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Hindi News भारत राजनीति लोकसभा चुनाव से पहले पीएम मोदी ने मंत्रियों को दिया मंत्र-'पहले 100 दिन फिर अगले पांच साल...'

लोकसभा चुनाव से पहले पीएम मोदी ने मंत्रियों को दिया मंत्र-'पहले 100 दिन फिर अगले पांच साल...'

लोकसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान होते ही एनडीए जीत के लिए पूरा दमखम लगा रही है। पीएम मोदी ने कैबिनेट मंत्रियों को सलाह दी है कि नई सरकार के पहले 100 दिन और अगले पांच साल के लिए तैयारी कर लें ।

pm modi advice to cabinet ministers- India TV Hindi Image Source : ANI पीएम मोदी ने मंत्रियों को दी सलाह

लोकसभा चुनाव की तारीखों के ऐलान के दूसरे दिन ही प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने रविवार को अपने कैबिनेट मंत्रियों से नई सरकार के लिए खास सलाह दी है। सूत्रों ने यह जानकारी दी है कि कैबिनेट की बैठक में पीएम मोदी ने मंत्रियों से कहा कि पहले 100 दिन और अगले पांच साल के लिए एक रूपरेखा तैयार कर लें। प्रधानमंत्री ने रविवार की सुबह केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक की अध्यक्षता करते हुए मंत्रियों से अपने-अपने मंत्रालयों के सचिवों और अन्य अधिकारियों से मुलाकात कर इस बारे में चर्चा करने के लिए कहा कि नयी सरकार के पहले 100 दिन और अगले पांच साल के एजेंडे को बेहतर ढंग से कैसे लागू किया जा सकता है?

20 मार्च को जारी होगी चुनाव की अधिसूचना

बता दें कि कैबिनेट की यह बैठक निर्वाचन आयोग द्वारा लोकसभा चुनाव के कार्यक्रम की घोषणा के एक दिन बाद ही हुई है। मंत्रिमंडल ने निर्वाचन आयोग की सिफारिश राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को भेजकर सात चरण के संसदीय चुनाव की तारीखों को अधिसूचित करने की प्रक्रिया भी शुरू की। पहले चरण के तहत 19 अप्रैल को 102 सीट पर मतदान के लिए पहली अधिसूचना 20 मार्च को जारी की जाएगी। अधिसूचना जारी होने के साथ ही उस चरण के लिए नामांकन प्रक्रिया शुरू हो जाती है।

तीन मार्च की बैठक में हुआ था मंथन

तीन मार्च को प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में हुई मंत्रिपरिषद की बैठक में ‘‘विकसित भारत : 2047’’ के लिए दृष्टि पत्र और अगले पांच वर्ष के लिए एक विस्तृत कार्ययोजना पर मंथन किया गया था। उस बैठक में, मई में नयी सरकार के गठन के बाद तुरंत उठाए जाने वाले कदमों के लिए 100 दिवसीय एजेंडे और उसके शीघ्र क्रियान्वयन के बारे में चर्चा की गई थी। सूत्रों ने तब कहा था कि ‘‘विकसित भारत’’ के लिए ‘रोडमैप’ दो साल से अधिक की गहन तैयारी का परिणाम है।

सूत्रों ने कहा था कि इसमें सभी मंत्रालयों और राज्य सरकारों, शिक्षाविदों, उद्योग संगठनों, नागरिक संस्थाओं, वैज्ञानिक संगठनों के साथ व्यापक परामर्श तथा युवाओं के सुझावों को समाहित करते हुए ‘‘सरकार का समग्र’’ दृष्टिकोण शामिल है। इस संबंध में एक अधिकारी ने कहा था, ‘‘विभिन्न स्तरों पर 2,700 से अधिक बैठकें, कार्यशालाएं और सेमिनार आयोजित किए गए। 20 लाख से अधिक युवाओं से सुझाव प्राप्त हुए।’’ 

(इनपुट-पीटीआई)

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