Sunday, April 28, 2024
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मुश्किल में पाकिस्तान, आर्थिक मदद देने पर अमेरिका ने रखी कड़ी शर्तें

अमेरिका की प्रतिनिधि सभा ने पाकिस्तान को रक्षा क्षेत्र में दी जाने वाली आर्थिक मदद को उपलब्ध कराए जाने की शर्तों को और कड़ा बनाने के लिए तीन विधायी संशोधनों पर वोट किया है।

Vineet Kumar Singh Edited by: Vineet Kumar Singh @VickyOnX
Published on: July 15, 2017 14:04 IST
US House of Representatives | AP Photo- India TV Hindi
US House of Representatives | AP Photo

वॉशिंगटन: आतंकवादी संगठनों की सुरक्षित पनाहगाह बना पाकिस्तान अब इस मोर्चे पर बुरी तरह घिरता हुआ नजर आ रहा है। अमेरिका की प्रतिनिधि सभा ने पाकिस्तान को रक्षा क्षेत्र में दी जाने वाली आर्थिक मदद को उपलब्ध कराए जाने की शर्तों को और कड़ा बनाने के लिए तीन विधायी संशोधनों पर वोट किया है। इन संशोधनों में यह शर्त रखी गई है कि आर्थिक मदद दिए जाने से पहले पाकिस्तान को आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में संतोषजनक प्रगति दिखानी होगी। ये शर्तें आतंकवाद को पाकिस्तान के समर्थन से संबंधित है जिसे लेकर पहले भी कई शीर्ष अमेरिकी अधिकारी और सांसद लगातार चिंता जताते रहे हैं।

651 अरब डॉलर वाले नेशनल डिफेंस अथॉराइजेशन ऐक्ट (NDAA) 2018 में सभी तीन विधायी संशोधनों को कांग्रेस के निचली सदन ने शुक्रवार को ध्वनिमत से पारित कर दिया। सदन ने 81 के मुकाबले 344 मतों से इसे पारित कर दिया। सदन में पारित इस विधेयक से रक्षा मंत्री को पाकिस्तान को वित्त पोषण दिए जाने से पहले यह प्रमाणित करना होगा कि पाकिस्तान ग्राउंड्स लाइंस ऑफ कम्यूनिकेशन (GLOC) पर सुरक्षा बनाए रख रहा है। साफ है कि अगर पाकिस्तान ने आतंकियों को मदद देना बंद नहीं किया, तो न केवल उसे अमेरिका द्वारा दी जाने वाली वित्तीय सहायता से हाथ गंवाना पड़ेगा, बल्कि उसे अमेरिका की सख्त कार्रवाई का भी सामना करना पड़ सकता है।

वहीं, रक्षा मंत्री को यह भी प्रमाणित करना होगा कि पाकिस्तान हक्कानी नेटवर्क के उत्तर वजीरिस्तान को पनाहगाह बनाने से रोकने की प्रतिबद्धता दिखा रहा है और पाकिस्तान-अफगानिस्तान सीमा पर हक्कानी नेटवर्क समेत आतंकवादियों की गतिविधियों पर लगाम लगाने में अफगानिस्तान सरकार के साथ सक्रिय तौर पर सहयोग कर रहा है। सदन द्वारा पारित एक संशोधन में इस बात का प्रस्ताव रखा गया है कि जब तक रक्षा मंत्री यह पुष्टि ना कर सकें कि पाकिस्तान अमेरिका द्वारा घोषित किसी भी आतंकवादी को सैन्य, वित्तीय मदद या साजोसामान उपलब्ध नहीं करा रहा तब तक पाकिस्तान को दिए जाने वाली  मदद रोक कर रखी जाए। 

एक अन्य संशोधन में कहा गया है कि शकील अफरीदी एक अंतरराष्ट्रीय हीरो हैं और पाकिस्तान सरकार को इसे तुरंत जेल से रिहा कर देना चाहिए। अफरीदी ने एबटाबाद में ओसामा बिन लादेन की मौजूदगी का पता लगाने में अमेरिका की मदद की थी।

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