम्हे कोई तकलीफ दी हो, तो उसके लिए माफ़ी चाहती हूं। अब कभी परेशान नहीं करूंगी। बस अपनी बेटी के लिए राजा को बर्बाद कर देना,चैन की नींद सो जाऊंगी।

आपकी बेटी,
कनिष्ठा

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