सेविंग्स और रिटायरमेंट प्लानिंग आज हर शख्स के लिए जरूरी हो गई है। लेकिन अक्सर लोगों के मन में सवाल आता है कि EPF या PPF में से किसमें निवेश करना बेहतर है। अगर आप भी यह सोच रहे हैं कि अपनी मेहनत की कमाई को सबसे सुरक्षित और लाभदायक तरीके से बढ़ाया जाए, तो यह जानकारी आपके लिए बेहद जरूरी है।
EPF क्या है?
EPF यानी कर्मचारी भविष्य निधि। यह योजना उन कंपनियों में लागू होती है जहां 20 या उससे अधिक कर्मचारी काम करते हैं। EPF में निवेश करना कर्मचारियों के लिए अनिवार्य होता है। इसमें हर महीने कर्मचारी और नियोक्ता दोनों अपनी सैलरी का 12% EPF खाते में जमा करते हैं। उदाहरण के लिए, अगर आपकी बेसिक सैलरी और महंगाई भत्ता कुल 50,000 रुपये है, तो महीने में 6,000 रुपये (₹3,000 कर्मचारी + ₹3,000 नियोक्ता) EPF में जमा होंगे। यह राशि समय के साथ ब्याज सहित बढ़ती रहती है और रिटायरमेंट के बाद आपको एक बड़ी रकम के रूप में मिलती है।
PPF क्या है?
PPF यानी सार्वजनिक भविष्य निधि। यह सरकार द्वारा संचालित लंबी अवधि की बचत योजना है। इसमें आप सालाना 500 रुपये से 1.5 लाख रुपये तक जमा कर सकते हैं। PPF की अवधि 15 साल होती है और पूरा समय पूरा होने पर आपकी जमा राशि और उस पर मिला ब्याज दोनों आपके खाते में आते हैं। PPF की सबसे बड़ी खासियत यह है कि इसमें निवेश करने पर आपको टैक्स में छूट भी मिलती है (Income Tax Act, Section 80C के तहत)। PPF खाता खोलना आसान है और आजकल ज्यादातर बड़े बैंक इसे ऑनलाइन भी उपलब्ध कराते हैं।
EPF और PPF में क्या अंतर है?
EPF में निवेश अनिवार्य है, वहीं PPF ऑप्शनल। EPF सैलरी के आधार पर नियमित जमा होती है और रिटायरमेंट के समय लंबा फायदा देती है। PPF में आप अपनी क्षमता के अनुसार जमा राशि तय कर सकते हैं और टैक्स लाभ भी पा सकते हैं। अगर आप चाहते हैं कि रिटायरमेंट तक आपकी बचत बढ़े और टैक्स भी कम पड़े, तो PPF के जरिए एक्स्ट्रा निवेश करना बेहतर हो सकता है।
Disclaimer: यह न्यूज सिर्फ जानकारी के लिए है। निवेश से पहले अपने वित्तीय सलाहकार से सलाह जरूर लें।
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