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कोरोना काल में घर बना लोगों का नया ऑफिस, अब लोग घर पर मंगा रहे ऑफिस फर्नीचर

कोरोना काल ने सब कुछ बदल दिया है। कोरोना काल से शुरू हुआ वर्क फ्रॉम होम का कल्चर अब कई दफ्तरों में लॉग टर्म के लिए हो गया है। लेकिन बदलते वक्त और जरूरत के हिसाब से अब लोग घर पर काम करने के दौरान ऑफिस फर्नीचर को घर पर ऑर्डर करके मंगवा रहे हैं।

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कोरोना काल ने सब कुछ बदल दिया है। कोरोना काल से शुरू हुआ वर्क फ्रॉम होम का कल्चर अब कई दफ्तरों में लॉग टर्म के लिए हो गया है। ये बात भी सच है कि कुछ ऑफिस सेफ्टी प्रिकॉशंस के साथ खोल दिए गए हैं लेकिन कुछ जगहों पर लंबे वक्त के लिए वर्क फ्रॉम होम को अभी भी तवज्जो दी जा रही है। हालांकि वर्क फ्रॉम होम की वजह से लोग अब उन फर्नीचर को खरीदने लगे हैं जो साधारण तौर पर दफ्तरों में इस्तेमाल होते थे। लेकिन बदलते वक्त और जरूरत के हिसाब से अब लोग घर पर काम करने के दौरान ऑफिस फर्नीचर को घर पर ऑर्डर करके मंगवा रहे हैं। 

विश्व भर के बाजार में ऑफिस फर्नीचर की मांग बढ़ते कर्मचारियों और वर्कस्पेस की वजह से बढ़ रही है , इसके साथ ही लोगों की मांग अब बढ़िया, आरामदायक, टिकाऊ, फर्नीचर के लिए ज्यादा होने लगी है। बढ़ते कॉरपोरेट वर्कस्पेस ने विश्व भर में फर्नीचर की मांग में तेजी ला दी है। हालांकि कोरोना काल के दौरान नुकसान की मार से ऑफिस फर्नीचर उद्योग भी बच नहीं सका था। 

लॉकडाउन के शुरुआती दौर में बिजनेसमैन को खास तौर पर झटका लगा था। फर्नीचर उद्योग को अब कुछ अलग उपाय सोचने की जरूरत थी क्योंकि यह क्षेत्रों के वर्गीकरण से आय उत्पन्न कर सकता है। निधि अग्रवाल, इंडो इनोवेशंस की एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर का मानना है कि कोरोना के चलते वर्क फ्रॉम होम का कल्चर तेजी से बढ़ रहा है। 

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दरअसल, ऑफिस में काम करने वालों को घर पर काम करने में दिक्कत होती है। महामारी के कारण घर से काम करने की संस्कृति बढ़ी जिससे घर पर ऑफिस के फर्नीचर की मांग भी बढ़ी है। देशव्यापी लॉकडाउन के बाद से घर से काम सामान्य चलन बन गया है लेकिन प्रोफेशनल्स को घर पर काम में दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है, क्योंकि अधिकांश के पास आरामदायक ऑफिस फर्नीचर घर पर उपलब्ध नहीं है।

कॉरपोरेट और अन्य लोग घर पर ऑफिस जैसा माहौल बनाने के लिए कम जगह में वर्क स्पेस के लिए ऑफिस फर्नीचर खरीद रहे हैं। लॉकडाउन के बाद से वर्क फ्रॉम होम एक गाइडलाइन बन गया है और उम्मीद की जाती है कि सामाजिक दूरियों के मानदंडों के कारण ऑफिस जाकर काम किया जा सकता है, प्रोफेशनल्स को घर में ऑफिस जैसे फर्नीचर न होने के कारण परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।

देशव्यापी लॉकडाउन के चलते वर्क फ्रॉम होम का प्रचलन तेजी से बढ़ने लगा। लोगों को घर से काम करने में समस्या हो रही थी। देर समय तक काम करने के लिए उन्हें ऑफिस जैसे फर्नीचर की जरूरत पड़ती थी। काम में ध्यान लगाने के लिए और लंबे समय तक लैपटॉप के सामने बैठे रहने के लिए उन्हें आरामदायक फर्नीचर की जरूरत पड़ने लगी। अधिकतर कर्मचारियों को बेढंगे बैठने के तरीके से उनकी रीड़ की हड्डी में दर्द होने की समस्या होने लगी। ऑफिस फर्नीचर का ये मतलब बिल्कुल नहीं कि आपको ऑफिस के सारे फर्नीचर खरीदने होंगे, बल्कि जो आपकी जरूरत हो वो फर्नीचर आप खरीद सकते हैं। जैसे कि डेस्क, चेयर, सिंगल सोफा और सेट आदि ।

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