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Hindi News भारत राजनीति 'माफिया अभी जिंदा है...', अतीक की हत्या पर दिग्विजय सिंह ने तोड़ी चुप्पी, क्या कुछ बोले?

'माफिया अभी जिंदा है...', अतीक की हत्या पर दिग्विजय सिंह ने तोड़ी चुप्पी, क्या कुछ बोले?

दिग्विजय सिंह ने कहा, ''अतीक अहमद के परिवार ने कहा था कि इनको एनकाउंटर में मार दिया जाएगा। सुप्रीम कोर्ट वो लोग गए, कई बिल्डर, बड़े नेता और बड़े अधिकारियों के नाम अतीक ने लिए हैं, उनका खुलासा होना चाहिए।

digvijaya singh on atiq ahmed- India TV Hindi Image Source : PTI दिग्विजय सिंह, अतीक अहमद

भोपाल: माफिया डॉन अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ के आतंक का अंत हो चुका है। मुख्यमंत्री योगी ने आदित्यनाथ ने भी साफ-साफ मैसेज दे दिया है कि यूपी में अब माफियाओं का राज नहीं, बल्कि कानून का राज है। इसी कानून के शिकंजे से बचने के लिए अतीक की बीवी शाइस्ता भागी-भागी फिर रही है। इस बीच ''माफिया का हेड चला गया लेकिन माफिया अभी जिंदा है'', अतीक अहमद की हत्या पर यह बयान देकर कांग्रेस के दिग्गज नेता दिग्विजय सिंह ने उत्तर प्रदेश सरकार पर सवाल खड़े किए।

दिग्विजय सिंह ने कहा, "अतीक अहमद और उनका परिवार आपराधिक प्रवृत्तियों में संलिप्त रहा है। इलाहाबाद में मुझे बताया कि अतीक की गैंग ने हिंदुओं से ज्यादा मुस्लिमों के ऊपर अपराध किए हैं। उनके बेटे का एनकाउंटर तो पुलिस एनकाउंटर था, लेकिन पुलिस कस्टडी में हत्या होने पर जवाबदारी जिम्मेदारी तो यूपी पुलिस पर आती है।"

'अब करें CBI-ED का इस्तेमाल'
दिग्विजय सिंह ने आगे कहा, ''अतीक अहमद के परिवार ने कहा था कि इनको एनकाउंटर में मार दिया जाएगा। सुप्रीम कोर्ट वो लोग गए, कई बिल्डर, बड़े नेता और बड़े अधिकारियों के नाम अतीक ने लिए हैं, उनका खुलासा होना चाहिए। ED, IT, CBI को उनके खिलाफ जांच करनी चाहिए। किन-किन से अतीक के संबंध थे इसका खुलासा होना चाहिए। अपराधिक समूह या अपराधिक व्यक्ति हिंसा करके इन लोगों से संबंध रखकर पैसा कमा रहा है जमीनों पर कब्जा कर रहा है ऐसे लोगों का खुलासा होना चाहिए।'' दिग्विजय सिंह से पहले कमलनाथ भी इस मामले में सवाल दाग चुके हैं।

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CM योगी से की ये मांग
दिग्विजय सिंह ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मांग करते हुए कहा, "मुख्यमंत्री महोदय आपने जो जांच आयोग बनाया है उसमें टर्म्स कॉफी रेफरेंस में यह भी डालिए की अतीक के किन-किन से आपराधिक, व्यावसायिक संबंध थे। कौन-कौन से नेताओं से संबंध थे, कौन-कौन से अधिकारी कर्मचारियों से संबंध थे वह भी उजागर होना चाहिए क्योंकि माफिया का हेड तो चला गया लेकिन माफिया तो जिंदा है। उन माफियाओं को भी खत्म करना चाहिए।

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