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रूस से Sputnik-V टीके की 30 लाख खुराकें भारत पहुंचीं

रूस द्वारा निर्मित कोविड-19 रोधी टीके Sputnik-V की 30 लाख खुराकों की एक खेप मंगलवार को यहां हैदराबाद के राजीव गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पहुंची। 

रूस से Sputnik-V टीके की 30 लाख खुराकें भारत पहुंचीं- India TV Hindi Image Source : @RGIAHYD रूस से Sputnik-V टीके की 30 लाख खुराकें भारत पहुंचीं

हैदराबाद: रूस द्वारा निर्मित कोविड-19 रोधी टीके Sputnik-V की 30 लाख खुराकों की एक खेप मंगलवार को यहां हैदराबाद के राजीव गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पहुंची। जीएमआर हैदराबाद एयर कार्गो (जीएचएसी) की ओर से जारी एक प्रेस विज्ञप्ति के मुताबिक, रूस से विशेष चार्टर विमान आरयू-9450 के जरिए मंगलवार को तड़के तीन बजकर 43 मिनट पर Sputnik-V टीके की 30 लाख खुराक यहां पहुंची हैं। 

हालांकि, जीएचएसी की ओर से इससे पहले भी टीके की बड़ी खेपों के आयात का प्रबंधन किया जा चुका है, लेकिन 56.6 टन वजनी, टीके की यह खेप भारत में आयात होने वाली अब तक की सबसे बड़ी खेप है। टीके की खेप को विमान से उतारने की पूरी प्रक्रिया 90 मिनट से कम समय तक चली। बता दें कि Sputnik-V टीके के भंडारण के लिए विशेषज्ञता की आवश्यकता होती है। इसे शून्य से 20 डिग्री सेल्सियस कम तापमान पर रखा जाता है। 

गौरतलब है कि डॉ रेड्डी प्रयोगशाला का रूसी प्रत्यक्ष निवेश कोष के साथ भारत में Sputnik-V टीके की 12.5 करोड़ खुराक बेचने को लेकर करार हुआ है। भारत के औषधि महानियंत्रक की ओर से डॉ रेड्डी प्रयोगशाला को Sputnik-V टीके के आपातकालीन इस्तेमाल की पहले ही मंजूरी मिल चुकी है।

रूस के निवेश कोष रसियन डारेक्ट इन्वेस्टमेंट फंड (RDIF) और भारत की दवा कंपनी पैनेसिया बायोटेक ने 24 मई को भारत में Sputnik-V टीके का उत्पादन शुरू करने की घोषणा की थी। पैनेसिया बायोटेक के हिमाचल प्रदेश के बद्दी कारखाने में इसे तैयार करने की योजना है।

RDIF और पैनेसिया बायोटेक ने एक संयुक्त बयान जारी कर कहा था कि पूर्ण स्तर पर उत्पादन इन गर्मियों में ही शुरू होने की उम्मीद है। बयान में कहा गया था कि अप्रैल में RDIF और पैनेसिया ने Sputnik-V टीके की सालाना 10 करोड़ खुराक का उत्पादन करने पर सहमति जताई थी। 

RDIF के मुख्य कार्यकारी किरिल्ल डमित्रिव ने कहा था, ‘‘पैनेशिया बायोटेक के साथ मिलकर भारत में उत्पादन की शुरुआत देश को महामारी से लड़ने में मदद की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।’’ 

उन्होंने कहा था कि Sputnik-V टीके का उत्पादन शुरू होने से भारत में कोरोना वायरस महामारी के संकटपूर्ण दौर से निकालने के सरकार के प्रयासों को समर्थन मिलेगा। बाद में टीके का दूसरे देशों को निर्यात भी किया जा सकेगा ताकि दुनिया के अन्य देशों में भी महामारी के प्रसार को रोका जा सके। 

टीके के उत्पादन की शुरुआत पर पैनेशिया बायोटेक के प्रबंध निदेशक राजेश जैन ने कहा था, ‘‘Sputnik-V का उत्पादन शुरू होना एक महत्वपूर्ण कदम है। RDIF के साथ मिलकर हम उम्मीद करते हैं देश के लोग फिर से सामान्य स्थिति महसूस कर सकें साथ ही दुनिया के देशों में भी स्थिति सामान्य करने में मदद मिलेगी।’’ 

Sputnik-V को भारत में 12 अप्रैल 2021 को आपातकालीन इस्तेमाल की अनुमति के साथ पंजीकृत किया गया है। इसके साथ ही कोरोना वायरस की रोकथाम के लिये 14 मई से टीकाकरण अभियान में इसका इस्तेमाल भी शुरू कर दिया गया।

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