A
Hindi News खेल अन्य खेल चोट से लड़ कर वापसी करने के लिए सीनियर खिलाड़ी रमनदीप से प्रेरणा ले रहे हैं अर्शदीप

चोट से लड़ कर वापसी करने के लिए सीनियर खिलाड़ी रमनदीप से प्रेरणा ले रहे हैं अर्शदीप

19 साल के सिंह घुटने में चोट के कारण पिछले साल स्पेन में छह देशों की चैंपियनशिप में जगह बनाने से चूक गए थे।

Arshdeep Singh- India TV Hindi Image Source : HOCKEY INDIA Arshdeep Singh

नई दिल्ली| भारतीय जूनियर पुरूष हॉकी टीम के संभावित खिलाड़ियों में शामिल अर्शदीप सिंह ने कहा कि राष्ट्रीय टीम में जगह सुनिश्चित करने के लिए चोटों से निपटने को लेकर वह सीनियर खिलाड़ी रमनदीप सिंह से प्रेरणा ले रहे हैं। 19 साल के सिंह घुटने में चोट के कारण पिछले साल स्पेन में छह देशों की चैंपियनशिप में जगह बनाने से चूक गए थे। वह भारतीय पुरुष हॉकी टीम फॉरवर्ड रमनदीप के अंतरराष्ट्रीय करियर के दौरान चोटों से निपटने के तरीके से प्रेरित हैं।

हॉकी इंडिया की विज्ञप्ति में अर्शदीप ने कहा,‘‘ पिछले साल स्पेन में छह देशों की चैंपियनशिप में जगह बनाने से चूकना वाकई निराशाजनक था। मैंने हालांकि महसूस किया है कि चोटिल होना किसी भी खिलाड़ी के करियर का एक हिस्सा है। जिस तरह रमनदीप सिंह अपने करियर के दौरान चोटों से उबरे उस पर मैं नजर रख रहा हूं।’’

इस युवा फॉरवर्ड खिलाड़ी ने कहा, ‘‘ वह (रमनदीप) भारत के सभी युवा हॉकी खिलाड़ियों के लिए एक प्रेरणा हैं। चोटों से वापसी करने के लिए एक व्यक्ति को बहुत अधिक दृढ़ संकल्प होने की जरूरत है। अब मुझे पता है कि यह सब सुनिश्चित करना कितना महत्वपूर्ण है। मैं इस बात की जांच करता रहूं कि हर स्थिति में मेरे शरीर से कैसी प्रतिक्रिया मिल रही है।’’

पिछले कुछ समय में कई जूनियर राष्ट्रीय कोचिंग शिविरों में भाग ले चुके इस खिलाड़ी ने कहा कि वह पिछले कुछ महीनों में अपनी फिटनेस पर ध्यान दे रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘‘ पिछले कुछ महीने हम सभी के लिए काफी चुनौतीपूर्ण रहे हैं। हालांकि, मैंने अपनी फिटनेस पर ध्यान देने के लिए समय लिया है। मुझे निकट भविष्य में भारतीय जूनियर पुरुष टीम के लिए खेलने का मौका मिल सकता है और मैं चोट के कारण इसे गंवाना नहीं चाहता हूं।’’

अर्शदीप ने कहा कि उनके लिए देश का प्रतिनिधित्व करने से बड़ा कुछ भी नहीं है। उन्होंने कहा, ‘‘सीनियर टीम के लिए खेलना हमेशा मेरा सबसे बड़ा लक्ष्य रहा है। मुझे हालांकि पहले जूनियर स्तर पर प्रदर्शन करना होगा और एक कुशल खिलाड़ी के रूप में पहचान बनानी होगी मैं जो भी कर सकता हूं, अपने लक्ष्य की दिशा में काम करता रहूंगा। मुझे यकीन है कि एक दिन मैं सीनियर भारतीय टीम के साथ मैदान पर उतरूंगा। मैं इसे सुनिश्चित करने के लिए खूब मेहनत करूंगा कि मुझे भविष्य में मुझे भारत की जीत में योगदान करने का मौका मिले।’’