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कैल्शियम, विटामिन डी की दवाओं से बुजु्र्गों में फ्रेक्चर का जोखिम घटने की संभावना कम

नया कैल्शियम, विटामिन डी या दोनों की दवाओं द्वारा बुजुर्गों के कूल्हे के या अन्य किसी फ्रेक्चर से बचने की संभावना कम है।

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हेल्थ डेस्क: आज के समय में हमारे पास इतना समय नहीं होता है कि खुद को ज्यादा ध्यान दें पाएं जिसके कारण कई समस्याओं में का सामना करना पड़ता है। शरीर में कैल्शियम और विटामिन्स की कमी के कारण कई बीमारियों का सामना करना पड़ता है। इन्हीं में से के समस्या है फ्रेक्चर होने का। जिसमें जरा सी ठोकर लगने पर आपकी हड्डियां टूट जाती है।

नया कैल्शियम, विटामिन डी या दोनों की दवाओं द्वारा बुजुर्गों के कूल्हे के या अन्य किसी फ्रेक्चर से बचने की संभावना कम है।

‘जर्नल आफ द अमेरिकन मेडिकल एसोसिएशन’ में छपे अध्ययन के अनुसार, परंपरागत रूप से दिशानिर्देश ‘आस्टियोपोरोसिस’ (हड्डियों संबंधी) से पीड़ित बुजुर्गों को फ्रेक्चर से बचने के लिए कैल्शियम और विटामिन डी की दवाओं की सिफारिश करते हैं।

अनुसंधानकर्ताओं ने कहा कि पुराने अध्ययनों में दवाओं और फ्रेक्चर के जोखिम के बीच संबंध को लेकर मिलेजुले निष्कर्ष सामने आए हैं।

चीन के तियानजिन अस्पताल के अनुसंधानकर्ताओं द्वारा किये गये अध्ययन में 50 से अधिक उम्र के 51145 वयस्कों को शामिल किया गया। ये बुजुर्ग अपने परिवारों के साथ रहते हैं, किसी नर्सिंग होम या आवासीय चिकित्सा केन्द्रों में नहीं।

अध्ययन में पाया गया कि दवाओं का नये फ्रेक्चर का कम खतरा होने से कोई संबंध नहीं है।

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