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Hindi News भारत राष्ट्रीय जस्टिस एनवी रमना होंगे देश के अगले चीफ जस्टिस, राष्ट्रपति 24 अप्रैल को दिलाएंगे शपथ

जस्टिस एनवी रमना होंगे देश के अगले चीफ जस्टिस, राष्ट्रपति 24 अप्रैल को दिलाएंगे शपथ

राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने न्यायाधीश एन.वी. रमना को 24 अप्रैल से भारत का अगला मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किया है। भारत सरकार ने मंगलवार को ये जानकारी दी है।​

Justice Nuthalapati Venkata Ramana- India TV Hindi Image Source : @PIB_INDIA Justice Nuthalapati Venkata Ramana

नई दिल्ली। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने न्यायाधीश एन.वी. रमना को 24 अप्रैल से भारत का अगला मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किया है। भारत सरकार ने मंगलवार को ये जानकारी दी है। जस्टिस नथालापति वेंकट रमना सुप्रीम कोर्ट के 48वें चीफ जस्टिस होंगे जो 24 अप्रैल को पदभार संभालेंगे। राष्ट्रपति उन्हें शपथ दिलाएंगे।

देश के वर्तमान मुख्य न्यायाधीश जस्टिस शरद अरविंद बोबडे 23 अप्रैल को रिटायर हो रहे हैं। 24 मार्च को वर्तमान चीफ जस्टिस एस ए बोबड़े ने उनके नाम की सिफारिश सरकार को भेजी थी। बता दें कि 45 साल से ज्यादा का न्यायिक अनुभव रखने वाले और संवैधानिक मामलों के जानकार एनवी रमना का कार्यकाल 26 अगस्त 2022 तक का होगा। 

जानिए कौन है एनवी रमना

सीनियर जस्टिस एनवी रमना का जन्म 27 अगस्त 1957 को आंध्र प्रदेश के कृष्ण जिले के पोन्नवरम गांव में एक कृषि परिवार में हुआ था। पहले, वह दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश और आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश भी थे। उन्होंने आंध्र प्रदेश न्यायिक अकादमी के अध्यक्ष के रूप में भी काम किया है। आंध्र प्रदेश के रहने वाले एन.वी रमना वर्ष 2000 में आंध्र प्रदेश हाई कोर्ट में स्थायी जज के तौर पर चुने गए थे। फरवरी, 2014 में सुप्रीम कोर्ट के जज के तौर पर नियुक्ति से पहले वह दिल्ली हाई कोर्ट में थे। 63 वर्षीय नुथालपति वेंकेट रमना ने 10 फरवरी, 1983 से अपने न्यायिक करियर की शुरुआत की थी। उन्होंने आंध्र प्रदेश से वकील के तौर पर शुरुआत की थी। जस्टिस एन वी रमना ने आंध्र प्रदेश, मध्य और आंध्र प्रदेश प्रशासनिक न्यायाधिकरणों और भारत के सर्वोच्च न्यायालय में सिविल, आपराधिक, संवैधानिक, श्रम, सेवा और चुनाव मामलों में उच्च न्यायालय में प्रैक्टिस की है। उन्हें संवैधानिक, आपराधिक, सेवा और अंतर-राज्यीय नदी कानूनों में विशेषज्ञता हासिल है। रमना को संवैधानिक, आपराधिक और इंटर-स्टेट नदी जल बंटवारे के कानूनों का खास जानकार माना जाता है। करीब 45 साल का लंबा अनुभव रखने वाले एनवी रमना सुप्रीम कोर्ट के कई अहम फैसले सुनाने वाली संवैधानिक बेंच का हिस्सा रहे हैं।

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