हेल्थ डेस्क: आज किसी को भी कोई बड़ी बीमारी होती है तो वह सर्जरी की बात करते है। सर्जरी कराने से उस समस्या से निजात मिल जाता है। इसी तरह आईसाइट को ठीक करने के लिए लेसिक आई सर्जरी कराने वाले कुछ लोगों को सर्जरी से साइड इफैक्ट की समस्या से दो चार होना पड़ सकता है। एक नये अध्ययन में यह दावा किया गया है।
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अमेरिकी खाद्य और औषधि प्रशासन के मेलविना आइडलमेन और उनके सहयोगियों ने लेसिक अध्ययन के साथ मरीजों के बताए गए नतीजों में लेसर इंसिटू केराटोमिलियूसिस :लेसिक: सर्जरी मरीजों की ओर दृष्टि संबंधी लक्षणों, आंख शुष्क होने के लक्षण, दृष्टि से संतुष्टि की संख्या की पड़ताल की।
पीआरओडब्ल्यूएल-एक अध्ययन 262 सक्रिय ड्यूटी वाले नौसेनिकों (औसत उम्र 29 साल) का एकमात्र सैन्य अध्ययन केंद्र था।
पीआरओडब्ल्यूएल-2 अध्ययन पांच निजी और अकादमिक केंद्रों में 312 नागरिकों (औसत उम्र 32 साल) पर किया गया।
प्रश्नावली के परिणामों से संकेत मिला कि दृष्टि लक्षण और नजर के साथ असंतुष्टि आम शिकायत थी। कुल मिलाकर दृश्य लक्षणों और शुष्क नेत्र लक्षणों में गिरावट आयी लेकिन सर्जरी (तीन महीने में पीआरओडब्ल्यूएल-एक अध्ययन से 43 प्रतिशत और पीआरओडब्ल्यूएल-2 अध्ययन से 46 प्रतिशत) के बाद कुछ लोगों ने दृष्टि संबंधी नयी दिक्कतों (दोहरी छाया, आंसू आने आदि) के बारे में बताया ।
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