सरकार ने शिरीष चंद्र मुर्मू को तीन साल के कार्यकाल के लिए भारतीय रिज़र्व बैंक (आरबीआई) का डिप्टी गवर्नर नियुक्त किया है। मुर्मू, एम राजेश्वर राव का स्थान लेंगे, जिनका विस्तारित कार्यकाल 8 अक्टूबर को समाप्त हो रहा है। पीटीआई की खबर के मुताबिक, सूत्रों ने सोमवार को बताया कि कैबिनेट की नियुक्ति समिति ने 9 अक्टूबर या उसके बाद पदभार ग्रहण करने की तिथि से तीन साल की अवधि के लिए उनकी नियुक्ति को मंजूरी दे दी है।
चार डिप्टी गवर्नर होने चाहिए
खबर के मुताबिक, मुर्मू वर्तमान में भारतीय रिजर्व बैंक में कार्यकारी निदेशक हैं और पर्यवेक्षण विभाग का कार्यभार संभालते हैं। RBI अधिनियम, 1934 के अनुसार, केंद्रीय बैंक में चार डिप्टी गवर्नर होने चाहिए - दो अपने ही रैंक से, एक वाणिज्यिक बैंकिंग क्षेत्र से, और एक अर्थशास्त्री जो मौद्रिक नीति विभाग का नेतृत्व करे। अन्य तीन डिप्टी गवर्नर टी रबी शंकर, स्वामीनाथन जे और पूनम गुप्ता हैं। गौरतलब है कि राव को पहली बार सितंबर 2020 में तीन साल की अवधि के लिए डिप्टी गवर्नर नियुक्त किया गया था और उन्हें 2023 में एक साल का विस्तार मिला था, उसके बाद 2024 में एक और विस्तार मिला था। इस प्रकार, राव 8 अक्टूबर को कुल पांच साल पूरे कर लेंगे।
अन्य तीन डिप्टी गवर्नर
टी. रबी शंकर
टी. रबी शंकर ऑपरेशन और टेक ओरिएंटेड विभागों की एक विस्तृत चेन देखते हैं। उनकी ज़िम्मेदारियों में भुगतान और निपटान प्रणाली विभाग, फिनटेक विभाग, विदेशी मुद्रा विभाग, सूचना प्रौद्योगिकी और केंद्रीय सुरक्षा प्रकोष्ठ शामिल हैं। वे सरकार से संबंधित खातों और बाहरी निवेश कार्यों की भी देखरेख करते हैं, जो डिजिटल प्रणालियों को आगे बढ़ाने और सीमा पार वित्तीय संचालन के प्रबंधन में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित करता है।
स्वामीनाथन जानकीरमन
जानकीरमन मुख्य रूप से पर्यवेक्षी और उपभोक्ता-केंद्रित क्षेत्रों के लिए जिम्मेदार हैं। वे पर्यवेक्षण विभाग, उपभोक्ता शिक्षा एवं संरक्षण विभाग और जमा बीमा एवं ऋण गारंटी निगम के प्रमुख हैं। उनका कार्यभार वित्तीय समावेशन, निरीक्षण, राजभाषा और परिसर विभागों तक भी फैला हुआ है, जो निगरानी और ग्राहक-केंद्रित बैंकिंग कार्यों में उनकी गहरी भागीदारी को दर्शाता है।
पूनम गुप्ता
पूनम गुप्ता व्यापक आर्थिक नीति और रणनीतिक संचार का कार्यभार संभालती हैं। वे मौद्रिक नीति विभाग, आर्थिक एवं नीति अनुसंधान विभाग, वित्तीय स्थिरता विभाग और अंतर्राष्ट्रीय विभाग का नेतृत्व करती हैं। इसके अतिरिक्त, वह संचार और कॉर्पोरेट रणनीति एवं बजट विभाग का प्रबंधन भी करती हैं, जो उन्हें आरबीआई की नीति नियोजन, विश्लेषण और आउटरीच के केंद्र में रखता है।






































