मुंबई। जेट एयरवेज का संकट लगातार बढ़ता जा रहा है। पट्टे पर लिए विमानों का किराया नहीं चुकाए जाने के चलते सोमवार को उसके दो और विमान खड़े हो गए। इस तरह कंपनी के कुल 25 विमान अब उड़ान नहीं भर सकेंगे, जो उसके कुल बेड़े का करीब 20 प्रतिशत है।
शेयर बाजार को दी जानकारी में कंपनी ने बताया कि भारी नकदी संकट की वजह से विमानों का किराया नहीं चुकाए जाने के चलते दो और विमान खड़े हो गए हैं। अब कंपनी के 25 यानी करीब 20 प्रतिशत विमान खड़े हैं।
कंपनी के पास कुल 123 विमानों का बेड़ा है। इसमें बोइंग 737, बोइंग 777, एयरबस ए330 और एटीआर विमान शामिल हैं। कंपनी के विमानों को जमीन पर खड़ा करने का यह क्रम सात फरवरी से जारी है और अब तक उसके कुल 25 विमान खड़े कर दिए गए हैं।
कंपनी इस संबंध में नियमित तौर पर नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) को सूचित कर रही है। जबकि नागर विमानन मंत्रालय और नियामक डीजीसीए ने अब तक इसे लेकर कोई कार्रवाई नहीं की है।
इन विमानों के खड़े होने से कितनी उड़ानें रद्द हुई है इसके बारे में कंपनी ने कुछ नहीं बताया है। औसतन एक बोइंग 737 विमान छह से सात घरेलू उड़ाने रोजाना भरता है।