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दिसंबर में रिकॉर्ड निवेश के बाद जनवरी में धीमा पड़ा FPI फ्लो, जानें क्या होगा स्टॉक बाजार पर असर

भारत में एफपीआई प्रवाह में 2023 में बदलाव देखा गया और 28.7 अरब डॉलर का निवेश दर्ज किया गया। इससे पहले 2022 में एफपीआई ने घरेलू बाजार से 17.9 अरब डॉलर निकाले थे। 2023 में निवेश 2017 के बाद सबसे अधिक रहा, जब एफपीआई ने घरेलू बाजार में 30.8 अरब अमेरिकी डॉलर का निवेश किया था।

Edited By: Alok Kumar @alocksone
Published : Jan 13, 2024 15:38 IST, Updated : Jan 13, 2024 15:38 IST
FPI- India TV Paisa
Photo:FILE एफपीआई

विदेशी निवेशकों द्वारा भारतीय शेयर बाजार में दिसंबर, 2023 में रिकॉर्ड निवेश किया गया। हालांकि, जनवरी आते हैं कि निवेश की गति बहुत ही धीमी हो गई है। आपको बता दें कि बैंक ऑफ बड़ौदा के एक रिपोर्ट के अनुसार, दिसंबर 2023 में विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) ने शेयर बाजार में 10.1 अरब डॉलर का निवेश किया जो किसी एक महीने में दर्ज किया गया सबसे अधिक इन्वेस्टमेंट है। वहीं, एनएसडीएल के आंकड़ों के अनुसार, 13 जनवरी तक कुल एफपीआई निवेश 2,743 करोड़ रुपये रहा है। यह दिसंबर के मुकाबले काफी कम है। 

विदेशी निवेशक कहां कर रहे निवेश 

जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के मुख्य निवेश रणनीतिकार वी.के. विजयकुमार ने कहा कि दिसंबर 2023 में विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) के निवेश में 58,372 करोड़ रुपये की बढ़ोतरी के बाद जनवरी 2024 के पहले दो सप्ताह में इसमें सुस्ती रही है। उन्होंने कहा कि दिसंबर में एफपीआई वित्तीय सेवाओं और आईटी में बड़े खरीददार थे। एफपीआई ने ऑटो, पूंजीगत सामान, तेल एवं गैस और दूरसंचार जैसे क्षेत्रों में भी खरीदारी की। यह प्रवृत्ति आगे भी जारी रहने की संभावना है। विजयकुमार ने कहा कि अमेरिकी ब्याज दरों में चूंकि 2024 में और गिरावट की उम्मीद है, एफपीआई द्वारा इस साल भी खरीददारी बढ़ाने की संभावना है, खासकर आम चुनावों से पहले 2024 के शुरुआती महीनों में। आगे चलकर ऋण में एफपीआई निवेश में तेजी आने की संभावना है।

बाजार में करेक्शन आने की संभावना 

शेयर मार्केट एक्सपर्ट का कहना है कि शॉर्ट टर्म में शेयर बाजार में करेक्शन आने की संभावना है। ऐसा इसलिए कि यह चुनावी साल है। बाजार में पिछले कुछ दिनों में जबरदस्त तेजी आई है। वहीं, दूसरी ओर विदेशी निवेशकों का आकर्षण कम हुआ है। उनके द्वारा की जा रही निवेश की गति धीमी हुई है। बाजार रिकॉर्ड हाई पर पहुंचने के बाद मुनाफावसूली आने की संभावना है। ऐसे में बाजार में शॉर्ट टर्म में करेक्शन आ सकता है। निवेशकों को बहुत ही सावधानी से ट्रेड लेने की जरूरत है। ऐसा नहीं करने पर नुकसान उठाना पड़ सकता है। 

2023 में रिकॉर्ड निवेश किया गया

भारत में एफपीआई प्रवाह में 2023 में बदलाव देखा गया और 28.7 अरब डॉलर का निवेश दर्ज किया गया। इससे पहले 2022 में एफपीआई ने घरेलू बाजार से 17.9 अरब डॉलर निकाले थे। 2023 में निवेश 2017 के बाद सबसे अधिक रहा, जब एफपीआई ने घरेलू बाजार में 30.8 अरब अमेरिकी डॉलर का निवेश किया था। हालांकि, अपनी प्रकृति के अनुरूप, एफपीआई प्रवाह ने पूरे वर्ष काफी अस्थिरता प्रदर्शित की। रिपोर्ट में कहा गया है कि 24 जून को जेपी मॉर्गन के बॉन्ड इंडेक्स में भारत को शामिल करने के साथ-साथ उम्मीद है कि भारत को बाद में अन्य बॉन्ड सूचकांकों में भी शामिल किया जा सकता है, जो डेट सेगमेंट में एफपीआई प्रवाह का प्रमुख चालक रहा है।

इनपुट: आईएएनएस

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