Friday, April 26, 2024
Advertisement
  1. Hindi News
  2. पैसा
  3. बिज़नेस
  4. सरकारी बैंकों ने 5,954 जानबूझ कर कर्ज न चुकाने वालों के खिलाफ की कार्रवाई, इन पर बकाया है 70,000 करोड़ रुपए

सरकारी बैंकों ने 5,954 जानबूझ कर कर्ज न चुकाने वालों के खिलाफ की कार्रवाई, इन पर बकाया है 70,000 करोड़ रुपए

देश के सबसे बड़े बैंक भारतीय स्टेट बैंक (SBI) ने 1,444 ऐसे डिफॉल्टरों पर कार्रवाई की है। इन पर 20,943 करोड़ रुपए का कर्ज बकाया है।

Manish Mishra Manish Mishra
Published on: August 27, 2017 18:07 IST
सरकारी बैंकों ने 5,954 जानबूझ कर कर्ज न चुकाने वालों के खिलाफ की कार्रवाई, इन पर बकाया है 70,000 करोड़ रुपए- India TV Paisa
सरकारी बैंकों ने 5,954 जानबूझ कर कर्ज न चुकाने वालों के खिलाफ की कार्रवाई, इन पर बकाया है 70,000 करोड़ रुपए

नई दिल्ली सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों ने सारफेसी कानून के 5,954 जानबूझ कर कर्ज न चुकाने वाले लोगों के खिलाफ कर्ज वसूली की कार्रवाई की है। इन डिफॉल्टरों पर बैंकों को 70,000 करोड़ रुपए का कर्ज बकाया है। वित्‍त मंत्रालय द्वारा जुटाए गए आंकड़ों के अनुसार, प्रतिभूति हित का प्रवर्तन एवं ऋण वसूली विधि कानून (सारफेसी) कानून के तहत सार्वजनिक क्षेत्र के 21 बैंकों ने जानबूझाकर कर्ज न चुकाने वाले 5,954 लोगों के खिलाफ कार्रवाई की है। देश के सबसे बड़े बैंक भारतीय स्टेट बैंक (SBI) ने 1,444 ऐसे डिफॉल्टरों पर कार्रवाई की है। इन पर 20,943 करोड़ रुपए का ऋण बकाया है।

यह भी पढ़ें :अपने इलाके में भारतीय रुपया नहीं अपने ही सिक्‍के चलाता था गुरमीत राम रहीम, प्‍लास्टिक के होते थे ये टोकन

शेष 20 बैंकों ने 4,510 डिफॉल्टरों पर कार्रवाई की है। इन पर बकाया कर्ज 48,496 करोड़ रुपये का है। वित्‍त मंत्रालय के आंकडों के अनुसार, सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को जानबूझ कर कर्ज न चुकाने वालों से कुल 92,376 करोड़ रुपए वसूलने हैं। जानबूझ कर कर्ज न चुकाने वालों पर वित्‍त वर्ष 2016-17 के अंत तक 92,376 करोड़ रुपए का कर्ज बकाया था। यह इससे पिछले वित्‍त वर्ष के अंत तक 76,685 करोड़ रुपए था। इस तरह बकाया कर्ज के आंकड़े में 20.4 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई।

यह भी पढ़ें : मन की बात में PM मोदी ने कहा : अब गरीब भी कर रहे हैं बचत, 30 करोड़ जन धन खातों में जमा हुए 65,000 करोड़ रुपए

Latest Business News

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Business News in Hindi के लिए क्लिक करें पैसा सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement