Saturday, December 06, 2025
Advertisement
  1. Hindi News
  2. पैसा
  3. बिज़नेस
  4. किसानों को आधार की तरह का विशिष्ट पहचान पत्र देगी सरकार, पूरे देश में लगेंगे शिविर, मिलेगा ये फायदा

किसानों को आधार की तरह का विशिष्ट पहचान पत्र देगी सरकार, पूरे देश में लगेंगे शिविर, मिलेगा ये फायदा

सचिव ने कहा कि वर्तमान सरकारी आंकड़े कृषि भूमि के टुकड़ों और राज्यों द्वारा प्रदान किए गए फसल के विवरण तक सीमित हैं, लेकिन इसमें व्यक्तिगत किसान-वार जानकारी का अभाव है। नई रजिस्ट्री का उद्देश्य इस अंतर को पाटना है।

Edited By: Alok Kumar @alocksone
Published : Sep 09, 2024 07:55 pm IST, Updated : Sep 09, 2024 07:55 pm IST
Farmer- India TV Paisa
Photo:FILE किसान

किसानों को आधार की तरह का विशिष्ट पहचान पत्र देगी सरकार। इसके लिए पूरे देश में शिविर लगाए जाएंगे। इस पहचान पत्र के जरिये किसानों को आसानी से सरकारी स्कीम का लाभ दिया जाएगा। साथ ही बार-बार सत्यापन कराने की जरूरत भी नहीं होगी। इस बात की जानकारी देते हुए कृषि सचिव देवेश चतुर्वेदी ने सोमवार को कहा कि कृषि क्षेत्र को डिजिटल बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम उठाते हुए सरकार जल्द ही देशभर के किसानों का पंजीकरण शुरू करेगी ताकि उन्हें आधार के समान एक विशिष्ट पहचान पत्र (आईडी) प्रदान की जा सके। ऑउटलुक एग्री-टेक समिट और स्वराज अवार्ड्स के मौके पर बात करते हुए चतुर्वेदी ने कहा कि पंजीकरण प्रक्रिया के लिए दिशानिर्देश जल्द ही जारी किए जाएंगे, जिसका कार्यान्वयन अक्टूबर के पहले सप्ताह में शुरू होगा। 

सरकारी स्कीम का लाभ देने में होगी आसानी

सचिव ने कहा, ‘‘हमारा लक्ष्य अगले साल मार्च तक पांच करोड़ किसानों को पंजीकृत करना है।’’ उन्होंने कहा कि यह पहल सरकार के 2,817 करोड़ रुपये के डिजिटल कृषि मिशन का हिस्सा है जिसे हाल ही में मंत्रिमंडल ने मंजूरी दी है। उन्होंने कहा कि पहले महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश में एक प्रायोगिक परियोजना चलाई गई थी और 19 राज्य पहले ही इस परियोजना पर काम कर चुके हैं। किसानों की रजिस्ट्री बनने के बाद, प्रत्येक पंजीकृत किसान को ‘‘आधार जैसी विशिष्ट आईडी’’ प्रदान की जाएगी। चतुर्वेदी ने कहा कि विशिष्ट आईडी किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) और किसान क्रेडिट कार्ड कार्यक्रम सहित विभिन्न कृषि योजनाओं तक बिना किसी परेशानी के पहुंचने में मदद करेगी। 

सत्यापन की जरूरत भी होगी खत्म 

एकत्रित किए गए आंकड़ों से सरकार को नीति नियोजन और लक्षित विस्तार सेवाओं में भी मदद मिलेगी। उन्होंने कहा, ‘‘मौजूदा समय में, किसानों को किसी भी कृषि योजना के लिए आवेदन करने से पहले हर बार सत्यापन से गुजरना पड़ता है। इसमें न केवल लागत शामिल है, बल्कि कुछ को उत्पीड़न का भी सामना करना पड़ता है। इस समस्या को हल करने के लिए, हम किसानों की रजिस्ट्री बनाने जा रहे हैं।’’ सचिव ने कहा कि वर्तमान सरकारी आंकड़े कृषि भूमि के टुकड़ों और राज्यों द्वारा प्रदान किए गए फसल के विवरण तक सीमित हैं, लेकिन इसमें व्यक्तिगत किसान-वार जानकारी का अभाव है। नई रजिस्ट्री का उद्देश्य इस अंतर को पाटना है।

पूरे देश में लगेंगे शिविर 

चतुर्वेदी ने प्रगतिशील किसानों, वैज्ञानिकों और कंपनियों से किसानों की पंजीकरण प्रक्रिया के बारे में जागरूकता फैलाने और भागीदारी को प्रोत्साहित करने का आग्रह किया। पंजीकरण अभियान के लिए पूरे देश में शिविर आयोजित किए जाएंगे। अधिकारी ने बताया कि सरकार किसानों के लिए सेवाओं और समर्थन में सुधार के लिए किसान एआई-आधारित चैटबॉक्स प्रणाली सहित कई अन्य तकनीकी हस्तक्षेपों पर भी काम कर रही है। 

Latest Business News

Google पर इंडिया टीवी को अपना पसंदीदा न्यूज सोर्स बनाने के लिए यहां
क्लिक करें

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। Business News in Hindi के लिए क्लिक करें पैसा सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement