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जम्मू-कश्मीर में चुनाव पर उपराज्यपाल ने दिया बड़ा अपडेट, बताया कब छोड़ेंगे अपना पद

जम्मू-कश्मीर में पिछली बार विधानसभा चुनाव का आयोजन साल 2014 में किया गया था। 2019 को केंद्र सरकार ने अनुच्छेद 370 और 35ए को हटा दिया और जम्मू कश्मीर राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में पुनर्गठित किया गया था।

MANOJ Sinha- India TV Hindi Image Source : X (@MANOJSINHA) जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल मनोज सिन्हा।

देश के 5 राज्यों में विधानसभा चुनाव का आयोजन सफलतापूर्वक हो चुका है। हालांकि, चुनाव के बीच राजनीतिक दलों द्वारा केंद्रशासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में चुनाव न कराए जाने को लेकर निर्वाचन आयोग पर कई बार निशाना साधा गया है। अब जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने खुद ही प्रदेश में चुनाव को लेकर अपडेट जारी कर दिया है। इसके साथ ही सिन्हा ने ये भी बताया है कि वह अपना उपराज्यपाल का पद कब छोड़ने वाले हैं। आइए जानते हैं उपराज्यपाल मनोज सिन्हा का पूरा बयान।

कब होंगे चुनाव?

उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने गुरुवार को जानकारी दी है कि निर्वाचन आयोग जब भी विधानसभा चुनाव कराने का निर्देश देगा, उनका प्रशासन केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में इसे कराने के लिए तैयार है। उन्होंने जानकारी दी कि निर्वाचन आयोग ने जम्मू-कश्मीर से इंतजामों के बारे में जानकारी भी मांगी थी। उन्हें जो भी जानकारी चाहिए थी दे दी गई है।

कब छोड़ेंगे अपना पद?

जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने इस बात की जानकारी भी दे दी है कि वह अपना पद कब छोड़ेंगे। एक कार्यक्रम में उन्होंने कुछ खास राजनीतिक दलों पर चुनावों के बारे में गलत सूचना फैलाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि वह सफलतापूर्वक विधानसभा चुनाव कराने के बाद ही जम्मू कश्मीर छोड़ेंगे। उन्होंने कहा- "मैं इस मंच से बताना चाहता हूं कि जब भी आयोग हमें कहेगा, जम्मू कश्मीर प्रशासन चुनाव कराने के लिए तैयार है।"

2014 में हुए थे चुनाव

जम्मू-कश्मीर में पिछली बार विधानसभा चुनाव का आयोजन साल 2014 में किया गया था। भाजपा की ओर से समर्थन वापस लेने के बाद 19 जून 2018 को महबूबा मुफ्ती ने मुख्यमंत्री पद से त्यागपत्र दे दिया था और उसके बाद जम्मू कश्मीर में राज्यपाल शासन लागू हुआ। वहीं, बाद में यहां बाद में राष्ट्रपति शासन लागू किया गया। इसके बाद पांच अगस्त 2019 को केंद्र सरकार ने अनुच्छेद 370 और 35ए को हटा दिया और जम्मू कश्मीर राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में पुनर्गठित किया गया। केंद्र शासित प्रदेश बनने के बाद से ही जम्मू-कश्मीर में उपराज्यपाल शासन की बागडोर संभाले हुए हैं। 

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