दिल्ली में कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच आज अमित शाह की अध्यक्षता में एक उच्च स्तरीय बैठक हुई। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और एलजी अनिल बैजल की मौजूदगी में हुई इस बैठक में कई बड़े फैसले लिए गए। दिल्ली के अस्पतालों में बिस्तरों की समस्या को देखते हुए बैठक में बड़ा फैसला किया गया है। इसके तहत दिल्ली को रेलवे की ओर से 500 डिब्बे मिलेंगे। ये डिब्बे आइसोलेशन कोच में बदले गए हैं। इन रेलवे कोच से न सिर्फ दिल्ली में 8000 बेड बढ़ेंगे बल्कि यह कोच कोरोना संक्रमण से लड़ने के लिए सभी सुविधाओं से लेस होंगे।
बता दें रेलवे ने पहले ही डिब्बों को लेकर तैयारी रखी है। दिल्ली सरकार ने पहले ही रेलवे से 10 कोच मांगे थे। ये कोच पहले ही दिल्ली आ चुके हैं। इंडिया टीवी संवाददाता गोनिका अरोड़ा ने दिल्ली के शकूरबस्ती में मौजूद इन आईसोलेशन कोच का दौरा किया। इन ट्रेनों को खासतौर पर कोरोना पेशेंट्स के लिए तैयार किया गया है। आइए जानते हैं कि इन कोच में क्या खासियतें होंगी।
- रेलवे ने सिर्फ नॉन ऐसी डिब्बों को आईसोलेशन कोच में बदला है। इसमें अतिरिक्त बर्थ हटा दी गई हैं।
- रेलवे ने इन कोच में तापमान कम रखने के लिए एक खास कोटिंग की है। जो डिब्बे का तापमान 6 डिग्री तक कम रखेगा।
- चूंकि ये डिब्बे नॉन ऐसी हैं ऐसे में डिब्बों की खिड़कियों को खुला रखने की व्यवस्था है। मच्छरों को रोकने के लिए खिड़कियों को मॉस्किटो नेट से ढंका गया है।
- मरीजों के लिए हर कोच में एक आक्सीजन सिलेंडर रखा गया है। डिब्बे में मरीजों के साथ ही
- स्टाफ के लिए भी अलग व्यवस्था की गई है।
- डिब्बे में मरीजों के लिए सिर्फ लोअर बर्थ की व्यवस्था की गई है। सोशल डिस्टेंसिंग को ध्यान देते हुए एक डिब्बे में सीमित मरीज ही रखे जाएंगे।
- दिल्ली सकरार डिब्बे उपलब्ध कराएगी। कोच में आक्सीजन सिलेंडर से लेकर अन्य व्यवस्था दिल्ली सरकार को करनी होंगी।
- डिब्बे में सैनेटाइजेशन की पूरी व्यवस्था की जा रही है। प्रत्येक सीट पर सैनेटाइजर रखा गया है।
- डिब्बे में हवा के लिए पंखों की व्यवस्था की गई है। इसके साथ ही वैंटिलेशन के लिए मरीज खिड़कियों को खोल भी सकते हैं।