A
Hindi News धर्म त्योहार Masik Durgashtami Vrat 2024: आज रखा जाएगा मासिक दुर्गाष्टमी का व्रत, इस मुहूर्त में पूजा करने से मां भगवती की मिलेगी अपार कृपा, जरूर करें इन मंत्रों का जाप

Masik Durgashtami Vrat 2024: आज रखा जाएगा मासिक दुर्गाष्टमी का व्रत, इस मुहूर्त में पूजा करने से मां भगवती की मिलेगी अपार कृपा, जरूर करें इन मंत्रों का जाप

Durgashtami Vrat 2024: आज मासिक दुर्गाष्टमी का व्रत रखा जा रहा है। हिंदू धर्म में इस व्रत का खास महत्व है। दुर्गाष्टमी के दिन मां दुर्गा की आराधना करने से मनोवांछित फलों की प्राप्ति होती है।

Masik Durgashtami 2024- India TV Hindi Image Source : INDIA TV Masik Durgashtami 2024

Masik Durgashtami 2024: आज यानी कि गुरुवार को मासिक दुर्गाष्टमी का व्रत किया जाएगा। प्रत्येक महीने के शुक्ल पक्ष की अष्टमी को दुर्गाष्टमी व्रत किया जाता है। इस दिन मां दुर्गा की उपासना की जाती है। जिस प्रकार चतुर्थी तिथि का अधिष्ठाता भगवान गणेश को माना जाता है, उसी प्रकार प्रत्येक महीने के शुक्ल पक्ष की अष्टमी को देवी दुर्गा की पूजा की जाती है। अतः आज देवी दुर्गा की उपासना का दिन है। आज के दिन देवी दुर्गा की उपासना करने से आपकी सभी मनोकामना पूरी होंगी, साथ ही आपकी हर समस्या का हल निकलेगा। साथ ही आज से शाकम्भरी देवी नवरात्र भी शुरू हो रहे है और 25 जनवरी को समाप्त हो जाएंगे।

माता शाकम्भरी देवी दुर्गा के अवतारों में से एक हैं। कहा जाता है कि मां शाकंभरी ने अपने शरीर से उत्पन्न शाक-सब्जियों, फल-मूल आदि से संसार का भरण-पोषण किया था। धार्मिक शास्त्रों के अनुसार गुप्त नवरात्रि की तरह शाकंभरी नवरात्रि का भी बड़ा महत्व है। यह नवरात्रि तंत्र-मंत्र और गुप्त विद्याएं सीखने के लिये कारगर मानी जाती है। इसके आलावा आज व्रत कर देवी अन्नपूर्णा की भी आराधना की जाएगी। देवी अन्नपूर्णा पार्वती जी का एक रूप हैं। इनकी आराधना से व्यक्ति को धन-धान्य, सुख-समृद्धि, यश, कीर्ति, अच्छा स्वास्थ्य और लंबी आयु, सब कुछ मिलता है।

मासिक दुर्गाष्टमी 2024 व्रत शुभ मुहूर्त

  • अष्टमी तिथि आरंभ- 17 जनवरी 2024 बुधवार देर रात को 10 बजकर 6 मिनट से
  • अष्टमी तिथि समाप्त- 18 जनवरी 2024 को रात 8 बजकर 45 मिनट तक
  • मासिक दुर्गाष्टमी 2024 व्रत तिथि- 18 जनवरी 2024, गुरुवार

दुर्गाष्टमी के दिन करें इन दुर्गा मंत्रों का जाप

  • या देवी सर्वभूतेषु शक्ति रूपेण संस्थिता। नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नम:॥
  • ॐ जयन्ती मंगला काली भद्रकाली कपालिनी। दुर्गा क्षमा शिवा धात्री स्वाहा स्वधा नमोऽस्तुते।।

(आचार्य इंदु प्रकाश देश के जाने-माने ज्योतिषी हैं, जिन्हें वास्तु, सामुद्रिक शास्त्र और ज्योतिष शास्त्र का लंबा अनुभव है। इंडिया टीवी पर आप इन्हें हर सुबह 7.30 बजे भविष्यवाणी में देखते हैं।)

ये भी पढ़ें-

Ayodhya: अयोध्या में श्रीराम से पहले आए थे यहां भगवान विष्णु, वर्षों तक की थी तपस्या, इसलिए कहते हैं इसे बैकुंठ लोक

Ram Mandir: 22 जनवरी को ही क्यों हो रहा है राम मंदिर का उद्घाटन, जानिए इसके पीछे के धार्मिक कारण